उत्तराखंड की धरती ने देश को कई नायाब हीरे दिए-नड्डा

रायवाला के एक रिजॉर्ट में आयोजित पूर्व सैनिक संवाद एवं सैनिक सम्मान कार्यक्रम में भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने कहा कि भाजपा सरकार ने केंद्र में आने के बाद सबसे पहले पूर्व सैनिकों को वन रैंक वन पेंशन देने का काम किया, यह मांग 42 सालों से लंबित थी। देश में पहले बुलेट प्रुफ जैकेट आयात की जाती थी, लेकिन आज यह जैकेट विदेशों में निर्यात की जा रही है।

पूर्व सैनिकों को संबोधित करते हुए भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने कहा कि उत्तराखंड देवभूमि भी है और वीरभूमि भी। उत्तराखंड के कई लोग सेना में बड़े पदों पर आसीन रहे हैं। जिनमें जनरल बिपिन रावत खुद देश के सीडीएस हैं। रक्षा बजट में हर साल एक लाख 35 हजार करोड़ रुपये नए असलहे खरीदने के लिए रखे जाते हैं। पहले सेना और बॉर्डर पर स्थित गांवों के लिए बरसात से पहले छह माह का राशन एकत्रित करके रखा जाता था, लेकिन ऑल वेदर रोड बनने के बाद अब राशन एकत्रित नहीं करना पड़ता। अभी तक करीब 3,300 किमी ऑल वेदर रोड बन चुकी हैं। सीमांत राज्यों में कई रेल परियोजनाओं पर काम हो रहा है। उन्होंने कहा कि सेना में 34 राफेल फाइटर जुड़ चुके हैं। आर्म्ड फोर्स पर लोगों का विश्वास बढ़ा है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के हाथ मेें देश सुरक्षित है। दीपावली के त्योहार में हर कोई अपने रिश्तेदारों और परिचितों के घर जाता है, लेकिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी हर साल दीपावली बॉर्डर पर सैनिकों के साथ मनाते हैं। पहले जम्मू कश्मीर के किसी जिले में आतंकवादियों की ओर से फायरिंग की जाती थी तो वहां पर तैनात जवानों को जवाबी कार्रवाई के लिए दिल्ली का इंतजार करना पड़ता था, दिल्ली से कहा जाता था कि अभी संदेश का इंतजार करो। जबकि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सैनिकों को गोली का जवाब गोली से देने की छूट दे रखी है। प्रधानमंत्री की कार्यकुशलता के कारण ही चीन को पीछे हटना पड़ा। 17 अगस्त को जम्मू में शहीद हुए पौड़ी के वीर जवान को श्रद्धांजलि देते हुए उन्होंने कहा कि शहादत व्यर्थ नहीं जाएगी। 

केंद्रीय रक्षा राज्यमंत्री अजय भट्ट ने कहा कि अब हमारा देश आत्मनिर्भर हो रहा है। देश में सुई से सब्बल का निर्माण हो रहा है। पहले जो रक्षा उपकरण आयात किए जाते हैं, आज भारत में निर्मित एक हजार प्रकार के रक्षा उपकरण निर्यात किए जा रहे हैं। उन्होंने पूर्व सैनिकों को भरोसा दिलाया कि वह सैनिक वेलफेयर के लिए काम करेंगे। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने काव्य पंक्तियां….ये देश सुरक्षित सो रहा है…..से अपना संबोधन शुरू किया। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड में हर परिवार से एक व्यक्ति सेना में है। शहीदों के परिजनों को सगूह ग और घ में नौकरी दी जा रही है।

द्वितीय विश्व युद्ध में शहीद हुए वीर जवानों की वीरांगनाओं को पहले अनुदान चार हजार मिलता था, जिसे बढ़ाकर उनकी पार्टी ने पहले आठ हजार उसके बाद अब 10 हजार कर दिया गया है। पूर्व सैैनिकों के आश्रितों सेना भर्ती से पूर्व प्रशिक्षण दिया जा रहा है। 1212 युवाओं को प्रशिक्षण दिया जा चुका है। सेना में भर्ती होने से पहले युवाओं को हल्द्वानी और देहरादून में ट्रेनिंग दी जा रही है। करीब 660 युवाओं को ट्रेनिंग दी जा चुकी है। एनडीए और सीडीएस की तैयारी के लिए प्रदेश सरकार 50 हजार रुपये की आर्थिक सहायता दे रही है। 

नड्डा ने परंपरागत वोट बैंक की नब्ज टटोली
भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जगत प्रकाश नड्डा के दो दिवसीय दौरे में यह तय हो गया कि मिशन 2022 के लक्ष्य को हासिल करने अपने पारंपरिक वोट बैंक और सेना के एजेंडे पर फोकस करेगी और सत्ता में वापसी के लिए सांगठनिक सक्रियता का मंत्र फूंकेगी।  
अपने दो दिनी दौरे में नड्डा एक दर्जन कार्यक्रमों में शामिल हुए। हर बैठक में उनका जोर 2022 के विधानसभा चुनाव के लिहाज से संगठन का एजेंडा तय करने पर रहा। देवभूमि और सैन्य बहुल्य राज्य होने के नाते नड्डा ने रणनीतिक तरीके से दूसरे दो मुख्य कार्यक्रम किए। पहला पूर्व सैनिकों से संवाद और दूसरा साधु-संतों का आशीर्वाद। सैनिक सम्मेलन के कार्यक्रम में नड्डा ने सीमाओं की सुरक्षा, निर्णय लेने का अधिकार और आधुनिक हथियारों की सुविधा, सीमा पर सड़कों का विस्तार की बातें कर राष्ट्रवाद की संवेदनाओं को छूने का प्रयास किया।
अपने इस पारंपरिक वोट बैंक को झोली बनाए रखने के लिए नड्डा ने सैनिकों व पूर्व सैनिकों के बीच यह संदेश देने की कोशिश की कि भाजपा के लिए वे खास अहमियत रखते हैं। इसके बाद राष्ट्रीय अध्यक्ष और उनकी पूरी टीम जिसमें प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक, मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी प्रदेश प्रभारी दुष्यंत गौतम, सह प्रभारी रेखा वर्मा ने संतों के पांव छूकर आशीर्वाद लिया। मुख्यमंत्री ने संतों के आश्रमों व धर्मशालाओं में व्यावसायिक दरों पर वसूले जाने वाले करों को घरेलू दरों पर करने की घोषणा करके संतों को खुश करने का प्रयास किया। कुंभ के बाद संतों के सम्मान का कार्यक्रम करने का आश्वासन देकर संतों के सानिध्य के सिलसिले को आगे बढ़ाकर अपने हिंदुत्व एक एजेंडे को आगे बढ़ाने के संकेत भी दे दिए। 
इससे पूर्व नड्डा ने पार्टी कोर ग्रुप से लेकर मंडल अध्यक्ष तक के साथ ताबड़तोड़ आठ बैठकें कीं। इन बैठकों में उनका एक ही सूत्र वाक्य था, सांगठनिक ताकत को बढ़ाएं। हर बूथ को मजबूत करें। उनका मानना था कि कैडरबेस पार्टी होने के नाते भाजपा के पक्ष में जो वातावरण बना है, उसे अपने पक्ष में बनाए रखें और सत्ता में वापसी का मार्ग प्रशस्त करें। अपनी सभी बैठकों में उन्होंने जनसंपर्क पर जोर दिया मोदी और धामी सरकार की लोकलुभावन योजनाओं, कार्यक्रमों और फैसलों को जन-जन तक पहुंचाने के निर्देश दिए।

भाजपा के लिए देश सर्वोपरि, अन्य दल मोदी का विरोध करते हुए देश के खिलाफ उतर आएः नड्डा

अन्य दलों को देश की कोई चिंता नहीं है, यह लोग अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अन्य शक्तियों के साथ मिलकर मोदी के खिलाफ काम कर रहे है। भाजपा के लिए देश ही सर्वोपरि है। दूसरे दल मोदी के विरोध में इतने अंधे हो गए हैं, कि वह अब देश का भी विरोध करने लगे हैं। हमें मोदी और भाजपा को सशक्त बनाना है। यह बात भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने कही।

भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा का बीजापुर अतिथि गृह में मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत, प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत ने स्वागत किया। नड्डा ने आज सुबह हरिद्वार से देहरादून के लिए प्रस्थान किया। इस दौरान नेपाली फार्म से लेकर देहरादून तक कोविड के नियमों का पालन करते हुए जगह-जगह मानव श्रृंखला बनाकर उनका स्वागत किया गया जाएगा। करीब बारह बजे वे देहरादून पहुंचे।

भाजपा प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत ने कहा, राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा के उत्तराखंड आगमन से पार्टी कार्यकर्ताओं में जबदस्त उत्साह है। उनका यह दौरा हर दृष्टि से ऐतिहासिक है। उनके कुशल मार्गदर्शन में पार्टी कार्यकर्ता मिशन 2022 को फतह करने के लिए नई ऊर्जा के साथ जुटेंगे। राज्यसभा सदस्य और भाजपा के राष्ट्रीय मीडिया प्रमुख अनिल बलूनी का कहना है कि राष्ट्रीय अध्यक्ष ने देशव्यापी प्रवास कार्यक्रम की उत्तराखंड से शुरुआत कर देवभूमि के प्रति अपने स्नेह को प्रदर्शित किया है। उनके इस दौरे से प्रदेश में भाजपा कार्यककर्ताओं में नई ऊर्जा व उत्साह का संचार होगा।
वहीं, कैबिनेट मंत्री सतपाल महाराज ने कहा, भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष नड्डा के पास विशाल संगठनात्मक और प्रशासनिक अनुभव है। आने वाले समय में पार्टी उनके नेतृत्व में और अधिक मजबूत होकर उभरेगी।

उत्तराखंड सरकार ने तीन महिलाओं को दिया राज्यमंत्री का दर्जा

तीन तलाक के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में प्रथम याचिका करने वाली ऊधमसिंह नगर की शायराबानो को मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने राज्यमंत्री के पद से नवाजा है। कुछ दिनों पूर्व ही शायरा बानो ने भाजपा का दामन थामा था। मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने दो अन्य महिला कार्यकर्ताओं को भी राज्यमंत्री बनाया है। काशीपुर की शायरा को महिला आयोग में प्रथम उपाध्यक्ष, रानीखेत की ज्योति शाह को द्वितीय उपाध्यक्ष और चमोली की पुष्पा पासवान को तृतीय उपाध्यक्ष बनाया है।

कौन है शायदा बानो…

बीते साल दो बच्चों की मां 35 वर्षीय मुस्लिम महिला शायरा बानो जब सुप्रीम कोर्ट पहुंचती है तो तीन तलाक के खिलाफ अभियान एक बार फिर जिंदा हो उठता है।

शायरा बानो ने साल 2016 की फरवरी में अपनी याचिका दायर की। वे कहती हैं कि जब वह अपना इलाज कराने के लिए उत्तराखंड में अपनी मां के घर गईं तो उन्हें तलाकनामा मिला।

शायरा बानो ने इलाहाबाद में रहने वाले अपने पति और दो बच्चों से मिलने की कई बार गुहार लगाई लेकिन उन्हें हर बार दरकिनार कर दिया गया और उन्हें अपने बच्चों से भी मिलने नहीं दिया गया। शायरा बानो ने अपनी याचिका में इस प्रथा को पूरी तरह प्रतिबंधित करने की मांग उठाई। उन्होंने ये भी कहा है कि हलाला और कई पत्नियां रखने की प्रथा को भी गैर कानूनी ठहराया जाए।

वे कहती हैं, ये सारी प्रथाएं गैरकानूनी, असंवैधानिक, लैंगिक न्याय के खिलाफ और भेदभाव करने वाली हैं। कुुरान और शरिया में एक बार में तीन बार तलाक बोलने की प्रथा का जिक्र नहीं है, बीते कई सालों में कई महिलाएं अलग-अलग अदालतों में तीन तलाक को चुनौती देती आई हैं।

17 अक्टूबर को होगा उत्तराखंड भाजपा के नए कार्यालय का भूमिपूजन व शिलान्यास

देहरादून रिंग रोड पर बनने वाला भाजपा का नया प्रदेश कार्यालय अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस होगा। इसका भूमिपूजन व शिलान्यास पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा दिल्ली से वर्चुअल के जरिए करेंगे।

प्रदेश अध्यक्ष वंशीधर भगत और संगठन महामंत्री अजेय कुमार ने रिंग रोड पर बनने जा रहे नए कार्यालय का निरीक्षण किया। प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत ने बताया कि नया प्रदेश कार्यालय आधुनिक तकनीक व सुविधाओं से युक्त होगा। इसका भूमि पूजन व शिलान्यास 17 अक्टूबर को 11 बजे भाजपा राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा नई दिल्ली से वर्चुअल माध्यम से करेंगे। कार्यक्रम स्थल पर मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत, पदाधिकारी व जनप्रतिनिधि भी शामिल होंगे।

शायदा बानो ने भाजपा की सदस्यता ली, तीन तलाक के खिलाफ की थी प्रथम याचिका

सुप्रीम कोर्ट में तीन तलाक पर प्रथम याचिका करने वाली उत्तराखंड की शायरा बनो अब भाजपाई हो गई है। उन्होंने उत्तराखंड भाजपा प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत के समक्ष पार्टी की सदस्यता ग्रहण की। प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि शायरा बानो ने दृढता के साथ तीन मामले की लड़ाई लड़ी। उसी प्रकार वह भाजपा के सिद्धांतों को आगे बढ़ाने के लिए कार्य करेंगी। विशेष तौर पर अल्पसंख्यक समुदाय में उनकी महत्वपूर्ण भूमिका होगी। वहीं, शायरा बानो ने भाजपा को सिद्धांतवादी पार्टी बताया है।

बता दें कि दो साल पूर्व तत्कालीन भाजपा प्रदेश अध्यक्ष अजय भट्ट ने शायरा बनों के संदर्भ में कहा था कि उन्हें पार्टी की सदस्यता दिलाई जाएगी।

कौन है शायदा बानो…

बीते साल दो बच्चों की मां 35 वर्षीय मुस्लिम महिला शायरा बानो जब सुप्रीम कोर्ट पहुंचती है तो तीन तलाक के खिलाफ अभियान एक बार फिर जिंदा हो उठता है।

शायरा बानो ने साल 2016 की फरवरी में अपनी याचिका दायर की। वे कहती हैं कि जब वह अपना इलाज कराने के लिए उत्तराखंड में अपनी मां के घर गईं तो उन्हें तलाकनामा मिला।

शायरा बानो ने इलाहाबाद में रहने वाले अपने पति और दो बच्चों से मिलने की कई बार गुहार लगाई लेकिन उन्हें हर बार दरकिनार कर दिया गया और उन्हें अपने बच्चों से भी मिलने नहीं दिया गया। शायरा बानो ने अपनी याचिका में इस प्रथा को पूरी तरह प्रतिबंधित करने की मांग उठाई। उन्होंने ये भी कहा है कि हलाला और कई पत्नियां रखने की प्रथा को भी गैर कानूनी ठहराया जाए।

वे कहती हैं, ये सारी प्रथाएं गैरकानूनी, असंवैधानिक, लैंगिक न्याय के खिलाफ और भेदभाव करने वाली हैं। कुुरान और शरिया में एक बार में तीन बार तलाक बोलने की प्रथा का जिक्र नहीं है, बीते कई सालों में कई महिलाएं अलग-अलग अदालतों में तीन तलाक को चुनौती देती आई हैं।

अनुशासनहीनता के मामले में भाजपा ने जारी किया विधायक पूरन सिंह को नोटिस

अनुशासनहीनता के मामले में उत्तराखंड भाजपा ने अपनी ही पार्टी के विधायक पूरन सिंह फत्र्याल को नोटिस जारी किया है। प्रदेश महामंत्री कुलदीप कुमार की ओर से जारी नोटिस में विधायक को सात दिन का समय जवाब देने को कहा गया हैं।

प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत ने कहा कि पार्टी ने विधायक फत्र्याल के सार्वजनिक मंचों से की गई बयानबाजी का संज्ञान लिया है। कहा कि भाजपा एक अनुशासित पार्टी है, जो आचरण विधायक की ओर से किया गया है, उस संबंध में उनसे पूछा गया है। उन्होंने पार्टी फोरम से बाहर सार्वजनिक रूप से जो बयानबाजी की है, उससे सरकार और पार्टी की छवि धूमिल हो रही है। कारण बताओ नोटिस में भी विधायक के विधानसभा में नियम 58 के तहत कार्य स्थगन का प्रस्ताव लाए जाने पर एतराज जताया गया है।

यह है मामला
लोहाघाट विधायक पूरन सिंह फर्त्याल का आरोप है कि सामरिक महत्व की टनकपुर-जौलजीवी सड़क के टेंडर में करोड़ों का घोटाला हुआ है। वे इस मामले में ठेकेदार के खिलाफ कार्रवाई की मांग कर रहे हैं। उनकी मांग पर इस प्रकरण में कई इंजीनियरों के खिलाफ कार्रवाई हो चुकी है। ठेकेदार का टेंडर भी निरस्त हो चुका है। सरकार के फैसले के खिलाफ ठेकेदार ने कोर्ट में गुहार लगाई। आर्बिट्रेटर ने ठेकेदार के पक्ष में फैसला दिया। सरकार को आदेश दिया कि वह ठेकेदार को करीब सात करोड़ रुपये भुगतान करे। सरकार ने चीन के साथ सीमा विवाद को देखते हुए सामरिक महत्व का तर्क दिया। कहा कि फैसले को अदालत में चुनौती देने से सड़क निर्माण का मामला लंबा खिंच जाएगा। इसलिए ठेकेदार को यह काम दे दिया गया और उसने भी सरकार से धनराशि नहीं ली। लेकिन विधायक इस पूरे मामले में गंभीर अनियमितता की शिकायत कर रहे हैं।

कुशल कार्यशैली से कैंथोला ने पाया मुकाम, बने प्रदेश प्रवक्ता

भारतीय जनता पार्टी ने मीडिया से संबंधित अहम दायित्वो की घोषणा की है। जिनमे प्रदेश की नई टीम में भाजपा प्रदेश प्रवक्ता जैसे अहम पद पर युवा नेता बिपिन कैंथोला को जिम्मेदारी दी गईं। बताते चले कि बिपिन कैंथोला ने अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद से राजनीतिक पारी की शुरुआत की। कई जिम्मेदारी का निर्वहन करते हुए उन्होंने युवा मोर्चा में जिले से लेकर प्रदेश और राष्ट्रीय स्तर पर कार्य किया। युवा मोर्चा राष्ट्रीय कार्यकारिणी के सदस्य और जम्मू कश्मीर जैसे संवेदनशील प्रदेश में सह प्रभारी बनकर बिपिन कैंथोला ने अपने कुशल रणनीति का परिचय दिया।

वही भाजपा के राष्ट्रीय मीडिया समन्यवक व राज्यसभा सांसद अनिल बलूनी के साथ लंबे समय से जुड़े हुए है। उत्तराखंड में अनिल बलूनी के बेहद करीबीयो में बिपिन की गिनती होती है। ऐसा देखा जाता है कि बलूनी की गैरमौजूदगी में उनके जनहित कार्यो में सक्रिय रहते हैं।