नेशनल हाइवे के अधिकारी के साथ मंत्री अग्रवाल ने की बैठक, ली निर्माण कार्य की जानकारी

क्षेत्रीय विधायक व कैबिनेट मंत्री डा. प्रेमचंद अग्रवाल ने नेशनल हाईवे के अधिशासी अभियंता प्रवीण कुमार के साथ बैठक की। इस दौरान मंत्री डा. अग्रवाल की ओर से किये जा रहे प्रयास श्यामपुर से मंशा देवी फाटक पर आरओबी तथा ढालवाला से खारास्त्रोत तक टनल और नटराज में वायाडक्ट के निर्माण की भी जानकारी ली।

बैठक के दौरान मंत्री डा. अग्रवाल ने कहा कि तीर्थनगरी में पर्यटक, तीर्थयात्रियों की आमद लगातार बढ़ रही है, इसके चलते जाम की समस्या से स्थानीय सहित पर्यटकों, तीर्थयात्रियों को गुजरना पड़ता है। रेल के आवागमन के चलते फाटक पर और भी भयावह स्थिति पैदा हो जाती है। उन्होंने कहा कि इसके लिए लोगों की मांग पर बाइपास मार्ग पर फ्लाईओवर और एलिवेटेड रोड़ को बनाने को लेकर उनकी ओर से प्रयास किये जा रहे है।

मंत्री डा. अग्रवाल ने बताया कि मुख्यमंत्री की घोषणा पर इस परियोजना का सर्वे, डिजाइन तैयार है और ड्राफ्ट व डीपीआर भी तैयार है, इसे अग्रेतर कार्यवाही हेतु रिजनल आफिस भेजा जाएगा। जहां से भारत सरकार को भेजा जाएगा। उन्होंने बताया कि अग्रेसर स्वीकृति मिलते ही इस परियोजना का काम शीघ्र ही शुरू किया जायेगा।

मंत्री डा. अग्रवाल ने बताया कि राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या-58 पर चार धाम ऑल वेदर रोड प्रोजेक्ट के तहत दो आरओबी बनाया जाना है। पहला आरओबी श्यामपुर फाटक पर, जो बंगाली नाला पुल के पहले से रेलवे लाइन के ऊपर से होता हुआ श्यामपुर की और हाईवे पर उतरेगा।

मंत्री डा. अग्रवाल ने बताया कि दूसरा आरओबी मनसा देवी फाटक पर बनाया जाना है। जिसको दुर्गा मंदिर आईडीपीएल के कुछ आगे से शुरू होकर वीरभद्र स्टेशन से योग नगरी और ऋषिकेश को आने वाली रेल लाइनों के ऊपर से होता हुआ मनसा देवी तिराहे से आगे बाईपास मार्ग पर जोड़ा जाएगा।

मंत्री डा. अग्रवाल ने बताया कि नटराज चौक पर एक वायडक्ट का भी निर्माण किया जाना है। उन्होंने बताया कि ढालवाला से खारा स्रोत तक टनल का निर्माण किया जाना है।

रानीपोखरी पुल खोलने से पूर्व मानसून में आवागमन को किए जांए वैकल्पिक व्यवस्थाः अग्रवाल

कैबिनेट मंत्री व क्षेत्रीय विधायक डॉ प्रेमचंद अग्रवाल ने नेशनल हाईवे के अधिकारियों के साथ नंदू फार्म स्थित खाली मैदान में जमे पानी की निकासी सहित विभिन्न कार्यों की प्रगति की आज समीक्षा बैठक की।

बैराज रोड स्थित कैंप कार्यालय में हुई समीक्षा बैठक में सर्वप्रथम डॉ अग्रवाल ने नंदू फार्म में जमे पानी की निकासी के संबंध में अधिकारियों से जवाब मांगा। एनएच के अधिशासी अभियंता रचना थपलियाल ने बताया कि नंदू फार्म में पानी की निकासी के लिए नौ इंच के 30 होल (छेद) किए गए हैं। साथ ही नया नाला भी बनाया गया है, जिसमें मैदान में जमा पानी डाला जाएगा।

डॉ अग्रवाल ने कोयल घाटी से चंद्रभागा पुल तक फोरलेन के कार्यों की प्रगति भी जानी। इस पर सहायक अभियंता शिव सिंह रावत ने बताया कि फोरलेन का कार्य 15 प्रतिशत ही किया गया है। इसमें पेड़ो सहित विद्युत पोल को भी हटाया जाना है। इस पर धीमी गति से कार्य होने पर डॉ अग्रवाल ने नाराजगी जताई।

डॉ अग्रवाल ने कहा कि फोरलेन के मार्ग में आने वाले पेड़ों को जड़ सहित अन्यत्र जगह पर प्लांट किया जाए। जबकि विद्युत पोल को भी शीघ्र हटाया जाए। डॉ अग्रवाल ने रानी पोखरी में निर्माणाधीन पुल के संबंध में अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि वर्षा काल में वाहनों के आवागमन के लिए वैकल्पिक व्यवस्था की जाए।

डॉ अग्रवाल ने कहा कि रानीपोखरी में वैकल्पिक व्यवस्था मार्ग पर अलग से हयूम पाईप डाले जाएं। जिससे वर्षा काल के चलते आवागमन में दिक्कतें न पैदा हो।

इस मौके पर अधिशासी अभियंता एनएच रचना थपलियाल, सहायक अभियंता शिव सिंह रावत, अपर सहायक अभियंता छत्रपाल सिंह सहित संबंधित कांट्रेक्टर मौजूद रहे।

ई-रिक्शा के रुट निर्धारण को लेकर 21 को धरना-प्रदर्शन की तैयारी पूरी

विक्रम युनियन कार्यालय ऋषिकेश में विक्रम, आटो, जेएसए और टैक्सी युनियन के पदाधिकारीयों द्वारा बैठक कर 21 अक्टूबर को ई-रिक्शा के रुट निर्धारण के विरूद्ध होने वाले धरना प्रदर्शन की तैयारी को अंतिम रूप दिया गया।
उत्तराखंड विक्रम टैम्पो महासंघ के अध्यक्ष मंहत विनय सारस्वत की अध्यक्षता मे हुयी बैठक मे 21 अक्टूबर को ई-रिक्शाओ को नेशनल हाईवे से हटाकर उनके तय मानको के अनुसार रूटो पर संचालन करने के लिए आरटीओ कार्यालय ऋषिकेश पर वाहन स्वामियो द्वारा अपने वाहनो के साथ धरना-प्रदर्शन किया जायेगा।
बैठक में सर्वसम्मति से प्रस्ताव पास किया गया कि ई-रिक्शाओ की अत्यधिक संख्या के कारण नेशनल हाईवे में हमेशा जाम की स्थिति बनी रहती है। इन पर तत्काल रोक लगाते हुए नये वाहनो के रजिस्ट्रेशन पर रोक लगायी जाये।
बैठक मे यह भी तय किया गया कि 21 अक्टूबर प्रातः 9 बजे वाहन स्वामी अपने वाहनों के साथ ऋषिकेश विक्रम युनियन के कार्यालय से देहरादून तिराहे से इंन्द्रमणी चौक से आरटीओ कार्यालय पहुंचेगे।
बैठक मे जेएसए युनियन ऋषिकेश अध्यक्ष विनोद शर्मा, सचिव सचिन अग्रवाल, टैक्सी युनियन ऋषिकेश के अध्यक्ष विजय पाल सिंह रावत, लक्ष्मण झूला विक्रम युनियन अध्यक्ष त्रिलोक भंण्डारी, महामंत्री अरूण कुमार, रामझूला विक्रम युनियन अध्यक्ष सुनील शर्मा, महामंत्री पंकज वर्मा, देवभूमि आटो युनियन ऋषिकेश राजेन्द्र लाम्बा, महामंत्री बचन गुप्ता, विक्रम युनियन ऋषिकेश के उपाध्यक्ष वीरेंद्र सिंह सजवाण, कोषाध्यक्ष हरिमोहन, सहायक आटोरिक्शा मालिक चालक ऋषिकेश उपाध्यक्ष सुभाष चंन्द्र, सचिव संजय आर्य, पंचपुरी हरिद्वार रोडीबेल वाला संरक्षक सत्यनारायण शर्मा, सचिव विनोद शाह, डोईवाला विक्रम युनियन अध्यक्ष प्रताप यादव, सचिव जगदीश प्रसाद, आटो युनियन घाट रोड ऋषिकेश अध्यक्ष सोहन गौनियाल, नेपाली फार्म विक्रम युनियन अध्यक्ष भारत भूषण नौटियाल, सचिव राजेन्द्र राणा, गोविंद सिंह पयाल, पूर्व अध्यक्ष रामझूला फेरू जगवानी, प्रवीण नौटियाल, द्वारिका प्रसाद, संजय कोठारी, स्वामी मुकेश वत्स आदि उपस्थित रहे।

5400 करोड़ लागत से 250 किमी राष्ट्रीय राजमार्गों का हुआ लोकार्पण व शिलान्यास

केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत की अध्यक्षता में आयोजित कार्यक्रम में उत्तराखण्ड के लिए 5400 करोड़ रूपये की लागत से 250 किमी लम्बे राष्ट्रीय राजमार्गों का लोकार्पण और शिलान्यास किया। इनमें 5000 करोड़ के राजमार्गों का लोकार्पण और 400 करोड़ के राजमार्गों का शिलान्यास किया गया। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि मुख्यमंत्री के अनुरोध पर राज्य का सीआरएफ की स्वीकृति को 10 गुना कर दिया है। प्रस्ताव मिलने पर इस वर्ष 250 करोड़ रूपए के कार्य की स्वीकृति दे दी जाएगी।

लोकार्पण किए गए राष्ट्रीय राजमार्गों में मुजफ्फरनगर-हरिद्वार एनएच 58 का 4 लेन निर्माण (लम्बाई 78 किमी लागत 1750 करोड़ रूपए), रूड़की-छुटमलपुर-गागलहेड़ी(एनएच 73), छुटमलपुर-गणेशपुर (एनएच 72 ए) का 4 लेन निर्माण (लम्बाई 54 किमी लागत 2200 करोड रूपए), हरिद्वार-देहरादून एनएच 58 एवं 72 का 4 लेन निर्माण (लम्बाई 37 किमी, लागत 1000 करोड़ रूपए), मुजफ्फरनगर-हरिद्वार एलिवेटेड संरचना मायापुरी एस्केप चैनल पर सेतु एनएच 58 (लम्बाई 01 किमी, लागत 50 करोड़ रूपए) शामिल हैं। इसी प्रकार रूद्रप्रयाग जिले में 1 किमी लम्बी टनल का निर्माण एवं अलकनंदा नदी पर एनएच 107, एनएच 7 को जोड़ने के लिए दीर्घ सेतु का निर्माण (लम्बाई 02 किमी, लागत 250 करोड़ रूपए), अल्मोड़ा जिले में एनएच 309 बी के अंतर्गत पैटशाल से पनुवानौला और दानिया से पनार के सुदृढ़ीकरण का कार्य (लम्बाई 45 किमी, लागत 50 करोड़ रूपए) और पौड़ी गढ़वाल जिले में एनएच 119 (नया 534) के अंतर्गत सतपुली से अगरोड़ा तक सुदृढ़ीकरण का कार्य (लम्बाई 33 किमी, लागत 100 करोड़ रूपए) का शिलान्यास किया गया।

केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि बहुत सी अड़चनों के बाद इस प्रोजेक्ट को पूरा किया जा सका है। हमने वचन दिया था कि कुम्भ से पहले यह काम कर लिया जाएगा। बड़ी खुशी है कि हम इसे पूरा करने में कामयाब रहे। इन राजमार्गों के पूरा होने से समय की काफी बचत होगी।

योजनाओं से ट्रेफिक में मिलेगी सुविधा, रोजगार के अवसर सृजित होंगे।
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि मुजफ्फरनगर-हरिद्वार एनएच 58 से बाईपास निर्माण से पुरकाजी रूड़की व बहादराबाद शहर को ट्रैफिक जाम से राहत मिलेगी, समय व ईंधन की बचत होगी। कुम्भ नगरी हरिद्वार के लिए यात्रा सुगम होगी। रोजगार के नये अवसरों का सृजन होगा और पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा।

हरिद्वार-देहरादून एनएच 58 एवं 72 से हरिद्वार से देहरादून की यात्रा सुगम होगी। इसमें राजाजी टाईगर रिजर्व वन्य जीव के आवागमन के लिए तीन एलीफेंट कॉरिडोर का निर्माण किया जा रहा है। बाईपास निर्माण से डोईवाला को यातायात जाम से राहत मिलेगी।

रूड़की-छुटमलपुर-गागलहेड़ी(एनएच 73), छुटमलपुर-गणेशपुर (एनएच 72 ए) से उत्तर प्रदेश व उत्तराखण्ड के बीच सुगम आवागमन की सुविधा होगी। बाईपास निर्माण से रूड़की एवं छुटमलपुर को जाम से राहत मिलेगी। भगवानपुर व सिडकुल औद्योगिक क्षेत्र में व्यावसायिक वाहनों की बेहतर कनेक्टिवीटी होगी। मुजफ्फरनगर-हरिद्वार एलिवेटेड संरचना मायापुरी एस्केप चैनल पर सेतु से हरिद्वार में ट्रेफिक जाम से राहत मिलेगी।

रूद्रप्रयाग जिले में 1 किमी लम्बी टनल का निर्माण एवं अलकनंदा नदी पर एनएच 107, एनएच 7 को जोड़ने के लिए दीर्घ सेतु के निर्माण से बाईपास निर्माण से रूद्रप्रयाग में जाम से राहत मिलेगी और केदारनाथ व बदरीनाथ जाने वाले श्रद्धालुओं के लिए सुविधा मिलेगी। पौड़ी गढ़वाल जिले में एनएच 119 से सड़क की राईडिंग गुणवत्ता में सुधार होगा, संकीर्ण पुलों का चैड़ीकरण होगा और चारधाम यात्रा के लिए वैकल्पिक मार्ग विकसित होगा।

चारधाम परियोजना में 450 किमी के काम पूरे
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि चारधाम परियोजना बहुत महत्वपूर्ण है। यह 12500 करोड़ की 825 किमी की परियोजना है। इसमें 53 पैकेज हैं। 647 किमी में इसका काम शुरू हो गया है। इसमें से 450 किमी के 7508 करोड़ रूपए के कार्य पूरे हो चुके हैं। सामरिक दृष्टि से यह मार्ग परियोजना बहुत महत्वपूर्ण है। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि इस परियोजना में सड़कों का निर्माण अंतर्राष्ट्रीय स्तर का वैज्ञानिक तरीके से किया जा रहा है। दुर्घटना रोकने के लिए क्रेश बेरियर भी बनाए गए हैं। अभी तक 13 लाख से ज्यादा पेड़ लगाए हैं।

केंद्रीय मंत्री ने हाल ही में मुख्यमंत्री द्वारा दिल्ली में मुलाकात के दौरान उन्हें भेंट की गई ऐंपण पर आधारित कलाकृति की तारीफ की। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री जी की ये भेंट प्राप्त करने के बाद उन्होंने निर्णय किया है कि चारधाम परियोजना के रोड साईड एमेनिटी में 2000 वर्ग फीट के पैवेलियन राज्य सरकार को देंगे ताकि वहां उत्तराखण्ड के पारम्परिक हस्तकला, और स्थानीय उत्पादों को विक्रय के लिए रखा जा सके। इनसे उत्तराखण्ड के हजारों लोगों को रोजगार मिलेगा।

कैलाश मानसरोवर का सड़क मार्ग जल्द होगा पूरा
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि अगर अच्छी सड़कें होती तो 2013 की आपदा में बहुत से लोगों का जीवन बचाया जा सकता था। चारधाम सड़क परियोजना को अपने जीवन की सबसे बड़ी उपलब्धि बताते हुए केंद्रीय मंत्री ने कहा कि इससे वर्ष भर चारधाम यात्रा संचालित की जा सकेगी। चारधाम के लिए ऑल सीजन रोड़ का उनका सपना पूरा हो रहा है। उनका दूसरा सपना है कि उत्तराखण्ड से सड़क मार्ग से कैलाश मानसरोवर जाने का। मार्ग का 85 प्रतिशत काम पूरा हुआ है। अगले 5-6 माह में यह सड़क पूरी हो जाएगी और वे स्वयं इस सड़क से मानसरोवर के दर्शन के लिए जाएंगे। चारधाम परियोजना हमारी आस्था, अस्मिता और स्वाभिमान का प्रोजेक्ट है। हमें पर्यावरण और विकास को साथ लेकर चलना है। एक पेड़ के बदले हम 10 पेड़ लगाएंगे।

दिल्ली-देहरादून एक्सप्रेस वे से हरिद्वार के लिए भी कनेक्टिविटी
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि दिल्ली से देहरादून का सफर आने वाले समय में केवल 2 घंटे का होगा। दिल्ली से देहरादून एक्सप्रेस वे के तहत एक कनेक्टिविटी दिल्ली-हरिद्वार के लिए भी दी जाएगी। इससे दिल्ली-हरिद्वार का मार्ग भी 2 घंटे का हो जाएगा। सहारनपुर बाईपास से 2000 करोड़ की लागत से 49 किमी का 6 लेन का नया मार्ग बनाया जाएगा। जनवरी 2024 से पहले इसका उद्घाटन कर दिया जाएगा। दिल्ली-देहरादून कॉरिडोर की कुल लम्बाई 210 किमी और कुल लागत 13 हजार करोड़ रूपये होगी। पहले चरण में यह 6 लेन का होगा। नौ पैकेज में यह काम होगा, इसमें से 5 पैकेज का टेंडर भी हो गया है। शेष 4 पैकेज का टेंडर अप्रैल 2021 तक हो जाएगा।

उत्तराखण्ड के चल रहे सड़क प्रोजेक्टों की जानकारी दी
मुख्यमंत्री के अनुरोध पर यमुनाघाटी क्षेत्र को चारधाम परियोजना से जोड़ने के लिए डीपीआर बनाया जा रहा है। सांसद अजय टम्टा के अनुरोध पर जौलजीवी-मड़कोट-मुन्स्यारी-थापा से मिलम की सड़क खोलने के लिए बीआरओ को कह दिया गया है। सतपाल महाराज जी के अनुरोध पर धनोरीपुल, मिरापुल की मरम्मत और सल्ट महादेव से थैलीसैंण की मरम्मत का काम कर दिया गया है। मदन कौशिक के अनुरोध पर पावनधाम चैक से दुधाधारी चैक तक एलीवेटेड रोड और भूपतवाला में बन रहे अंडरपास में पिलर निर्माण किया जाएगा। डॉ धनसिंह रावत ने श्रीनगर में एलीवेटेड रोड व मैरीन ड्राइव के अनुरोध पर डीपीआर बना ली गई है।

कोटद्वार-सतपुली-ज्वाल्पा- श्रीनगर 2 लेन का डीपीआर बन गया है। रामेश्वर से अल्मोड़ा तक 2 लेन सड़क का निर्माण की डीपीआर बन गयी है। कालसी से बड़कोट बैंड 2 लेन सड़क का निर्माण की डीपीआर को सुधार के लिए भेजा गया है।

डाटकाली से आईएसबीटी तक सड़क मरम्मत कार्य, बागेश्वर से बिलना तक सड़क सुरक्षा कार्य, छारा में सड़क सुरक्षा कार्य अल्मोड़ा में बनारघाट में सड़क सुरक्षा कार्य, पाण्डुवाखाल से कर्णप्रयाग तक सड़क मरम्मत का कार्य, चोपता से कुण्डा तक सड़क मरम्मत का कार्य, चमोली से चोपता तक रामनगर से बुआखाल मोटरमार्ग पर दो पुलों का निर्माण, चम्पावत-लोहाघाट-पिथौरागढ़ सड़क मरम्मत कार्य, काकड़ीघाट से कुड़ाब तक चैड़ीकरण जल्द अवार्ड कर दिए जाएंगे।

मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में देश के साथ उत्तराखण्ड में भी तेजी से विकास के काम हो रहे हैं। केन्द्र द्वारा स्वीकृत विभिन्न सड़क परियेजनाओं से उत्तराखण्ड में सड़क कनेक्टिविटी में काफी विस्तार हो रहा है। इससे न केवल चार धाम यात्रा सुगम होगी बल्कि उत्तराखण्ड में पर्यटन गतिविधियों का विस्तार होगा। इसका फायदा प्रदेश की अर्थव्यवस्था को होगा। इससे लाखों लोगों को रोजगार के अवसर मिलेंगे।

एनएचएआई के चैयरमैन एसएस संधु ने बताया कि पांवटा-देहरादून 4 लेन स्वीकृत हो चुकी है यहां से मसूरी के लिए वैकल्पिक मार्ग का प्लान भी तैयार किया जा रहा है। हरिद्वार रिंग रोड़ स्वीकृत हो चुकी है। खटीमा बाईपास भी प्लान किया गया है। रामपुर में बाईपास से नैनीताल के लिए समय की बचत होगी। मुरादाबार बाईपास से कार्बेट के लिए समय बचेगा।

इस अवसर पर केंद्रीय शिक्षा मंत्री डॉ. रमेश पोखरियाल निशंक, केंद्रीय सड़क परिवहन राज्य मंत्री जनरल(से.नि) वी.के. सिंह, केंद्रीय पशुपालन, डेयरी व मत्स्य राज्य मंत्री संजीव बालियान, विधानसभा अध्यक्ष प्रेम चंद अग्रवाल, शहरी विकास मंत्री मदन कौशिक, सिंचाई मंत्री सतपाल महाराज, सांसद नरेश बंसल, अजय टम्टा, तीरथ सिंह रावत, उत्तर प्रदेश के राज्यमंत्री कपिल देव अग्रवाल, सांसद हाजी फजलुर्रहमान आदि उपस्थित थे।

पूर्व की सरकार घोषणा करती थी, हम काम करने वालेः मोदी

राजस्थान के उदयपुर में जनसभा को संबोधित करते हुए नरेंद्र मोदी बोले भारत सरकार सदैव बाढ़ पीड़ितों के साथ है। उन्होंने कहा कि पूर्व की सरकार सिर्फ घोषणाएं करती थी, अमल नहीं, लेकिन मेरी सरकार काम करने में विश्वास करती हैं। पीएम ने यहां 15 हजार करोड़ रुपए की परियोजनाओं का लोकार्पण किया। इससे पहले प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने उदयपुर पहुंचकर हाइवे प्रॉजेक्ट्स का जायजा लिया। उनके साथ केंद्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी और गृह मंत्री राजनाथ सिंह भी नजर आए। प्रधानमंत्री राजस्थान ने 15,000 करोड़ रुपये की राष्ट्रीय राजमार्ग परियोजनाओं का उद्घाटन किया है। पीएम मोदी कुल करीब कुल 873 किमी लंबाई की 11 पूरी हो चुकी राष्ट्रीय राजमार्ग परियोजनाओं को राष्ट्र को समर्पित करेंगे। ये परियोजनाएं राजसमंद, भिलवाड़ा, पाली, नागौर, बारमेर, सिकर, चुरू, जोधपुर और जैसलमेर में हैं। इन 11 परियोजनाओं में कोटा में चम्बल नदी पर बना छह लेन वाला केबल स्टेड ब्रिज भी शामिल है। इस कार्यक्रम में प्रधानमंत्री मोदी कुल करीब 556 किमी की छह राष्ट्रीय राजमार्ग परियोजनाओं के लिए भूमिपूजन भी करेंगे।