प्रधानमंत्री आवास योजना शहरी के अंतर्गत 101 लाभार्थियों को मुख्यमंत्री ने सौंपी चाबी

राज्य में प्रतिमाह 100 यूनिट तक विद्युत खर्च करने वाले उपभोक्ताओं को 50 प्रतिशत सब्सिडी देगी धामी सरकार। उच्च हिमालयी क्षेत्रों के लिए यह मानक 200 यूनिट तक रहेगा। यह सुविधा 01 किलोवाट तक विद्युत भार वाले उपभोक्ताओं को मिलेगी। इस योजना का लाभ लगभग 11 लाख 50 हजार उपभोक्ताओं को मिलेगा। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सोमवार को अपने जन्म दिवस के अवसर पर मुख्य सेवक सदन में आयोजित कार्यक्रम में प्रदेशवासियों को अनेक सौगात दी।

मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर पिटकुल की ए.डी.बी. वित्त पोषत 05 परियोजनाओं का शिलान्यास किया। इन 05 परियोजनाओं में 220 के.वी जी.आई.एस सब स्टेशन सेलाकुई एवं संबंधित लाईन के निर्माण कार्य, 132 के.वी जी.आई.एस सब स्टेशन आराघर एवं संबंधित लाईन के निर्माण कार्य, 132 के.वी जी.आई.एस सब स्टेशन लोहाघाट एवं संबंधित लाईन के निर्माण कार्य, 132 के.वी जी.आई.एस सब स्टेशन धौलाखेड़ा एवं संबंधित लाईन के निर्माण कार्य तथा 132 के.वी जी.आई.एस सब स्टेशन खटीमा द्वितीय और संबंधित लाईन के निर्माण कार्य शामिल हैं।

मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर यूपीसीएल की परियोजनाओं गढ़वाल और कुमांऊ क्षेत्र में केन्द्र पोषित आर.डी.एस.एस योजना के अन्तर्गत 16 लाख स्मार्ट मीटरों के स्थापना के कार्य एवं एडीबी द्वारा बाह्य सहायतित उत्तराखण्ड क्लाइमेट रेजिलिएन्ट पावर स्टिम डवलपमेंट प्रोजक्ट के अन्तर्गत देहरादून शहर के प्रमुख मार्गों की विद्युत लाईनों को भूमिगत किये जाने वाले कार्यों का शुभारंभ किया। इसमें लगभग 977 करोड़ की धनराशि खर्च होगी। मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम के दौरान प्रधानमंत्री आवास योजना शहरी के अन्तर्गत निर्मित लक्ष्मी आवास योजना शिकारपुर, रूड़की, हरिद्वार के भवनों के 101 लाभार्थियों को कब्जा पत्र और चाबी सौंपी।

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि उत्तराखण्ड के सतत विकास के लिए राज्य सरकार हर क्षेत्र में तेजी से कार्य कर रही है। उन्होंने कहा कि आज विद्युत की जिन परियोजनाओं का शिलान्यास किया गया है, इनसे राज्य में विद्युत की आपूर्ति और वितरण व्यवस्था में और सुधार होगा। इससे राज्य में उद्योगों को बढ़ावा मिलने के साथ ही रोजगार में भी वृद्धि होगी। इससे राज्य की आर्थिकी को और मजबूत आधार मिलेगा। स्मार्ट मीटरों से ऊर्जा आपूर्ति प्रणाली सुदृढ़ होगी और आम जनता की बिलिंग सबंधी समस्याएं भी दूर होंगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मार्गदर्शन में विकास के पथ पर निरंतर आगे बढ़ रही है।

कैबिनेट मंत्री प्रेमचन्द अग्रवाल ने कहा कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अपने जन्म दिवस के अवसर पर प्रदेशवासियों को कई सौगात दी है। उन्होंने कहा कि कार्यभार संभालने के बाद से मुख्यमंत्री ने प्रदेश में नई कार्य संस्कृति बनाई है। मुख्यमंत्री के कार्यकाल में अनेक बड़े कार्य हो रहे हैं। 977 करोड़ के लागत से देहरादून में विद्युत लाईन को भूमिगत करना एक महत्वपूर्ण कार्य है।

इस अवसर पर कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी, रेखा आर्य, राज्यसभा सांसद और भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष महेन्द्र भट्ट, राज्यसभा सांसद डॉ. कल्पना सेनी, मुख्य सचिव राधा रतूड़ी, सचिव ऊर्जा डॉ. आर. मीनाक्षी सुंदरम, एमडी यूपीसीएल अनिल कुमार, एमडी पिटकुल पी.सी ध्यानी और संबंधित अधिकारी उपस्थित थे।

देहरादून शहर की यातायात समस्या के समाधान को लेकर मुख्य सचिव ने की बैठक

मुख्य सचिव डॉ. एस.एस. संधु ने बुधवार को सचिवालय में देहरादून शहर की यातायात समस्या के समाधान के लिए सभी सम्बन्धित विभागों के साथ विस्तृत चर्चा की। मुख्य सचिव ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि देहरादून में ट्रेफिक कंजेशन को दूर करने के लिए सभी सम्बन्धित विभाग एक टीम बनाकर ट्रेफिक कंजेशन वाली सड़कों के लिए विशेष प्लान तैयार करें।

मुख्य सचिव ने जिलाधिकारी देहरादून को निर्देश दिए कि इस सम्बन्ध में टीम गठित कर यातायात की समस्या वाले स्थलों पर मौके पर जाकर क्षेत्रवार विशिष्ट योजना तैयार की जाए। जिला प्रशासन, एमडीडीए, नगर निगम, यातायात पुलिस और लोक निर्माण विभाग और उस सड़क का निर्माणकारी विभाग सभी से एक-एक सदस्य अवश्य शामिल हो ताकि मौके पर सम्बन्धित विभागों से जो भी सुझाव प्राप्त हों वे अमल में लाए जाने योग्य है या नहीं इसका भी मौके पर ही फैसला लिया जा सके।

मुख्य सचिव ने आरटीओ देहरादून द्वारा दिए सुझाव को भी धरातल पर उतारने के लिए सभी सम्बन्धित विभागों से सहयोग करने की बात कही। उन्होंने कहा कि अच्छे प्रस्तावों को धरातल पर उतारने के लिए हर सम्भव प्रयास किए जाने चाहिए, इसके लिए बजट की भी कमी नहीं होने दी जाएगी। उन्होंने कहा कि लोगों को सार्वजनिक वाहनों की सुगम उपलब्धता के साथ ही यातायात का एक ऐसा प्लान तैयार किया जाए कि आमजन को विश्वास हो कि उसे देहरादून में कहीं भी जाने के लिए 100, 200 मीटर से ज्यादा पैदल नहीं जाना पड़ेगा। लोगों को विश्वास हो कि उन्हें कहीं भी जाने के लिए कुछ न कुछ मिल ही जाएगा और लोग अपने व्यक्तिगत वाहनों को घर पर छोड़ कर सार्वजनिक अथवा प्राईवेट यातायात सुविधा के माध्यमों पर विश्वास कर सकेंगे। इससे शहर के यातायात पर पड़ने वाला दबाव निश्चित रूप से कम होगा। उन्होंने इसके लिए शहर के ट्रेफिक प्लान को मजबूत करते हुए उस क्षेत्र की भौगोलिक स्थिति के अनुरूप वन-वे, डायवर्जन और पार्किंग आदि की व्यवस्था सुनिश्चित करके ट्रेफिक सिस्टम विकसित किए जाने की भी जरूरत बतायी।

इस अवसर पर अपर मुख्य सचिव आनन्द बर्द्धन, प्रमुख सचिव आर.के. सुधांशु, सचिव दीपेन्द्र चौधरी एवं जिलाधिकारी देहरादून सोनिका सहित सम्बन्धित विभागों के उच्चाधिकारी उपस्थित थे।

देहरादून सिटी टॉप-10 में शामिल

अगर आप उत्तराखंड में रहते हैं और खासतौर पर देहरादून में निवास करते हैं, तो आपके लिए खुशी का पल है। हाल ही में जागरन डॉट कॉम, KMPG और फेसबुक पर एक सर्वे किया गया है। इसमें लोगों से पूछा गया था कि सुरक्षा के लिए लिहाज से देश का सबसे सुरक्षित शहर कौन है? कौन सा ऐसा शहर है, जहां लोग खुद को महफूज महसूस करते हैं ? आपको जानकर खुश होगी कि देहरादून इस लिस्ट में पहले नंबर पर है।
सबसे खास बात ये है कि इस लिस्ट में दिल्ली, मुंबई और बेंगलुरू जैसे महानगर टॉप-10 में जगह भी नहीं बना पाए। सुरक्षा के लिहाज से ये ब़ड़े शहर देहरादून के आगे बिल्कुल भी नहीं टिकते। एक वेबसाइट में बताया गया है कि ये सर्वे कुल मिलाकर 14 हजार लोगों पर किया गया है। हालांकि इस लिस्ट में इंदौर पहले नंबर पर है लेकिन वो सिर्फ रहने के लिहाज से पहले नंबर पर है।

जहां तक सुरक्षा की बात करें, तो देहरादून पहले नंबर पर बना हुआ है। देशभर में रहने के लिहाज से देहरादून तीसरे नंबर पर है, जबकि सुरक्षा के लिहाज से पहले नंबर पर है। ये हैं देश के 10 टॉप टेन शहर।
1- इंदौर
2- लखनऊ
3- देहरादून
4- वाराणसी
5- रायपुर
6-रांची
7- मेरठ
8-लुधियाना
9- पटना
10- कानपुर
सुरक्षा के लिहाज से देहरादून देशभर में पहले नंबर पर बना हुआ है। इसलिए अगर आप देहरादून से हैं, तो आपके लिए इससे गर्व का मौका कोई हो नहीं सकता। इससे पहले NCRB यानी नेशनल क्राइम रिकॉर्ड ब्यूरो का एक सर्वे आया था, जिसमें कहा गया था कि उत्तराखंड में अपराध सबसे कम हैं और ये राज्य देश का सबसे सुरक्षित राज्य है।