69वें राजकीय आद्यौगिक विकास एवं सांस्कृतिक गौचर मेले का मंगलवार को शानदार आगाज हो गया। मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने गौचर मेले का विधिवत् उदघाटन किया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने 155.44 करोड़ रूपए लागत की विभिन्न विकास योजनाओं का लोकार्पण और शिलान्यास कर जिले को बडी सौगात भी दी। मेले के उद्घाटन के अवसर पर छोलिया नृत्य के साथ मुख्यमंत्री का भव्य स्वागत किया गया।
मुख्यमंत्री ने मेले में जनता को संबोधित करते हुए कहा कि गौचर मेला संस्कृति, बाजार तथा उद्योग तीनों के समन्वय के कारण एक प्रसिद्ध राजकीय मेला है और साल दर साल यह मेला अपनी ऊँचाइयों को छू रहा है। उन्होंने मेले को भव्य एवं आकर्षक स्वरूप देने के लिए जिला प्रशासन की सराहना भी की। मुख्यमंत्री ने जिले की संस्कृति, खानपान, धार्मिक एवं पर्यटक स्थलों के लिए प्रकाशित कॉफी टेबल बुक का विमोचन भी किया। इस दौरान मुख्यमंत्री ने स्वतंत्रता संग्रामी सेनानी श्री बख्तावर सिंह को सम्मानित किया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि कृषि और उद्यान के विकास में गौचर मेले की बड़ी भूमिका रही है। किसानों की आय को बढाने के लिए सरकार आर्गेनिक खेती को बढावा देने के लिए कार्य कर रही है ताकि किसान को अधिक से अधिक फायदा मिल सके। किसानों की आय बढाने के लिए ग्रोथ सेंटर स्थापित किए जा रहे हैं ताकि किसान अपनी आवश्यकता से अधिक अनाज को ग्रोथ सेंटर में मूल्यवर्धित करा सकते हैं। कंडाली और हैम्प के रेशे के महत्व को समझाते हुए उन्होंने कहा कि आज खेती के तरीके को बदलने की जरूरत है। बताया कि पूरी दुनिया में हैम्प के रेशे की बहुत डिमांड है आज नशा रहित हैम्प के रेशे से 527 किस्म के प्रोडक्ट तैयार किए जा रहे हैं। त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में चुने हुए नए प्रतिनिधियों को बधाई देते हुए मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र ने कहा कि दो बच्चे और शिक्षा की अनिवार्यता रखने के कारण इस बार के त्रिस्तरीय पंचायत चुनावों में अधिकांश युवाओं को प्रतिनिधित्व का मौका मिला है। उन्होंने कहा कि राजनीतिक इच्छा शक्ति से ही यह बदलाव संभव हुआ है। कहा कि राज्य के विकास के लिए दृष्टि ही नही दृष्टिकोण होना भी जरूरी है।
साहसिक खेलों के लिए गौचर मेले में पहली बार अलकनंदा नदी में रिवर राफ्टिंग प्रतियोगिता भी आयोजित की गई। मुख्यमंत्री ने रिवर राफ्टिंग करते हुए प्रतियोगिता का शुभारंभ किया। उन्होंने कहा कि यहॉ पर राफ्टिंग की भरपूर सम्भावनाएं है और जिला प्रशासन ने इसको आगे बढाने के लिए एक अच्छी पहल की है। उन्होंने स्थानीय लोगों को भी इस योजना में आगे बढाने पर जोर दिया।
इससे पूर्व मुख्यमंत्री ने विभिन्न विकास योजनाओं के तहत 62.58 करोड़ की योजनाओं का लोकार्पण तथा 92.85 करोड़ की योजनाओं का शिलान्यास कर जिले को विकास की एक बडी सौगात भी दी। जिन बडी योजनाओं को लोकपर्ण किया गया उनमें 11.87 करोड की सरमोला रानौ मोटर मार्ग, 8.95 करोड की सुगरबैंड से सिलपाटा मोटर मार्ग, 9.89 करोड की गोल से मथकोट मोटर मार्ग, 3.85 करोड़ की चटवापीपल से ग्राम सिरण मोटर मार्ग, 3.43 करोड की उज्जवलपुर-बैनोली मोटर मार्ग शामिल है। वही जिन बडी योजनाओं का आज शिलान्यास हुआ उनमें 17.86 करोड की रैस-भटियांणा मोटर मार्ग, 8.40 करोड की लागत से तपोवन-रिंगी मोटर मार्ग, 5.99 करोड की हाटकल्याणी -बेराधार मोटर मार्ग, 5.27 करोड लागत की करछी-रेगडी मोटर मार्ग, 4.00 करोड लागत से माणा में निर्मित होने वाले बहुउद्देशीय व सार्वजनिक भवन निर्माण, 3.82 करोड़ लागत से तपोवन-करछोई मोटर मार्ग आदि शामिल है।
इस दौरान मुख्यमंत्री ने अलकनंदा नदी पर बाढ सुरक्षा, गौचर बाईपास मोटर मार्ग निर्माण, चटवापीपल में घाट सौन्दर्यीकरण एवं पहुॅच मार्ग निर्माण, गौचर नगर पालिका में बहुमंजिला पार्किंग निर्माण, कर्णप्रयाग-नैनीसैंण-बडसोली मोटर मार्ग निर्माण तथा उमासैंण तक मोटर मार्ग का विस्तारीकरण, राइका मालसी में अतिरिक्त कक्षा कक्ष निर्माण, गौचर पेयजल योजना निर्माण आदि घोषणाएँ भी की।