डेरा सच्चा सौदा की चेयरपर्सन विपश्यना इंसा और वाइस प्रेसिडेंट डॉ. पीआर नैन से हरियाणा पुलिस की एसआईटी लगातार पूछताछ कर रही है। पुलिस जांच में पता लगा है कि डेरा सच्चा सौदा के सिरसा मुख्यालय की जमीन और खेतों में करीब 600 लोगों की हड्डियां और कंकाल मौजूद हैं। पीआर नैन ने भी पूछताछ के दौरान ये बात स्वीकार की है।
पीआर नैन ने पुलिस को दलील दी है कि डेरा अनुयायियों का ऐसा विश्वास है कि मौत के बाद यदि उनकी अस्थियां डेरे की जमीन में दबा दी जाएंगी, तो उन्हें मोक्ष मिलेगा। इसी वजह से डेरे की जमीन में करीब 600 लोगों की अस्थियां और कंकाल हैं। हालांकि, पुलिस इस एंगल पर भी जांच कर रही है कि लोगों को मारकर खेतों में उनकी लाशें दबा दी गई हैं।
डेरे के कुछ पूर्व सेवादारों ने आरोप लगाया था कि डेरा या राम रहीम के खिलाफ बोलने वाले लोगों की हत्या करके उनकी लाश खेतों में दफना दी जाती थीं। उसके उपर पेड़ लगा दिए जाते थे, ताकि किसी को इसके बारे में पता न चल सके। उनका कहना था कि राज फाश होने के डर से डेरे में इन जगहों पर खुदाई करने या पेड़ काटने तक की मनाही थी।
इससे पहले एसआईटी ने विपश्यना इंसा से करीब सवा तीन घंटे तक गहन पूछताछ की थी। डीएसपी कुलदीप बैनीवाल ने उससे 100 से ज्यादा सवाल किए, लेकिन वह उसके जवाब से संतुष्ट नहीं हुए हैं। इसलिए उससे दोबारा पूछताछ की तैयारी की जा रही है। वहीं डेरा के वाइस प्रेसिडेंट डॉ. पीआर नैन और विपश्यना के जवाब में विरोधाभास देखने को मिल रहा है।
पुलिस का कहना है कि यदि इन दोनों ने संतोषजनक जवाब नहीं दिया, तो इनको गिरफ्तार भी किया जा सकता है। दोनों ने पंचकूला में हुई हिंसा को लेकर अलग-अलग बातें कही है। पीआर नैन पर हिंसा कराने के लिए 5 करोड़ की फंडिंग का आरोप है। इन पैसों से पंचकूला डेरा प्रभारी चामकुमार सिंह ने गुंडों को हिंसा के लिए तैयार किया था। चामकुमार हिरासत में है।