चारधाम यात्रा प्रबंधन में व्यक्तिगत तौर पर जुटे सीएम धामी

उत्तराखंड की आर्थिकी में महत्वपूर्ण योगदान देने वाली चारधाम यात्रा जोर शोर से शुरू हो गई है। यात्रा के पहले ही दिन से यात्रियों की भीड़ उमड़ रही है। इसी के साथ मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी चारों धामों से लेकर प्रमुख यात्रा पड़ावों तक लगातार यात्रा तैयारियों का जायजा ले रहे हैं। पुष्कर सिंह धामी कपाट खुलने के दिन चारों धामों में मौजूद रहने वाले पहले मुख्यमंत्री भी बने हैं।

चारधाम यात्रा का शुभारंभ 30 अप्रैल को गंगोत्री- यमुनोत्री धाम के कपाट खुलने के साथ हुआ। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने इस दिन पहले गंगोत्री और फिर यमुनोत्री धाम में पहुंच, यात्रा तैयारियों का जायजा लिया। यमुनोत्री धाम में इससे पहले कोई भी सीएम, कपाट खुलने के दिन नहीं पहुंच पाए थे। इसी तरह सीएम धामी दो मई को केदारनाथ और चार मई को बद्रीनाथ धाम के कपाट खुलने के दिन भी दोनों धामों में मौजूद रहे। इस तरह राज्य के इतिहास में यह पहला अवसर है, जब कोई सीएम चारों धामों में कपाट खुलने के दिन मौजूद रहे। इससे जहां यात्रा तैयारियों को गति मिली, वहीं यात्रियों को भी बेतहर सुविधाएं मिल पाई। इसी तरह सीएम पुष्कर सिंह धामी चारधाम यात्रा के प्रमुख पड़ाव ऋषिकेश में भी लगातार यात्रा तैयारियों का जायजा लेते हुए, प्रबंधन अपने हाथ में लिए हुए हैं। सीएम लगातार यात्रियों से भी बातचीत करते हुए, फीडबैक ले रहे हैं। साथ ही जरूरी दिशा निर्देश भी दे रहे हैं।

मौसम को लेकर सतर्कता बरतने के निर्देश दिए

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शासन – प्रशासन के अधिकारियों को चारधाम यात्रा मार्ग पर मौसम को देखते हुए खास सतर्कता बरतने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि मौसम प्रतिकूल होने पर यात्रियों की सुरक्षा को सर्वाेच्च प्राथमिकता दी जाए, साथ ही यात्रियों को भी मौसम की जानकारी दी जाए।

उत्तराखण्ड सरकार की व्यवस्थाओं से श्रद्धालु प्रफुल्लित

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के नेतृत्व में उत्तराखण्ड सरकार सुगम, सुरक्षित और सुव्यवस्थित चारधाम यात्रा संचालन के लिए प्रतिबद्ध है। चार धाम दर्शन को आए सभी श्रद्धालु यात्रा व्यवस्थाओं से अत्यंत प्रसन्न नजर आ रहे हैं। चारों धामों में श्रद्धालु साफ-सफाई, सुरक्षा, स्वास्थ्य सुविधाएं, आवागमन और संपूर्ण व्यवस्थाओं से संतुष्ट हैं।

श्रद्धालुओं के अनुभवः

इंदौर से यमुनोत्री आए रघुनन्दन व्यास ने कहा कि मैं प्रथम बार देवभूमि के दर्शन के लिए उत्तराखण्ड आया हूं। टैक्सी स्टैंड पर उतरने के बाद सात किमी की चढ़ाई वाले पूरे यात्रा मार्ग में सरकार द्वारा बेहतरीन व्यवस्थाएं की गई हैं। जगह-जगह स्वास्थ्य शिविर देखने को मिल रहे हैं, सुरक्षा को लेकर भी उत्तराखण्ड पुलिस एवं प्रशासन मुस्तैद है। ऐसी व्यवस्था पूरे देश में शायद ही कहीं और देखने को मिले।

इंदौर शहर से ही दर्शन को पहुंचीं एक और श्रद्धालु ऊषा जी ने कहा कि मैं यहां की स्वास्थ्य सुविधा को देखकर बेहद प्रसन्न हूं। किसी भी व्यक्ति को स्वास्थ्य में थोड़ी भी असहजता होने पर स्वास्थ्य कर्मी तुरंत उसको उपचार दे रहे हैं। ऐसी बेहतर व्यवस्था के लिए हम उत्तराखण्ड सरकार को बहुत बहुत धन्यवाद देते हैं।

दिल्ली से आए मुकेश कुमार ने बताया कि उत्तराखण्ड शासन और प्रशासन द्वारा बेहतर सुविधाएं दी जा रही है। गंगोत्री धाम में मंदिर परिसर में सुव्यस्थित तरीके से बिना धक्का मुक्की के सभी श्रद्धालु आराम से मां गंगा के दर्शन कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि धाम और यात्रा मार्ग में पेयजल से लेकर शौचालय तक सभी व्यवस्थाएं एक दम शानदार हैं। हम खुशी खुशी यात्रा का आनंद ले रहे हैं।

गाजियाबाद से केदारनाथ दर्शन को पहुंचे श्रद्धालु आकाश गुप्ता ने यात्रा व्यवस्थाओं की सराहना करते हुए इसके लिए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी का धन्यवाद व्यक्त किया। उन्होंने कहा कि बाबा जी के बहुत अच्छे से दर्शन हुए हैं। धाम में साफ सफाई के साथ ही प्रशासन की अन्य सभी व्यवस्थाएं भी उम्दा हैं।

उत्तराखण्ड सरकार की प्रतिबद्धता है कि प्रत्येक श्रद्धालु को चारधाम यात्रा के दौरान श्रद्धा, सुविधा और सुरक्षा का संपूर्ण अनुभव प्राप्त हो। शासन-प्रशासन की ओर से व्यवस्थाओं की लगातार निगरानी और सुधार की प्रक्रिया भी जारी है, ताकि यह पवित्र यात्रा सभी के लिए यादगार और सुगम बनी रहे।
– पुष्कर सिंह धामी
मुख्यमंत्री, उत्तराखण्ड।

सीएस बर्द्धन ने लिया जिलाधिकारियों से चारधाम यात्रा की तैयारियों का जायजा

मुख्य सचिव आनन्द बर्द्धन ने सचिवालय में चारधाम यात्रा की तैयारियों के सम्बन्ध में जायजा लिया। उन्होंने सम्बन्धित जिलाधिकारियों से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से बैठक कर आवश्यक दिशा निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि चारधाम यात्रा के लिए उत्तराखण्ड आने वाले श्रद्धालुओं की सुरक्षा एवं सुविधा को अपनी शीर्ष प्राथमिकता पर रखा जाए। मुख्य सचिव ने बुधवार से शुरू हो रही गंगोत्री धाम एवं यमुनोत्री धाम की यात्रा के लिए जिलाधिकारी उत्तरकाशी को शुभकामनाएं दी। उन्होंने कहा कि श्रद्धालुओं की सुरक्षित, सुखद यात्रा और सकुशल वापसी हमारी जिम्मेदारी है।

मुख्य सचिव ने चारधाम यात्रा मार्गों में आवश्यक सेवाओं जैसे सब्जी, राशन और गैस आदि की आपूर्ति करने वाले वाहनों को प्राथमिकता दिए जाने की बात कही। उन्होंने कहा कि किसी भी प्रकार की समस्या के लिए कमिश्नर और आईजी सिंगल कॉन्टैक्ट पॉइन्ट होंगे। उन्होंने चारधाम एवं यात्रा मार्गों पर ओवर रेटिंग पर भी निगरानी रखे जाने के निर्देश दिए। इसके लिए निगरानी तंत्र को बढ़ाया जाए।

मुख्य सचिव ने चारों धामों में स्वास्थ्य सुविधाओं की तैयारी के लिए सचिव स्वास्थ्य से अद्यतन जानकारी लेते हुए केदारनाथ में नवनिर्मित अस्पताल को शीघ्र शुरू किए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने सभी जिलाधिकारियों से अधिक से अधिक यात्रियों के स्वास्थ्य परीक्षण पर फोकस किए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि जहां पर श्रद्धालु वाहनों से उतरते हैं, वहां पर स्वास्थ्य परीक्षण कराए जाने के लिए रिकॉर्डेड जागरूकता संदेश लगातार चलाया जाए, ताकि अधिक से अधिक लोग स्वास्थ्य परीक्षण कराएं। ऐसे स्थलों में होमगार्ड एवं पीआरडी जवानों की संख्या भी अधिक रखी जाए। मुख्य सचिव ने चारधाम यात्रा मार्ग पर सड़कों की स्थिति की भी जानकारी ली।

जिलाधिकारी उत्तरकाशी डॉ. मेहरबान सिंह बिष्ट ने बताया कि श्रद्धालुओं की सुविधाओं को सर्वाेच्च प्राथमिकता देते यात्रा मार्ग पर शौचालय, पार्किंग और यातायात प्रबंधन को सुदृढ़ किया गया है। चारधाम यात्रा 2025 के सुगम, सुरक्षित और सफलतापूर्वक संचालन को लेकर जिला प्रशासन द्वारा व्यापक तैयारी की गई है। यात्रियों की बढ़ती संख्या और वाहनों के बढ़ते दबाव को देखते हुए प्रमुख मार्गों को सुगम और सुरक्षित बनाने का प्रयास किया गया है। जिलाधिकारी रूद्रप्रयाग डॉ. सौरभ गहरवार एवं जिलाधिकारी चमोली डॉ. संदीप तिवारी ने भी चारधाम यात्रा की तैयारियों की जानकारी दी।

इस अवसर पर एडीजी डॉ. वी. मुरूगेशन, सचिव डॉ. आर. राजेश कुमार, डॉ. पंकज कुमार पाण्डेय, अपर सचिव रीना जोशी सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

राज्य के धार्मिक व पर्यटक स्थलों पर सुरक्षा व्यवस्था होगी कड़ी, सीएम ने दिए निर्देश

राज्य के धार्मिक और पर्यटक स्थलों पर सुरक्षा व्यवस्था चाक चौबंद रखी जाए। चारधाम यात्रा के दृष्टिगत भी सुरक्षा व्यवस्था पर विशेष ध्यान दिया जाय। जिलाधिकारियों द्वारा अपने जनपदों में इसकी नियमित निगरानी की जाए। चारधाम यात्रा के दौरान और अन्य महत्वपूर्ण मामलों में विभिन्न माध्यमों से फेक न्यूज चलाने वालों पर तत्काल कार्रवाई की जाए और जिलाधिकारियों द्वारा सही जानकारी नियमित रूप से विभिन्न माध्यमों से साझा की जाए। ये निर्देश मुख्यमंत्री ने मुख्यमंत्री आवास से वर्चुअल बैठक के दौरान जिलाधिकारियों को दिए।

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में किरायेदारों का सत्यापन न कराने वालों पर नियमानुसार कार्रवाई की जाए। ठेली, फड़ और झुग्गी झोपडियों में रहने वालों का भी सत्यापन किया जाए। राशन कार्ड, आधार कार्ड, बिजली के कनेक्शन आयुष्मान कार्ड और अन्य दस्तावेज अपात्र लोगों को देने वालों पर भी सख्त कार्रवाई की जाए। जनपदों में जिलाधिकारियों द्वारा सभी विभागों के अधिकारियों की ड्यूटी सत्यापन के लिए लगाई जाए। वनाग्नि प्रबंधन पर विशेष ध्यान देने के साथ ही वनाग्नि की घटनाओं में संलिप्त पाये जाने वालों पर कठोर कार्रवाई के निर्देश मुख्यमंत्री ने दिये है।

मुख्यमंत्री ने डेंगू पर प्रभावी नियंत्रण के लिए भी सभी आवश्यक व्यवस्थाएं सुनिश्चित करने के निर्देश दिये हैं। उन्होंने कहा कि नियमित फॉगिंग के साथ ही डेंगू से बचाव के लिए जागरूकता अभियान चलाया जाए। अस्पतालों में बिजली की रोस्टिंग न करने और ग्रीष्म काल में प्रदेश में बिजली और पानी की सुचारू आपूर्ति रखने के निर्देश भी मुख्यमंत्री ने दिये हैं। प्रदेश में पेयजल की पर्याप्त उपलब्धता सुनिश्चित करने के लिए सभी आवश्यक व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। मुख्यमंत्री ने कहा कि आगामी कैंचीधाम वार्षिकोत्सव के दृष्टिगत भी सड़कों की बेहतर स्थिति के साथ पार्किंग की पर्याप्त व्यवस्था सुनिश्चित की जाए।

सभी जिलाधिकारियों को मुख्यमंत्री ने निर्देश दिये हैं कि वे समय-समय पर विभिन्न कार्यालयों का औचक निरीक्षण करें। जिससे व्यवस्थाएं भी सही बनी रहेंगी और जन समस्याओं का समाधान भी तेजी से होगा। उन्होंने कहा कि बहुद्देशीय शिविरों, तहसील दिवस और बीडीसी की बैठकें नियमित की जाए। मुख्यमंत्री ने कहा कि स्मार्ट मीटर की प्रगति की नियमित निगरानी की जाए। विद्युत बिल की शिकायतों को गंभीरता से लिया जाए। सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाने वालों पर तत्काल कार्रवाई की जाए। मुख्यमंत्री ने कहा कि यह सुनिश्चित किया जाए कि 10 करोड़ तक के टेंडर स्थानीय ठेकेदारों को ही मिले। इंडस्ट्री से जुड़े लोगों के साथ भी जिलाधिकारी नियमित संवाद बनाये रखें। मुख्यमंत्री सौर स्वरोजगार योजना को बढ़ावा देने के लिए सभी जनपदों को टारगेट देकर लक्ष्य पूर्ण करने के निर्देश भी मुख्यमंत्री ने दिये हैं।

मुख्यमंत्री ने कहा कि चारधाम यात्रा के दृष्टिगत यातायात प्रबंधन और सड़कों की स्थिति सही रहे इस पर विशेष ध्यान दिया जाए। चारधाम यात्रा के लिए घोड़ा-खच्चर के स्थानीय संचालकों को प्राथमिकता दी जाए। चारधाम यात्रा मार्ग में श्रद्धालुओं के लिए सभी मूलभूत सुविधाओं के साथ स्वच्छता और सौन्दर्यीकरण पर विशेष ध्यान दिया जाए। यात्रा मार्गों पर रेट लिस्ट चेक कर ली जाए यह सुनिश्चित किया जाए कि ओवर रेटिंग की शिकायत न आये।

बैठक में प्रमुख सचिव आर.के सुधांशु, आर. मीनाक्षी सुंदरम, अपर पुलिस महानिदेशक ए.पी. अंशुमन, गढ़वाल कमिश्नर विनय शंकर पाण्डेय, वर्चुअल माध्यम से कुमांऊ कमिश्नर दीपक रावत एवं सभी जिलाधिकारी उपस्थित थे।

चारधाम में यात्रियों का सहयोगी बनकर यात्रा को सफल बनाना हैः सीएम धामी

चारधाम यात्रा ट्रांजिट कैंप में एल.ई.डी. स्क्रीन के माध्यम से यात्रियों के लिए भजन, रामायण, महाभारत, चारधाम यात्रा संबंधी कहानियों एवं आरतियों को दिखाया जाएगा तथा मौसम संबंधित जानकारियां उपलब्ध करायी जायेगी। यह बात मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने ऋषिकेश में चारधाम यात्रा ट्रांजिट कैंप (यात्रा रजिस्ट्रेशन कार्यालय) के औचक निरीक्षण के दौरान कही।

मुख्यमंत्री ने आगामी चारधाम यात्रा को लेकर विभिन्न व्यवस्थाओं का जायजा लिया। उन्होंने कार्यालय में पंजीकरण कक्ष, यात्रा पूछताछ एवं सहायता केंद्र, चिकित्सालय, पुलिस सहायता /खोया पाया केंद्र जैसी विभिन्न व्यवस्थाओं का भी निरीक्षण किया।

24 घंटे चालू रहे रजिस्ट्रेशन की व्यवस्था
मुख्यमंत्री ने कहा कि आगामी चार धाम यात्रा से पहले ट्रांजिट कैंप में रजिस्ट्रेशन की व्यवस्था को 24 घंटे चालू रखी जाए। उन्होंने कहा ट्रांजिट कैंप में पुलिस, परिवहन, नगर निगम, स्वास्थ्य, जल, पर्यटन, विद्युत, आदि विभागों का संयुक्त हेल्पडेस्क सिंगल विंडो सिस्टम के रूप में बनाया जाए, जिससे लोगों को एक ही स्थान पर सारी सुविधाएं उपलब्ध हो। उन्होंने कहा हमने श्रद्धालुओं का सहयोगी बनकर यात्रा को सफल बनाना है, जिससे हर श्रद्धालु की यात्रा सकुशल सम्पन्न हो एवं वे उत्तराखंड से यात्रा के अच्छे अनुभव लेकर जाएं।

भीड़ प्रबंधन एवं ट्रैफिक व्यवस्था पर एक्शन प्लान बनाकर प्राथमिकता से होगा कार्य
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि ट्रांजिट कैंप में श्रद्धालुओं के ठहरने की पर्याप्त व्यवस्था हो एवं गर्मी से बचाव के लिए कूलर, स्वच्छ पेयजल, टीन शेड, कुर्सियों की व्यवस्था की जाए। उन्होंने कहा ट्रांजिट कैंप स्थित अस्पताल में सभी प्रकार की दवाइयों की व्यवस्था और चिकित्सकों की तैनाती हो। उन्होंने कहा भीड़ प्रबंधन एवं ट्रैफिक व्यवस्था पर विशेष तौर पर एक्शन प्लान बनाकर प्राथमिकता से कार्य हो।

ट्रांजिट कैंप परिसर में बिकेंगे उत्तराखंड के स्थानीय उत्पाद
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को ट्रांजिट कैंप में स्थापित रिसेप्शन में चारधाम यात्रा प्रचार सामग्री उपलब्ध कराने के भी निर्देश दिए। उन्होंने कहा श्रद्धालुओं को चार धाम के साथ ही अन्य स्थलों के बारे में भी जानकारी दी जाए। उन्होंने ट्रांजिट परिसर में स्थापित खोया-पाया केंद्र को संपूर्ण यात्रा मार्गाे से समन्वय बनाने के भी निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ने कहा ट्रांज़िट कैंप परिसर में उत्तराखंड के स्थानीय उत्पादों की बिक्री के लिए अलग से स्थान हो। उन्होंने कहा ट्रांजिट कैंप परिसर का चार धाम से संबंधित सभी जिलों में परस्पर समन्वय हो।

मुख्यमंत्री ने ट्रांजिट कैंप के कार्यरत कर्मचारियों से भी मुलाकात कर उनका हौसला बढ़ाया। उन्होंने कहा सभी कर्मचारियों के ऊपर चार धाम यात्रा की बड़ी जिम्मेदारी है, जिसे निश्चित ही सभी लोग बखूबी निभाएंगे। उन्होंने कहा हमने अपने व्यवहार से सभी श्रद्धालुओं का स्वागत करना है ताकि वो यात्रा से अच्छा अनुभव लेकर जाएं।

आयुक्त गढ़वाल विनय शंकर पांडे ने बताया कि चारधाम यात्रा ट्रांजिट कैंप में 24 काउन्टर के माध्यम से रजिस्ट्रेशन की व्यवस्था की गई है। इसके अतिरिक्त रिर्जव टीम की तैनाती भी की गई है। यात्रा चिकित्सालय में 24 घंटे चिकित्सा सुविधा उपलब्ध करायी जायेगी। साथ ही पुलिस सहायता केन्द्र में पुलिस द्वारा पब्लिक एड्रेस सिस्टम स्थापित किया गया है।

आयुक्त गढ़वाल ने बताया कि यात्रा ट्रांजिट कैंप में मीडिया सेंटर की व्यवस्था की गई है। केन्द्र में यात्री मित्र तैनात किये जायेगें, जो यात्रियों को विभिन्न सुविधाओं / जानकारियां प्रदान करेंगे। उन्होंने बताया कि विभिन्न एन.जी.ओ एवं संगठनों द्वारा यात्रियों को निशुल्क भोजन, जलपान एवं खाद्य सामग्री की सुविधा उपलब्ध करायी जायेगी एवं कैंटीन की व्यवस्था भी उपलब्ध होगी। पीने के पानी की पर्याप्त सुविधा उपलब्ध करवाई गई है साथ ही जल संस्थान द्वारा टैंकर उपलब्ध कराये जायेगे। उन्होंने बताया इसके अतिरिक्त 4 डोरमेट्री सुविधा मय 80 बेड भी उपलब्ध है।

इस अवसर पर कैबिनेट मंत्री सुबोध उनियाल, विधायक डा. प्रेमचंद्र अग्रवाल, विधायक रेणु बिष्ट, आईजी गढ़वाल राजीव स्वरूप, एवं अन्य अधिकारी मौजूद रहे।

आगामी मानसून सीजन के दृष्टिगत भी सभी सुरक्षात्मक उपाय किये जाएः सीएम

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने वर्चुअल माध्यम से सभी जिलाधिकारियों को निर्देश दिये कि जन शिकायतों का शीघ्रता से समाधान को सर्वाेच्च प्राथमिकता दी जाए, जिससे शासन-प्रशासन की कार्यप्रणाली में पारदर्शिता और जवाबदेही बनी रहे। आगामी चारधाम यात्रा व्यवस्थाओं की समीक्षा के दौरान उन्होंने स्थानीय जनप्रतिनिधियों, होटल व्यवसायियों तथा अन्य हितधारकों के साथ समन्वय स्थापित कर व्यवस्थाएं सुनिश्चित करने के निर्देश दिये।

मुख्यमंत्री ने सभी विभागीय सचिवों और जिलाधिकारियों को निर्देश दिये हैं कि उत्तराखण्ड की चारधाम यात्रा के दौरान विभागों और जिला प्रशासन के स्तर पर सभी व्यवस्थाएं बेहतर बनाई जाए। चारधाम यात्रा आस्था का प्रमुख केन्द्र होने के साथ ही स्थानीय लोगों की आजीविका से भी जुड़ी है। चारधाम यात्रा से जुड़े सभी हितधारकों से निरन्तर समन्वय बनाने के निर्देश भी मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को दिये हैं। चारधाम यात्रा को स्वच्छ, सुंदर और पर्यावरण के अनुकूल बनाने पर विशेष ध्यान दिया जाए। इसके लिए जन सहयोग भी लिया जाए। यात्रा मार्गों पर स्वच्छता, सौंदर्यीकरण और यात्री सुविधाओं को प्राथमिकता दी जाए। मुख्यमंत्री ने कहा कि आगामी चारधाम यात्रा को लेकर ट्रैफिक व्यवस्था पर विशेष ध्यान दिया जाए, जिससे श्रद्धालुओं और स्थानीय लोगों को परेशानी न हो।

मुख्यमंत्री ने बैठक में वनाग्नि प्रबंधन के लिए वन विभाग के साथ सभी जिलाधिकारियों को पूर्ण तैयारी करने के निर्देश दिये है। वनाग्नि की दृष्टि से संवेदनशील क्षेत्रों में आवश्यक उपकरणों की पर्याप्त व्यवस्था रखी जाए। वनाग्नि नियंत्रण के लिए त्वरित कार्यवाही के लिए स्थानीय लोगों और जनप्रतिनिधियों के नम्बर भी अपडेट रखे जाएं, ताकि वनाग्नि की घटना होने पर शीघ्रता से नियंत्रण किया जा सके। वनाग्नि की संभावना वाले क्षेत्रों में टीमें तैनात की जाए और उनकी निरंतर मॉनिटरिंग भी की जाए। मोबाइल गश्त टीमें भी तैनात की जाए।

मुख्यमंत्री ने कहा कि यह सुनिश्चित किया जाए कि गर्मियों में लोगों को पेयजल की दिक्कत न हो। पेयजल की समस्याएं आने पर उनका त्वरित समाधान किया जाएं। पेयजल टैंकर की भी पर्याप्त उपलब्धता सुनिश्चित की जाए। सभी जिलाधिकारियों को पेयजल की समस्याओं के समाधान के लिए अपने स्तर से बैठक करने के निर्देश भी मुख्यमंत्री ने दिये हैं। उन्होंने आगामी मानसून सीजन के दृष्टिगत भी सभी सुरक्षात्मक उपाय करने के निर्देश अधिकारियों को दिये हैं। बैठक के दौरान मुख्यमंत्री ने सभी जिलाधिकारियों से बाढ़ सुरक्षा से संबंधित कार्यों की प्रगति की जानकारी भी ली। जल भराव की दृष्टि से संवेदनशील क्षेत्रों में सभी उपचारात्मक कार्य किये जाएं।

मुख्यमंत्री ने कहा कि जिलाधिकारियों द्वारा जन सुनवाई नियमित की जाए। तहसील दिवस, बीडीसी की बैठकों और बहुद्देशीय शिविरों के माध्यम से लोगों को योजनाओं का अधिक से अधिक लाभ दिया जाए। उन्होंने कहा कि यह सुनिश्चित किया जाए कि लोगों को अनावश्यक रूप से दफ्तरों के चक्कर न लगाने पड़े। ई-सेवाओं के माध्यम से लोगों को अधिकाधिक लाभान्वित किया जाए। अनावश्यक रूप से कार्यों में लेटलतीफी करने वाले कार्मिकों के खिलाफ कार्रवाई भी की जाए। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिये कि विद्युत बिलों को लेकर प्राप्त हो रही शिकायतों का तुरंत निस्तारण किया जाए। स्मार्ट मीटर लगाने की कार्यवाही में तेजी लाने के निर्देश भी मुख्यमंत्री ने दिये हैं।

मुख्यमंत्री ने बैठक में कहा कि राज्य में बाहरी लोगों और संदिग्ध गतिविधियों पर सतत निगरानी रखी जाए। अवैध अतिक्रमण पर नियमित कार्रवाई की जाए। आधार कार्ड, वोटर आईडी, बिजली-पानी कनेक्शन जैसी सुविधाएं अनधिकृत रूप से अपात्र लोगों को प्रदान करने वाले कार्मिकों को तत्काल निलंबित कर टर्मिनेशन की कार्यवाही भी प्रारंभ की जाए। यह राज्य की सुरक्षा से जुड़ा विषय है, जिसमें कोई समझौता नहीं होगा। मुख्यमंत्री ने दोनों मण्डल आयुक्तों को निर्देश दिए कि वे स्वयं फील्ड में जाकर इन निर्देशों की प्रगति का भौतिक सत्यापन करें और आगामी समीक्षा बैठक से पूर्व सभी कार्यों की प्रगति रिपोर्ट मुख्यमंत्री कार्यालय को उपलब्ध कराई जाए।

बैठक में प्रमुख सचिव आर.के. सुधांशु, आयुक्त कुमाऊं दीपक रावत, आयुक्त गढ़वाल विनय शंकर पाण्डेय और सभी जिलाधिकारी उपस्थित थे।

उत्तराखंडः पर्यटन विभाग के कंट्रोल रूम में देश भर से रोजाना आ रहीं औसतन 638 कॉल

हैलो सर, हमें चार धाम यात्रा में आना है। जीएमवीएन का टूर पैकेज कितना होगा। उत्तराखंड पर्यटन विकास परिषद का कंट्रोल रूम अब दिन-रात व्यस्त है। यहां पर रह-रहकर फोन की घंटी बज रही है। देश भर से औसतन 638 लोग रोजाना कंट्रोल रूम में संपर्क कर यात्रा से जुड़ी जानकारी ले रहे हैं। अभी तक 17,853 लोग कंट्रोल रूम से संपर्क कर चुके हैं। यात्रा के लिए अभी तक कुल 17,76058 लोगों ने रजिस्ट्रेशन कराया है। उत्तराखंड की चार धाम यात्रा का श्रीगणेश इस महीने की 30 तारीख को अक्षय तृतीय पर्व से हो रहा है।

सबसे ज्यादा 1032 कॉल, सबसे कम 480

उत्तराखंड की चार धाम यात्रा के लिए रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया 20 मार्च से शुरू हुई है। इसी दिन से कंट्रोल रूम ने भी काम करना शुरू कर दिया है। पहले दिन 20 मार्च को को सबसे ज्यादा 1032 लोगों ने कंट्रोल रूम में संपर्क कर जानकारी हासिल की थी। आठ अप्रैल को 961 और सात अप्रैल को 803 लोगों ने कंट्रोल रूम में संपर्क किया। सबसे कम 480 कॉल 30 मार्च को दर्ज हुईं।

इस तरह से काम कर रहा है कंट्रोल रूम

पर्यटन विकास परिषद के कंट्रोल रूम टोल फ्री नंबर 0135-1364 पर देश के विभिन्न हिस्सों से लगातार कॉल आ रही हैं। पूरे समय कॉल अटैंड करने के लिए कार्मिकों की ड्यूटी लगाई गई है। ज्यादातर लोग संपर्क करके रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया, जीएमवीएन टूर पैकेज, हेली सेवाओं, कपाट खुलने की तिथियों के बारे में जानकारी मांग रहे हैं।

चार धाम यात्रा के लिए देश भर के यात्रियों में उत्साह है। देवभूमि सभी यात्रियों के स्वागत के लिए तैयार है। यात्रियों को बेहतर सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए राज्य सरकार कृत संकल्प है। सभी के सहयोग से बेहतर यात्रा संचालन सुनिश्चित किया जाएगा।
– पुष्कर सिंह धामी, मुख्यमंत्री

मुख्य सचिव ने यात्रा मार्ग से सम्बन्धित जनपदों एवं यात्रमार्गों की तैयारियों को परखा

मुख्य सचिव आनन्द बर्द्धन ने सुरक्षित, सुगम और सुव्यवस्थित चारधाम यात्रा की तैयारियों को लेकर सचिवालय स्थित अपने सभागार में अधिकारियों के साथ बैठक ली। उन्होंने चारधाम यात्रा मार्ग की पुख्ता व्यवस्थाओं को लेकर सभी विभागों को अभी से अपनी तैयारियां समयबद्धता से पूरी करने के निर्देश दिए हैं।

पूर्व में जारी अपने निर्देशों के क्रम में मुख्य सचिव ने सचिव युगल किशोर पंत को देहरादून से केदारनाथ, सचिव डा. आर राजेश कुमार को बद्रीनाथ यात्रा मार्ग, सचिव डॉ. बी.वी.आर.सी. पुरुषोत्तम को गंगोत्री धाम तथा डॉ. नीरज खैरवाल से यमुनोत्री धाम की तैयारियों के सम्बन्ध में फीडबैक लिया। उन्होंने जिलाधिकारियों को निर्देश दिए कि सभी सचिवों से प्राप्त सुझावों का अनुपालन करते अथवा कमियों को दुरूस्त किया जाए। यात्रा मार्ग पर सभी जरूरतों का अभी से आंकलन करते हुए सभी व्यवस्थाएं यात्रा आरम्भ से पहले दुरूस्त करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कार्यदायी संस्थाओं को संवेदनशीलता के साथ एवं कार्य निर्धारित समय पर पूर्ण करने को गम्भीरता से लेने के निर्देश दिए। उन्होंने प्रत्येक धाम एवं उनके यात्रामार्गों पर मूलभूत सुविधाओं की व्यवस्था सुनिश्चित किए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने यूपीसीएल को धामों में लॉ-वॉल्टेज की समस्या को शीघ्र दुरूस्त किए जाने के भी निर्देश दिए।

यात्रा पंजीकरण स्थलों में स्वास्थ्य जांच केन्द्रों की संख्या बढ़ायी जाए
मुख्य सचिव ने केदारनाथ में बन रहे अस्पताल को या़त्रा शुरू होने से पहले सुचारू किए जाने के निर्देश दिए। इसके साथ ही उन्होंने सुरक्षित या़त्रा के लिए निवारक उपायों की अत्यधिक आवश्यकता पर बल देते हुए स्वास्थ्य जांच केन्द्रों को बढाए जाने के भी निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि यात्रा की शुरूवात में ही स्वास्थ्य परीक्षण हो सके इसके लिए हरिद्वार, ऋषिकेश एवं विकासनगर में हेल्थ स्क्रीनिंग केन्द्रों की संख्या बढ़ाई जाए। मुख्य सचिव ने मल्टी लेवल पार्किंग की व्यवस्था पर बल देते हुए अधिक से अधिक पार्किंग स्थलों को चिन्हित किए जाने की बात कही। कहा कि पार्किंग स्थलों के आस-पास रहने खाने एवं स्वास्थ्य जांच आदि की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। उन्होंने कहा कि सभी यात्रा मार्गों पर स्थानीय स्तर परिस्थितियों एवं विकल्प मार्गों के अनुरूप यातायात प्रबंधन योजना तैयार की जाए।

यात्रा मार्गों पर श्रद्धालुओं द्वारा वृक्षारोपण हेतु ‘स्मृति वन‘ किए जाएं चिन्हित
मुख्य सचिव ने श्रद्धालुओं द्वारा यात्रा मार्गों पर वृक्षारोपण करने हेतु स्मृति वन के लिए स्थान चिन्हित किए जाने की भी बात कही। उन्होंने कहा कि इच्छित श्रद्धालु इन पलों को यादगार बनाने के लिए पौधारोपण कर सकते हैं।

जाम आदि की जानकारी हेतु डिजीटल डिस्प्ले बोर्ड की की जाए व्यवस्था
मुख्य सचिव ने कहा कि यात्रा मार्गों में दृर्घटनाओं या लैंड स्लाईड से लगने वाले जाम के कारण पीछे लगी लम्बी लाईनों में यात्रियों को जाम के कारणों की उचित जानकारी मिल सके इसके लिए मैकेनिज्म तैयार किया जाए। उन्होंने कहा कि इसके लिए यात्रा मार्गों पर डिजीटल डिस्प्ले बोर्ड लगाए जा सकते हैं, जो यह जानकारी उपलब्ध कराएंगे कि किस स्थान पर कौन सी घटना घटी है, जिसके कारण जाम लगा है। उन्होंने इसके लिए सचिव लोक निर्माण विभाग को व्यवस्थाएं सुनिश्चित किए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा जब तक यह व्यवस्था धरातल पर उतरती है तब तक बल्क एसएमएस और बल्क व्हॉट्सअप मैसेज के माध्यम से यह जानकारी उपलब्ध करायी जाए। उन्होंने संभावित भूस्खलन क्षेत्रों का ट्रीटमेंट शीघ्र किए जाने के निर्देश दिए। कहा कि इन भूस्खलन क्षेत्रों के लिए दीर्घावधि उपचार पर भी शीघ्र कार्यवाही सुनिश्चित की जाए।

सर्विस प्रोवाईडर की आरएफआईडी टैग बनाए जाएंः मुख्य सचिव
मुख्य सचिव ने यात्रा मार्गों पर स्वच्छता पर विशेष ध्यान दिए जाने के भी निर्देश दिए। उन्होंने ‘सुलभ‘ को नियमित सफाई एवं पानी की व्यवस्था सुनिश्चित किए जाने के भी निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि सफाई व्यवस्था के लिए पूरे प्रदेश में यह व्यवस्था सुनिश्चित किए जाने की बात कही। उन्होंने इसके लिए उत्तराखण्ड प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड एवं 15वें वित्त आयोग की स्वच्छता हेतु टाईड फंड से भी फंड्स उपलब्ध कराए जाने की बात कही। उन्होंने चारों धामों में दुकानदार एवं घोड़ा/कंडी संचालक सहित सभी प्रकार केे सर्विस प्रोवाईडर की आरएफआईडी टैग बनाए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने जिलाधिकारियों को निर्देश दिए कि धामों में श्रद्धालुओं के रूकने के लिए लगाए गए टैन्ट आदि को सुव्यस्थित ढंग से लगाए जाने हेतु व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जाएं।

इस अवसर पर सचिव शैलेश बगोली, नितेश कुमार झा, सचिन कुर्वे, डॉ. बी.वी.आर.सी. पुरूषोत्तम, डॉ. पंकज कुमार पाण्डेय, चंद्रेश कुमार यादव, डॉ. आर. राजेश कुमार, डॉ. नीरज खैरवाल, कमिश्नर गढ़वाल विनय शंकर पाण्डेय, सचिव युगल किशोर पंत, महानिदेशक सूचना बंशीधर तिवारी सहित वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से चारधाम एवं यात्रामार्गों से सम्बन्धित जनपदों के जिलाधिकारी एवं अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।

सीएम बोले, उत्तराखंड आने वाले सभी श्रद्धालुओं को चारों धामों के दर्शन करवाने का सरकार का संकल्प

चारधाम यात्रा के लिए उत्तराखंड आने वाले श्रद्धालुओं की सुरक्षा एवं सुविधा को अपनी शीर्ष प्राथमिकता बताते हुए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा है कि राज्य सरकार का दृढ़ संकल्प है कि जो भी तीर्थ यात्री, श्रद्धालु व पर्यटक देवभूमि उत्तराखंड आए वे चारों धामों के दर्शन करें। चारधाम यात्रा की पुख्ता व्यवस्थाओं हेतु सरकार की ठोस एवं गंभीर रणनीति को लेकर सीएम धामी ने बताया कि मुख्यमंत्री स्वयं कल तीसरी बार चारधाम यात्रा की तैयारियों के संबंध में प्रशासन की महत्वपूर्ण बैठक लेने जा रहे हैं। मुख्यमंत्री ने कहा की शुरुआत के दिनों में यात्रा का संचालन थोड़ा कठिन होता है, जिसे लेकर परिवहन एवं पुलिस विभाग सहित अन्य महत्वपूर्ण संबंधित विभागों को विशेष रूप से पुख्ता व्यवस्थाओ हेतु हिदायत दी जाएगी।

टपकेश्वर महादेव मंदिर देहरादून में उत्तराखंड सेवा समिति द्वारा आगामी सफल एवं मंगलमय चार धाम यात्रा हेतु आयोजित संगीतमय सुंदरकांड पाठ में प्रतिभाग करते हुए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मंदिर परिसर में भारी संख्या में उपस्थित श्रद्धालुओं को संबोधित करते हुए कहा कि वर्ष 2013 की आपदा के बाद श्री केदारनाथ धाम परिसर पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो चुका था। वर्ष 2014 के बाद से माननीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के अथक एवं निरंतर प्रयासों से भव्य एवं दिव्य केदारनाथ धाम में निरंतर पुनर्निर्माण एवं नवनिर्माण कार्य संचालित किये जा रहे हैं।

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि गत वर्ष भी हमें केदार घाटी में एक बड़ी आपदा का सामना करना पड़ा। लगभग 29 स्थानों पर सड़क एवं पुल क्षतिग्रस्त हुए, लेकिन सरकार की सतर्कता एवं प्रयासों से सभी श्रद्धालु सुरक्षित रहे। हमने 35 दिनों तक युद्ध स्तर पर कार्य करते हुए यात्रा को दूसरे चरण में पुनः प्रारंभ कर दिया। देश और दुनिया भर से आए श्रद्धालुओं ने भी हमारे प्रयासों की सराहना की।

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि इस वर्ष भी अभी तक चार धाम यात्रा के लिए लगभग 25 लाख से अधिक रजिस्ट्रेशन हो चुके हैं। हम आगामी चारधाम यात्रा को लेकर भी अत्यंत उत्साही हैं। हमने गत वर्ष 2024 की चार धाम यात्रा की समापन के बाद ही इस वर्ष की चारधाम यात्रा के लिए तैयारियां शुरू कर दी थी।

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि प्रधानमंत्री की प्रेरणा से इस वर्ष से हमने शीतकालीन चार धाम यात्रा भी आरंभ कर दी। अब देवभूमि उत्तराखंड में 12 महीने चार धाम यात्रा संचालित रहेगी, जो राज्य की संस्कृति एवं पर्यटन के उन्नति के साथ ही आर्थिकी के विकास में महत्वपूर्ण योगदान देगी।

कार्यक्रम में टपकेश्वर महादेव मंदिर समिति, उत्तराखंड सेवा समिति के पदाधिकारी, साधु संत तथा बड़ी संख्या में श्रद्धालु उपस्थित थे।

चारधाम की तैयारियों को लेकर मुख्य सचिव ने हरिद्वार में की अधिकारियों की बैठक

मुख्य सचिव आनन्द बर्द्धन ने हरिद्वार पहुंचकर आगामी 2027 कुंभ और चारधाम यात्रा की तैयारियों को लेकर जनपद के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक की।

मुख्य सचिव आनन्द बर्द्धन ने हरिद्वार में आगामी कुंभ-2027 के मेले को लेकर मेला अधिकारी कर्मेन्द्र सिंह से मायापुर स्थित कैंप कार्यालय में विचार विमर्श किया। उन्होंने जिलाधिकारी एंव जनपदीय अधिकारीयों को आगामी कुंभ-2027 की तैयारियों के सम्बंध में निर्देश दिए कि शासन स्तर पर भी आगामी सात-आठ दिन में बैठक की जाएगी जिसमें कुंभ- 2027 में सरकार द्वारा सुचारू व्यवस्था की जाएगी, साधु संतों और महात्माओं को साथ में लेकर और उनके मार्गदर्शन व विचार विमर्श कर आगे की कार्यवाही अमल में लाई जाएगी। आगामी कुंभ-2027 को लेकर हमारी योजनाएं गतिशील है जो भी योजनाएं बनेगी वह हरिद्वार शहर कुंभ नगरी के हित में होगी।

मुख्य सचिव ने चार धाम यात्रा को लेकर अवगत कराया कि राज्य सरकार द्वारा व्यवस्थाएं सुचारू करने की तैयारी शुरू हो चुकी है, जिला प्रशासन के स्तर और शासन के स्तर पर भी जहां-जहां जो आवश्यकताए है, वह पूरी की जा रही है। रजिस्ट्रेशन प्रक्रिया भी चालू हो चुकी हैद्य सभी हितधारकों के साथ भी विचार विमर्श शुरू हो चुका है और जिला स्तर के अधिकारियों द्वारा मौके पर निरीक्षण किया जा रहा है द्य चारों धाम पर जहां-जहां उनके यात्रा मार्ग पर जो आवश्यकता होगी वो पूरी करने की कोशिश की जाएगी।

मुख्य सचिव ने कहा कि चारधाम यात्रा के आरंभ में अधिक से अधिक दर्शनार्थी पहुँते हैं, अतः हम सभी राज्यों, प्रमुख व्यक्तियों और अति विशिष्ट व्यक्तियों से अनुरोध करते हैं कि इस दौरान यात्रा न करे, लगातार बढ़ती श्रद्धालुओं की संख्या को देखते हुए राज्य सरकार द्वारा समुचित व्यवस्थाएं की जाएगी, जिससे चार घाम यात्रा सकुशल सम्पन्न हो सके।

मुख्य सचिव आनन्द बर्द्धन ने कहा कि 2027 में होने वाले कुंभ को लेकर सभी योजनाओं की रूपरेखा बनाई जा रही है और समस्त योजनाएं हरिद्वार के हित में होंगी। गौरतलब है कि मुख्य सचिव आनन्द बर्द्धन पूर्व में हरिद्वार जनपद के जिलाधिकारी/ उपाध्यक्ष भ्त्क्।, और वर्ष 2010 में हुए कुंभ के मेलाधिकारी भी रहे हैं। हरिद्वार में पत्रकारों से अनौपचारिक संवाद के दौरान सीएस ने कहा कि आगामी चारधाम यात्रा की तैयारियों को लेकर शासन स्तर से कई अधिकारी फील्ड में गए हुए हैं और ग्राउंड जीरो पर व्यवस्थाओं को दुरुस्त किया जा रहा है, जिससे श्रद्धालुओं को कोई परेशानी ना हो। मीडिया द्वारा पूर्ण कुंभ के बारे में पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि पूर्ण कुंभ के लिए साधु- संत और महात्मा लोगो से विचार विमर्श के बाद ही आगे की कार्यवाही की जाएगी।

इसके पश्चात मुख्य सचिव ने जूना अखाड़ा स्थित माया देवी मंदिर, कनखल स्थित दक्ष प्रजापति मंदिर के बाद गंगा आरती में प्रतिभाग किया।

इस दौरान जिलाधिकारी, एसएसपी मुख्य विकास अधिकारी सहित सभी जनपद स्तरीय अधिकारी मौजूद रहे।