ऋषिकेश कोतवाली में दो पक्षों पर मारपीट का क्रास मुकदमा दर्ज


कोतवाली पुलिस के मुताबिक रीता देवी पत्नी राकेश राजभर निवासी वीरपुर खुर्द गली नंबर 12, ऋषिकेश ने एक तहरीर पुलिस को दी। इसमें महिला ने अशोक राजभर, विजय राजभर, मनीष राजभर, जमुना, छोटेलाल, मनोज शिवदास, संजीत पर होली के दिन दोहपर के समय घर में घुसकर मारपीट कर चोट पहुंचाने का आरोप लगाया।

इसके अलावा महिला ने उन पर महिलाओं की लज्जा भंग करने, गाली-गलौज कर जान मारने की धमकी देने की बात भी कही। वहीं दूसरे पक्ष की ओर से अशोक राजभर पुत्र नागेश्वर ने भी राकेश राजभर, नंदलाल, नंदकिशोर, मेवालाल, बिजेंदर, रीता देवी, सहित अन्य लोगों के खिलाफ उनके पोते मनीष के साथ मारपीट, गाली- गलौज व जान से मारने का आरोप लगाया है। साथ ही शिकायकर्ता ने कहा कि पत्नी और पति के कपड़े भी खींचे गए हैं।

कोतवाल रवि सैनी ने बताया कि दोनों पक्षों की तहरीर मिलने पर क्रॉस मुकदमा दर्ज किया है। मामले की विवेचना शुरू कर दी है।

पिता और पुत्र को मारपीट के मामले में कोर्ट ने सुनाई एक-एक साल की सजा

मारपीट के एक मामले में न्यायिक मजिस्ट्रेट ऋषिकेश आलोक राम त्रिपाठी की अदालत ने आरोपी पिता और पुत्र को दोषी पाते हुए एक-एक साल के सश्रम कारावास की सजा सुनाई है। साथ ही 1500-1500 रुपये का अर्थदंड भी लगाया है। अर्थदंड न देने पर दोनों को एक माह का अतिरिक्त सश्रम कारावास भुगतना होगा।

मामला 11 अगस्त 2016 का है। बताया गया कि वादी जीत बंधन फल लेने के लिए बड़ी सब्जी मंडी गए थे। यहां पर सुरेश गुप्ता से किसी बात पर कहासुनी हो गई। इसके बाद दोपहर करीब डेढ़ बजे वादी को तारामाता मंदिर मायाकुंड के समीप सुरेश गुप्ता और उसका पुत्र आशीष गुप्ता मिल गए। आरोप था कि दोनों पिता और पुत्र ने वादी के साथ जमकर मारपीट की। इस कारण वादी के मुंह पर चार टांके आए और दो दांत भी टूट गए। वादी की तहरीर के आधार पर पुलिस ने पिता-पुत्र के खिलाफ मुकदमा पंजीकृत कर जांच के बाद चार्जशीट न्यायालय न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत में दाखिल की।

इस मामले में राज्य की ओर से सहायक अभियोजन अधिकारी राकेश चंद ने मजबूत पैरवी की। इसके आधार पर न्यायाधीश आलोक राम त्रिपाठी ने आरोपी सुरेश गुप्ता पुत्र बनारसी तथा आशीष गुप्ता पुत्र सुरेश गुप्ता को दोषी पाया। उन्होंने दोषी पिता और पुत्र को एक-एक वर्ष के सश्रम कारावास की सजा सुनाई है। साथ ही 1500-1500 रुपये का अर्थदंड भी लगाया।