एक लाख आबादी फिर भी नगर स्वास्थ्य अधिकारी नहीं
ऋषिकेश नगर पालिका ए ग्रेड की होने के बाद भी अनदेखी
अविभाजित उत्तर प्रदेश के समय से नगर पालिका ऋषिकेश ए ग्रेड का दर्जा मिला हुआ है। पालिका क्षेत्र की आबादी पर नजर डालें तो यहां की जनसंख्या एक लाख से ऊपर पहुंच गई है। सिस्टम की अनदेखी देखिए ऋषिकेश में नगर स्वास्थ्य अधिकारी का पद तक सृजित नहीं है।
नगर स्वास्थ्य अधिकारी नगर निकाय में एक महत्वपूर्ण और जिम्मेदार अधिकारी होते हैं। सरकारी सेवा में कार्यरत वरिष्ठ चिकित्सक को यह पद दिया जाता है। पालिका और आसपास के क्षेत्रों में सफाई व्यवस्था की जिम्मेदारी स्वास्थ्य अधिकारी की रहती है। कोई बीमारी या महामारी फैलने की स्थिति में नगर स्वास्थ्य अधिकारी की भूमिका अहम रहती है। कैंप लगवाना, कीटनाशक दवाओं का छिड़काव, मरीजों की जांच और रिपोर्ट स्वास्थ्य विभाग को उपलब्ध कराना होता है। इनदिनों में कुछ इलाकों में वायरल फीवर और टाइफाइड फैल रहा है। नगर पालिका के ही 55 कर्मचारी बीमार हैं। ऐसी स्थिति में नगर स्वास्थ्य अधिकारी का न होना बेहद खल रहा है। इस विषय पर चर्चाओं का दौर शुरू हो गया है।
नगर स्वास्थ्य अधिकारी का पद सृजित न होना गंभीर विषय है। शासन स्तर पर मामले को देखा जाएगा। दो माह से चारधाम यात्रा के सीजनल सफाई कर्मचारियों के वेतन नहीं मिलने का मामला भी गंभीर है। इस मामले में पालिका ने मुझसे कभी संपर्क नहीं किया। पालिका को कर्मचारी नहीं हटाने चाहिए थे, अपने स्तर पर व्यवस्था करनी चाहिए थी। कभी-कभी शासन से बजट मिलने में देरी हो जाती है।
– सीएस नपल्चयाल, गढ़वाल कमिश्नर