एसीएस उवाच, मुख्यमंत्री के निर्देशानुसार अंतरराष्ट्रीय कांग्रेस की सभी तैयारियों को समय रहते किया जाए पूरा

28 नवंबर से 1 दिसंबर 2023 तक देहरादून में होने वाली श्आपदा प्रबंधन पर 6 वीं अंतरराष्ट्रीय कांग्रेस को लेकर सोमवार को सचिवालय में अपर मुख्य सचिव श्रीमती राधा रतूड़ी की अध्यक्षता में एक बैठक का आयोजन किया गया। बैठक में अपर मुख्य सचिव ने कहा कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देशानुसार इस अंतरराष्ट्रीय आयोजन हेतु सभी तैयारियों को समय रहते पूर्ण कर लिया जाए। सभी विभागों को ओनरशिप लेकर इस आयोजन को सफल बनाना है। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड के लिहाज से इस आयोजन का बहुत महत्व है, इस लिहाज से तैयारियों में कोई कमी नहीं रहनी चाहिए।

बैठक में बताया गया कि 28 नवंबर से होने वाली कांग्रेस के सभी कार्यक्रम ग्राफिक एरा यूनिवर्सिटी में आयोजित होंगे। चार दिन के इस सेमिनार में कुल 70 सेशन होंगे जिसमें अंतरराष्ट्रीय व राष्ट्रीय स्तर के वक्ता अपनी बात रखेंगे। अपर मुख्य सचिव ने कहा कि सभी विभागों को चाहिए कि वे बेहतर तालमेल के साथ कार्य करें। उन्होंने कहा कि इसके ठीक बाद दिसंबर माह में ही ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट भी देहरादून में होने जा रही है। ऐसे में यह आयोजन उसकी रिहर्सल के तौर पर भी बेहद अहम है।

अपर मुख्य सचिव ने बैठक में अधिकारियों को निर्देश दिए कि बैठक में राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय स्तर के गणमान्य व्यक्ति आ रहे हैं सभी आवश्यक व्यवस्थाएं समय पर पूर्ण कर ली जाए। बैठक में बताया गया कि लगभग 600 डेलिगेट्स इस कांग्रेस में भाग लेंगे इस हेतु उनके ठहरने व अन्य व्यवस्थाओं का इंतजाम कर लिया गया है।

अपर मुख्य सचिव ने बैठक में निर्देश दिए कि ग्राफ़िक एरा से लेकर जिन किसी भी होटल में डेलिगेट्स रुकेंगे वहां पर फायर सेफ्टी ऑडिट करा लिया जाए। स्वास्थ्य विभाग को निर्देशित किया गया कि आयोजन के दिवस पर एम्बुलेंस व मेडिकल टीम की व्यवस्था पूरी कर ली जाए। बैठक में बताया गया कि चार दिवसीय आयोजन में शुरुआत के दो दिनों में शाम के वक्त सांस्कृतिक कार्यक्रम भी आयोजित होंगे। इसके अतिरिक्त एक दिन विदेशी मेहमानों को गंगा आरती हेतु ऋषिकेश भी ले जाया जाएगा।

बैठक में सचिव शैलेश बगोली, आपदा प्रबंधन सचिव रंजीत सिन्हा, अपर पुलिस महानिदेशक कानून एवं व्यवस्था एपी अंशुमन, यू-कॉस्ट के महानिदेशक प्रो. दुर्गेश पंत, डीआईजी राजकुमार नेगी, ग्राफिक एरा विश्विद्यालय के कुलपति डॉ नरपिंदर सिंह आदि अधिकारीगण उपस्थित रहे।

उत्तराखण्ड अप्रवासी सेल के संचालन को आरम्भ करने की कार्यवाही गतिमानः राधा रतूड़ी

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देश पर अपर मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने उत्तराखण्ड अप्रवासी सेल के संचालन को जल्द आरम्भ करने हेतु सचिवालय में आज सम्बन्धित अधिकारियों को महत्वपूर्ण निर्देश दिए।

एसीएस ने उत्तराखण्ड अप्रवासी सेल के सम्बन्ध में देश और दुनिया के विभिन्न क्षेत्रों में रह रहे उत्तराखण्ड मूल के अप्रवासियों के सम्बन्ध में डाटा बेस तैयार करने के निर्देश दिए हैं। इस दिशा में देश के विभिन्न राज्यों, शहरों और विदेशों में उत्तराखण्डी अप्रवासियों के संगठनों, एसोसिएशन एवं संस्थाओं की मदद ली जाएगी। विश्वभर में रह रहे उत्तराखण्ड मूल के अप्रवासियों को अपनी जड़ों का यह प्रयास आगामी दिसम्बर माह में आयोजित ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट में ही आरम्भ हो जाएगा। इस समिट में देश विदेश में उत्कृष्ट कार्य करने वाले उत्तराखण्ड अप्रवासियों को सम्मानित किया जाएगा। बैठक में राज्य के अप्रवासियों के नियमित अप्रवासी सम्मेलन आयोजित करवाने, उत्तराखण्ड सरकार तथा अप्रवासियों के बीच बेहतर सामंजस्य, अप्रवासियों के निवेश प्रस्तावों पर त्वरित कार्यवाही, अप्रवासियों की समस्याओं के तत्काल समाधान की कार्ययोजना पर चर्चा की गई।

बैठक में उत्तराखण्ड अप्रवासियों के राज्य में समाज कल्याण , महिला सशक्तीकरण एवं सामाजिक उद्यमिता (सोशल इन्टरप्रियोन्शिप), ऑल्ड एज होम आदि में निवेश एवं योगदान को प्रोत्साहित करने की योजना पर भी चर्चा की गई। एसीएस राधा रतूड़ी ने कहा कि उत्तराखण्ड अप्रवासी सेल अप्रवासियों को राज्य में शिक्षा, स्वास्थ्य, टेक्नॉलजी सहित सभी क्षेत्रों में जोड़ने एवं निवेश के लिए प्रोत्साहित भी करेगा। उन्होंने उत्तराखण्ड अप्रवासी सेल की वेबसाइट को जल्द से जल्द आरम्भ करने के भी निर्देश दिए। इसके साथ ही राधा रतूड़ी ने अधिकारियों को अन्य राज्यों के अप्रवासी सेल के अध्ययन के निर्देश दिए हैं। एसीएस रतूड़ी के निर्देश पर तत्कालिन व्यवस्था के रूप में सचिवालय में उत्त्राखण्ड अप्रवासी सेल का एक कार्यालय का संचालन जल्द ही शुरू होने जा रहा है।

बैठक में सचिव शैलेश बगौली, अपर सचिव नमामि बंसल एवं अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद रहे।

मुख्यमंत्री घोषणाओं की प्रगति को लेकर एसीएस ने ली बैठक

एसीएस राधा रतूड़ी ने सभी विभागों को स्पष्ट किया है कि मुख्यमंत्री द्वारा की गई घोषणाओं के सौ फीसदी पूरा होने तक घोषणाओं के कार्यों की नियमित, निरन्तर व कड़ी समीक्षा की जाएगी। घोषणाओं को जल्द से जल्द पूरा करने के लिए सभी विभागों को ऑनरशिप लेनी होगी तथा मिशन मोड पर कार्य करना होगा। इस सम्बन्ध में किसी भी प्रकार का विलम्ब एवं लापरवाही स्वीकार नही की जाएगी।

अपर मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने सचिवालय में मुख्यमंत्री की घोषणाओं की प्रगति की समीक्षा की। एसीएस ने मुख्यमंत्री द्वारा की गई घोषणाओं के तहत विद्यालयी शिक्षा विभाग, स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा विभाग, ग्राम्य विकास तथा उच्च शिक्षा विभाग द्वारा किये जाने वाले कार्यों की प्रगति की समीक्षा की। अपर मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने मुख्यमंत्री की घोषणाओं के तहत किये जाने वाले कार्य शीर्ष प्राथमिकता और समयबद्धता पूरा करने के निर्देश दिए हैं।

विद्यालयी शिक्षा विभाग द्वारा जानकारी दी गई कि मुख्यमंत्री की घोषणा के अनुरूप 600 अतिरिक्त विद्यालयों में स्मार्ट क्लास की व्यवस्था की जा रही है। विधानसभा क्षेत्र धारचूला के तहत आपदा में अनाथ हुए बच्चों की पढ़ाई-लिखाई की व्यवस्था की जा रही है। कर्णप्रयाग के विकासखण्ड गैरसैंण के रा0 इ0 का0 हरगड, रा0 इ0 कालेज सिलपाटा तथा थराली के राजकीय इण्टर कॉलेज रैंस चोपता में मुख्य भवन निर्माण के सम्बन्ध में कार्यवाही गतिमान है। इसके साथ ही घनसाली के तहत स्व0 इन्द्रमणी बडोनी जी के नाम से आदर्श इण्टर कॉलेज अखोडी में मिनी स्टेडियम, चम्पावत में राजकीय इण्टर कॉलेज मंच में फील्ड के विस्तारीकरण एवं विद्यालयी शिक्षा विभाग के अंतर्गत विद्यालयों की अवस्थापना सुविधाओं के सुदृढ़ीकरण एवं विस्तार करने तथा शिक्षा की गुणवत्ता बढ़ाने हेतु रूपान्तरण कार्यक्रम के सम्बन्ध कार्यवाही गतिमान है।

चिकित्सा शिक्षा एवं स्वास्थ्य विभाग द्वारा जानकारी दी गई कि खटीमा में नान इनवेजिव कार्डियक केयर सेन्टर हब एवं स्पोक मॉडल के रूप में विकसित करने, खटीमा में ब्लड बैंक की स्थापना तथा प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र बदियाकोट बागेश्वर में भवन निर्माण, पिथौरागढ़ के तहत बेस चिकित्सालय को सुचारू करने तथा गंगोली हाट के तहत सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र गणाई में भवन निर्माण के सम्बन्ध में कार्यवाही गतिमान है।

बैठक में अपर सचिव नमामि बंसल, योगेन्द्र यादव तथा सम्बन्धित विभागों के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

सीएम घोषणा के कार्यों को शीघ्र प्राथमिकता से करें पूर्णः राधा रतूड़ी

एसीएस राधा रतूड़ी ने अधिकारियों को हिदायत दी है कि जो कार्य मुख्यमंत्री की घोषणा में आ गये हैं वे स्वतः ही जनहित की दृष्टि से अत्यन्त महत्वपूर्ण हो गए हैं, इनके क्रियान्वयन में किसी भी प्रकार की कमी या अनावश्यक विलम्ब स्वीकार नही किया जाएगा। एसीएस ने स्पष्ट किया कि मुख्यमंत्री की घोषणाओं के तहत किये जाने वाले कार्य शीर्ष प्राथमिकता और समयबद्धता से पूरे किये जाने आवश्यक हैं।
अपर मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने सचिवालय में मुख्यमंत्री की घोषणाओं के तहत पर्यटन विभाग, पंचायती राज्य विभाग, समाज कल्याण विभाग द्वारा क्रियान्वित की जाने वाली घोषणाओं की प्रगति की समीक्षा की।
अपर मुख्य सचिव रतूड़ी ने विशेषकर पर्यटन विभाग को अपने आन्तरिक विभाजनों को समाप्त कर यूटीडीबी (उत्तराखण्ड पर्यटन विकास बोर्ड), डीटीडीओ (जिला पर्यटन विकास अधिकारी), कन्सलटेंट्स और स्टेकहोल्डर्स को प्रभावी समन्वय के साथ कार्याे को पूरा करने के नसीहत दी हैं। इसके साथ ही उन्होंने अपर सचिव पर्यटन को हर सप्ताह यूटीडीबी, जीएमवीएन, केएमवीएन के साथ वर्चुअल माध्यम से योजनाओं की धरातल स्तर पर समीक्षा के निर्देश दिए हैं। एसीएस ने कुमाऊँ क्षेत्र में पर्यटन विभाग के तहत किये जाने वाले मन्दिरों के सौन्दर्यीकरण के कार्याे को औचित्य के आधार पर मानसखण्ड मन्दिर माला मिशन में समाहित करने के निर्देश दिए हैं।
अपर मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने पंचायती राज विभाग, संस्कृति व धर्मस्व विभाग तथा समाज कल्याण विभाग को योजनाओं के त्वरित कार्यान्वयन के निर्देश दिए हैं।
बैठक में सचिव एस एन पाण्डेय, अपर सचिव पूजा गर्ब्याल, जगदीश काण्डपाल तथा सम्बन्धित विभागों के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

एसीएस ने निराश्रित, बालश्रम से मुक्त बच्चों के तहसील स्तर पर अभियान चलाने के दिए निर्देश

एसीएस राधा रतूड़ी ने निराश्रित, बालश्रम से मुक्त बच्चों के तहसील स्तर पर अभियान चलाकर आधार कार्ड के साथ ही राशन कार्ड व आयुष्मान कार्ड बनाने के निर्देश दिए हैं। इसके साथ ही उन्होंने श्रमिकों विशेषकर खनन क्षेत्रों में काम करने वाले मजदूरों के बच्चों की शिक्षा के लिए मोबाइल स्कूलों की व्यवस्था को प्रभावी रूप से लागू करने के निर्देश दिए हैं। एसीएस ने जिलाधिकारियों को राज्य में बाल विवाह रोकने के लिए विद्यालयी शिक्षा विभाग की मदद से कक्षा 8 के बाद स्कूल ड्रॉप आउट करने वाली बालिकाओं के आंकड़े जुटाने के निर्देश भी दिए।

सचिवालय में बालश्रम से सम्बन्धित समीक्षा बैठक में अपर मुख्य सचिव राधा रतूड़ी ने राज्य में बालश्रम रोकने व अनाथ बच्चों के कल्याण, अच्छी शिक्षा व परवरिश के लिए जिला स्तर पर विभिन्न समितियों के स्थान पर जिलाधिकारी की अध्यक्षता के एक अम्ब्रेला कमेटी बनाने के निर्देश दिए हैं।

एसीएस राधा रतूड़ी ने जिलाधिकारियों को निराश्रित व बालश्रम से रिस्क्यू किये गये बच्चों की पुनर्वास के दौरान उनकी प्रगति की निरन्तर मॉनिटरिंग के भी निर्देश दिए गए। उन्होंने सभी जनपदों में ऑपरेशन मुक्ति के तहत रिस्क्यू किये गए बच्चों के डाटा को निर्धारित पैर्टन पर सीआईएसएस पोर्टल पर अपलोड करने के भी निर्देश दिए। एसीएस ने विशेषकर देहरादून क्षेत्र में बाल भिक्षावृति रोकने व बच्चों द्वारा ड्रग्स के प्रयोग को रोकने के लिए जॉइण्ट टास्क फोर्स गठन के निर्देश दिए । उन्होंने जनपदों में बाल विवाह रोकने के साथ ही बेटी बचाओं बेटी पढ़ाओं फण्ड के माध्यम से बालिकाओं की शिक्षा व अच्छी परवरिश को प्रोत्साहित करने की बात कही।

बैठक में पुलिस विभाग ने जानकारी दी कि उत्तराखण्ड में गत तीन वर्षों बालश्रम के 133 केस दर्ज हुए हैं। राज्य में विगत तीन वर्षाे में बाल विवाह के 22 केस दर्ज हुए हैं। राज्य में जेजे एक्ट को प्रभावी रूप से लागू करने की आवश्यकता है।

बैठक में अपर सचिव गृह निवेदिता कुकरेती, डीआईजी पी रेणुका देवी तथा वर्चुअल माध्यम से सभी जिलों के जिलाधिकारी व वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक उपस्थित थे।

सतत विकास लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए आपसी सामंजस्य के साथ समेकित विकास पर ध्यान देना जरुरी

मुख्य सचिव डॉ. एस.एस. संधु की अध्यक्षता में गुरुवार को सचिवालय में सेंटर फॉर पब्लिक पॉलिसी एंड गुड गवर्नेंस की 5वीं कार्यकारी समिति की बैठक सम्पन्न हुयी। इस दौरान मुख्य सचिव ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि सतत विकास लक्ष्य को पाने के लिए इनकी साप्ताहिक मॉनिटरिंग की जाए।
मुख्य सचिव ने कहा कि सतत विकास लक्ष्यों को प्राप्त करने हेतु हमें आपसी सामंजस्य के साथ समेकित विकास पर ध्यान देना होगा। उन्होंने कहा कि प्रदेश के विकास के लिए विभिन्न शिक्षण संस्थानों के साथ लगातार सहयोग की आवश्यकता है। उन्होंने आईआईएम काशीपुर को राज्य के अधिकारियों एवं कर्मचारियों के लिए भी विभिन्न प्रशिक्षण कार्यक्रम संचालित किए जाने की बात कही। उन्होंने कहा कि इसी प्रकार आईआईटी रूड़की और पंतनगर कृषि विश्वविद्यालय अपने अपने क्षेत्र में राज्य के विकास के लिए विभिन्न प्रकार से प्रशिक्षण आदि उपलब्ध करा सकते हैं। इसके लिए नियोजन विभाग और संस्थान मिलकर योजना तैयार करें।
मुख्य सचिव ने कहा कि बहुत से ऐसे कार्य हैं जो राज्य सरकार और शिक्षण संस्थान जनहित में करना चाह रहे हैं, परन्तु आपसी संवादहीनता के कारण ये कार्य बाधित हो रहे हैं। विभिन्न शिक्षण संस्थानों की एक समिति बनाकर तिमाही बैठक आयोजित की जाए। राज्य केन्द्रित शोधों के लिए रिसर्च फेलोशिप कार्यक्रम संचालित किए जाएं। उन्होंने कहा कि प्रदेश की समस्याओं को समझने और उसका समाधान खोजे जाने के लिए सम्बन्धित संस्थान को समस्या का अभिनव समाधान खोजे जाने का कार्य दिया जाए।
इस अवसर पर अपर मुख्य सचिव राधा रतूड़ी, सचिव मीनाक्षी सुन्दरम, अपर सचिव नियोजन रोहित मीणा सहित विभिन्न शिक्षण संस्थानों के प्रतिनिधि उपस्थित रहे।