बाबरी मस्जिद के विध्वंस की बरसी, मौलाना बोले दोबारा बने मस्जिद


बजरंग दल व विश्व हिंदू परिषद के कार्यकर्ताओं ने बाबरी विध्वंस की 25वीं बरसी को शौर्य दिवस के रूप में मनाया। इसके लिये उन्होंने जगह-जगह भारी संख्या में जुलुस भी निकाला। इस दौरान संस्कृत कॉलेज कैंपस से संगठन के कार्यकर्ता डीजे की धुन व ढोल नगाड़े लिये भी दिखाई दिये। डीजे पर प्रभु राम जी की सेना चली आदि भजनों पर कार्यकर्ता झुमते नजर आये।
सुरक्षा का लेकर अलर्ट था प्रशासन
बाबरी विध्वंस की 25 वीं बरसी पर बजरंग दल व विश्वहिंदू परिषद द्वारा आयोजित शौर्य दिवस व विशाल जुलूस को लेकर प्रशासन भी पूरी तरह से मुस्तैद था। शहर के विभिन्न चौक-चौराहों पर पुलिस बल की भारी तैनाती के साथ-साथ एहतियात के तौर पर एसएसबी के जवानों को भी तैनात किया गया था। जुलूस के साथ-साथ पुलिसकर्मी व एसएसबी के जवान भी चल रहे थे।

बरसी पर चस्पा मिले विवादित पोस्टर
बाबरी मस्जिद दोबारा तामीर करो। आल इंडिया इमाम कौंसिल शामली के नाम से चस्पा पोस्टर में लिखा कि बाबरी पर कोई समझौता नहीं, 25 साल से इंसाफ की मुंतजिर। दोबारा तामीर ही इंसाफ है। बाबरी के मुजरिमों पर कानूनी कार्रवाई की जाए। बताया गया कि एक संगठन के नाम से अब से पहले भी प्रधानमंत्री के बारे में अशोभनीय टिप्पणी वाले पोस्टर चस्पा हुए थे। सीओ कैराना राजेश तिवारी का कहना है कि विवादित पोस्टरों की जांच कराई जाएगी। दोषियों के खिलाफ नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी।
वाम मोर्चा ने मनाया काला दिवस
बाबरी मस्जिद विध्वंस के विरोध में वाममोर्चा ने सयुंक्त रूप से काला दिवस मनाया। इस मौके पर वक्ताओं ने कहा कि भाजपा धर्म के नाम पर लोगों में नफरत फैला कर देश की एकता और अखंडता को तोड़ना चाहती है। गोरक्षा के नाम पर हत्या करने वालों पर कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है। जिससे ऐसे लोगों का मनोबल बढ़ता जा रहा है। उन्होंने कहा कि गुजरात चुनाव में जनता के ज्वलंत मुद्दों से ध्यान हटाकर मंदिर तथा जनेऊ तक को मुख्य मुद्दा बनाया जा रहा है। भाजपा हिन्दुत्व के नाम पर सत्ता हाशिल करना चाहती है।
दोबारा बने बाबरी मस्जिद
ऑल इंडिया इमाम्स के पश्चिम उत्तर प्रदेश अध्यक्ष मौलाना शादाब ने कहा कि 6 दिसंबर 1992 में पांच सौ साल पुरानी बाबरी मस्जिद को शहीद कर दिया गया था। अभी तक उस जगह पर दोबारा मस्जिद की तामीर नहीं हुई है। यह मामला अदालत में विचाराधीन है और उम्मीद है कि इसमें सभी मुसलमानों की जीत मिलेगी। उन्होंने सभी मुसलमानों से गैर अदालत राय या बयानबाजी करने से मना किया।

सीएम त्रिवेंद्र ने किया सूचना पुस्तिका का विमोचन

मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने सचिवालय में उत्तराखंड राज्य के सरकारी बैंकिंग कार्य के भारतीय रिजर्व बैंक देहरादून द्वारा आरंभ किए जाने का उद्घाटन किया। ज्ञातव्य हो कि इससे पहले उत्तराखण्ड राज्य के सरकारी बैकिंग कार्य भारतीय रिजर्व बैंक की कानपुर शाखा से निष्पादित किए जाते थे। इस अवसर पर बधाई देते हुए मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कहा कि राज्य सरकार हेतु बैंकिंग कार्यालय देहरादून में प्रारंभ होना एक महत्वपूर्ण कदम है। इससे राज्य सरकार के वित्त एवं बैंकिंग कामकाज में सहूलियत होगी, साथ ही आर्थिक प्रगति में तेजी आएगी। वित्त मंत्री प्रकाश पंत ने कहा कि इससे रिजर्व बैंक और राज्य सरकार के मध्य बेहतर तालमेल बनाने में मदद मिलेगी। राज्य गठन के बाद से राज्य में बैंकिंग सेवाओं में 4 गुना की बढ़ोत्तरी हुई है। राज्य सरकार आर्थिक संतुलन को बनाए रखने के लिए लगातार प्रयासरत है। प्रधान मुख्य महाप्रबंधक भारतीय रिजर्व बैंक एस. रामास्वामी ने आश्वासन दिया कि भारतीय रिजर्व बैंक द्वारा राज्य के विकास में पूर्ण सहयोग किया जाएगा। उन्होंने कहा कि सरकारी बैंकिंग प्रभाग के प्रदेश में होने से कोषागारों, उपकोषागारों एजेंसी बैंक को एवं भारतीय रिजर्व बैंक के बीच बेहतर तालमेल से कार्य हो सकेगा। इस अवसर पर मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र द्वारा उत्तराखण्ड गवर्नमेंट बैंकिंग बिजनेस की जानकारी उपलब्ध कराने हेतु भारतीय रिजर्व बैंक की ‘‘सूचना पुस्तिका‘‘ का विमोचन भी किया गया। इस अवसर पर सचिव वित्त अमित नेगी, भारतीय रिजर्व बैंक देहरादून के महाप्रबंधक सुब्रत दास एवं रिजर्व बैंक के अन्य अधिकारी उपस्थित थे।

जानिए, किस तरह फर्जी आधार कार्ड बनाता था गिरोह

यूपी के कानपुर में फर्जी तरीके से आधार कार्ड बनाने वाले एक बड़े गिरोह का पर्दाफाश हुआ है। यूपी एसटीएफ ने गिरोह के सरगना सौरभ सिंह सहित 10 लोगों को गिरफ्तार कर लिया है। यह गिरोह यूआईडीएआई द्वारा निर्धारित बॉयोमेट्रिक मानकों को बाइपास करके फर्जी आधार कार्ड बनाने के काम को तेजी से अंजाम दे रहा था। इनके पास से 18 फर्जी आधार कार्ड के साथ ही इसे बनाने के सभी उपकरण बरामद कर लिए गए है।
जानकारी के मुताबिक, यूपी एसटीएफ को फर्जी आधार कार्ड बनाने वाले गिरोह के सक्रिय होने की सूचना मिली थी। यूआईडीएआई को इसकी पुख्ता सूचना मिलने के बाद इसके डिप्टी डायरेक्टर द्वारा लखनऊ के साइबर क्राइम थाने में केस दर्ज कराया गया। इससे पहले इससे संबंधित कई केस लखनऊ, देवरिया और कुशीनगर में भी दर्ज कराये जा चुके हैं। एसटीएफ के आईजी अमिताभ यश के निर्देश के बाद एक टीम इसकी जांच में लगी हुई थी।
कानपुर का है मास्टरमाइंड सौरभ
पुलिस को पता चला कि इस गिरोह का मास्टरमाइंड सौरभ सिंह कानपुर का रहने वाला है। इसके बाद पुलिस ने कानपुर के बर्रा में दबिश देकर सौरभ सिंह सहित 10 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया। आरोपियों ने बताया कि वे आधार कार्ड बनाने के लिये निधार्रित मानकों को बाईपास करते हुए बायोमेट्रिक डिवाइस के माध्यम से अधिकृत आपरेटर्स के फिंगर प्रिन्ट ले लेते हैं। इसके बाद उसका बटर पेपर पर लेजर प्रिंटर से प्रिंट आउट निकालते हैं।
इस तरह से करते थे फर्जीवाड़ा
इसके बाद फोटो पॉलीमर रेजिन केमिकल डालकर पॉलीमर क्यूरिंग उपकरण में पहले 10 डिग्री फिर 40 डिग्री तापमान पर कृत्रिम फिंगर प्रिन्ट, मूल फिंगर प्रिन्ट के समान तैयार कर लेते हैं। उसी कृत्रिम फिंगर प्रिन्ट का प्रयोग करके आधार कार्ड की वेबसाइट पर लॉगिन करते हैं। फिर आधार कार्ड के इनरोलमेंट की प्रकिया पूरी कर लेते है। तैयार किया गया कृत्रिम फिंगर प्रिन्ट ऑपरेटर के मूल फिंगर प्रिन्ट की तरह ही काम करता है।
पूछताछ में पता चला कि हैकर्स अनधिकृत आपरेटर्स से 5-5 हजार रुपये लेते थे। पूछताछ और जांच में यह तथ्य सामने आया है कि यूआईडीएआई द्वारा निर्धारित इंफॉर्मेशन सिक्योरिटी पॉलीसी का रजिस्ट्रार, इनरोलमेंट एजेंसी, सुपरवाइजर, वेरीफायर और ऑपरेटर द्वारा नहीं किया गया है। इसकी वजह से हैकर्स फर्जी तरीके से आधार कार्ड बनाने में सफल हो जाते हैं। अब पूरे आधार इनरोलमेंट प्रॉसेस की सिक्योरिटी आडिट कराई जाएगी। इसकी जांच जारी है। गिरफ्तार आरोपियों की पहचान सौरभ सिंह, कानपुर, शुभम सिंह, कानपुर, शोभित सचान, कानपुर, शिवम कुमार, फतेहपुर, मनोज कुमार, फतेहपुर, तुलसीराम, मैनपुरी, कुलदीप सिंह, प्रतापगढ़, चमन गुप्ता, हरदोई, गुड्डू गोंड, आजमगढ़, सतेन्द्र कुमार, कानपुर के रूप में हुयी।

गन्ने की फसल होने के चलते नहीं कर पाए सर्वे

भारत सरकार ने 1998 में रुड़की-देवबंद रेल मार्ग बनाने की घोषणा की थी, लेकिन इस पर काम वर्ष 2007 में शुरू हुआ। परियोजना के लिए 600 करोड़ रुपये मंजूर किए गए थे। 28 किमी लंबी इस परियोजना के बनने से दिल्ली से देहरादून का सफर 48 किमी कम हो जाएगा। रेलवे ने सर्वे का कार्य पूरा कर लिया था। साथ ही पिलर आदि भी लगा दिए थे। इसके बाद से इस परियोजना को ठंडे बस्ते में डाल दिया गया।
अब उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड में भाजपा की सरकारें बनने के बाद इस परियोजना में तेजी आई। वर्ष 2012 में कराए गए सर्वे का जमीनी सच जानने के लिए रेलवे ने हाल ही में इस रेल लाइन का ड्रोन सर्वे कराया, जिसमें कई चौंकाने वाली जानकारियां सामने आई।
सर्वे में पाया गया कि वर्ष 2012 में लगाए गए सीमांकन पिलर गायब है और अधिग्रहण की गई भूमि पर किसान खेती कर रहे हैं। रेलवे के दिल्ली डिवीजन के सेक्शन इंजीनियर नीरज गुप्ता ने बताया कि रेल लाइन के लिए अधिग्रहित भूमि पर गन्ने की फसल के कारण सर्वे नहीं हो पा रहा था। ऐसे में ड्रोन के जरिए सर्वे कराया गया। अब इस सर्वे का सत्यापन शुरू कर दिया गया है।

पंडित पंत एक कुशल प्रशासक व वक्ता थेःसीएम

मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने सर्वे चौक स्थित आईआरडीटी ऑडिटोरियम में भारत रत्न पंडित गोविन्द बल्लभ पंत के 130वें जन्म दिवस के अवसर पर आयोजित कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि प्रतिभाग किया। इस अवसर पर उन्होंने दीप प्रज्ज्वलित कर कार्यक्रम का शुभारम्भ करते हुए पंडित गोविन्द बल्लभ पंत के चित्र पर श्रद्धा सुमन अर्पित किये। त्रिवेन्द्र ने कहा कि 10 सितम्बर 1887 में अल्मोड़ा के खूंट गांव में जन्म लेने वाले पंडित गोविन्द बल्लभ पंत बहुमुखी प्रतिभा के धनी थे। देश की आजादी के बाद उत्तर प्रदेश के प्रथम मुख्यमंत्री, भारत के गृह मंत्री जैसे महत्वपूर्ण पदों पर देश का नेतृत्व किया। 1955 में उन्हें भारत रत्न से भी सम्मानित किया गया। उन्होंने काकोरी कांड के क्रांतिकारियों का मुकदमा भी लड़ा। वे एक कुशल प्रशासक के साथ ही ओजस्वी वक्ता भी थे। मुख्यमंत्री ने कहा कि युवा पीढ़ी को श्री पंत के जीवन आदर्शों से प्रेरणा लेकर आगे बढ़ना होगा।

इंजन तो पहले ही चल दिया, डिब्बे तो आने ही थेः अखिलेश

कहने के लिये जो लखनऊ में मेट्रो की शुरुआत हो चुकी है, लेकिन वो कहते है ना अगर शुरूआत ही अच्छी न हो तो फिर सबको कहने का मौका मिल जाता है। कुछ ऐसा ही हुआ नवाब नगरी में। जहां पहले ही दिन मेट्रो की शुरूआत अच्छी नहीं हुई है। 5 सितम्बर को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने मेट्रो का उद्घाटन किया। जिसके बाद 6 सितम्बर से यह आम लोगों के लिए शुरू कर दी गई, लेकिन पहले ही दिन मेट्रो में खराबी आ गई, जिसपर पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने भी इस पर तंज कसा है। इसके अलावा समाजवादी पार्टी के कई कार्यकर्ताओं ने मेट्रो खराबी के खिलाफ प्रदर्शन भी किया। वहीं अखिलेश यादव ने ट्वीट किया कि लखनऊ मेट्रो तो पहले से ही बनकर तैयार थी, भारत सरकार ने सीएमआरएस के जरिए एनओसी देने में इतना लंबा वक्त लिया, फिर भी पहले ही दिन मेट्रो ठप।
20 मिनट तक थक गई मेट्रो
दुर्गापुरी और मवईया के बीच मेट्रो में खराबी आ गई। जहां से पैसेंजर्स को निकाला जा रहा है। बाकी चारों मेट्रो ऑपरेशनल हैं। तकनीकी खराबी के कारण मेट्रो 20 मिनट के लिए आलमबाग में फंस गई। लखनऊ मेट्रो कई वजहों से चर्चा में है। एक वजह सियासी है तो दूसरी देश के सबसे शानदार मेट्रो रेल होना भी एक वजह है। पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव इस मेट्रो रेल को अपने ड्रीम प्रोजेक्ट में रखते थे। यही वजह है कि मेट्रो के शिलान्यास से लेकर मेट्रो के बनने तक के हर सफर में वह साथ रहे, लेकिन चुनाव हार गए तो इसका उद्घाटन नहीं कर सके।

नवाबों के शहर में मेट्रो की दस्तक

Metro knock in the city of Nawabs
उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में लंबी प्रतीक्षा के बाद मेट्रो का संचालन शुरू हो गया। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ गृहमंत्री राजनाथ सिंह ने मेट्रो के ट्रांसपोर्ट नगर डिपो में लखनऊ मेट्रो को हरी झंडी दिखाई।
राज्यपाल राम नाईक की मौजूदगी में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंच से ने मेट्रोमैन लखनऊ मेट्रो के प्रधान सलाहकार ई. श्रीधरन का विशेष धन्यवाद दिया। इसके साथ ही उन्होंने तीन वर्ष के अंदर मेट्रो का निर्माण करने पर एमडी श्री कुमार केशव और उनकी टीम को बधाई दी। उन्होंने कहा कि उद्घाटन आधा-अधूरा नहीं किया गया है। यूपी मेट्रो कारपोरेशन के तहत विभिन्न जिलों में मेट्रो चलाई जाएगी। झांसी, वाराणसी, मेरठ और कानपुर में मेट्रो के लिए भी डीपीआर भेजा जा चुका है। जल्द ही प्रदेश के कई जिलों में मेट्रो चलवाने की कोशिश करेंगे।
गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि अब लखनऊ की पहचान नवाबों का शहर के साथ ही मेट्रो का शहर के रूप में भी हो गई। यहां मेट्रो के साथ ही लखनऊ महानगर के विकास के द्वार पर खुल गए हैं। उन्होंने प्रोजेक्ट को सफल बनाने के लिए मेट्रोमैन को दी विशेष बधाई।
इससे पहले गृह मंत्री राजनाथ सिंह और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ मंच पर पहुंचे। राज्यपाल के साथ ही केंद्रीय मंत्री राष्ट्रगान के बाद मंच पर विराजमान हुए। कार्यक्रम स्थल पर डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य व डॉ. सीएम दिनेश शर्मा भी साथ पहुंचे।

बदला लेने का यह कैसा तरीका? अधिक पढ़े

बदले की आग में जल रहे एक इंसान ने हैवान बनकर ऐसी वारदात को अंजाम दे डाला जिसे सुनकर किसी का भी सिर शर्म से झुक जायेगा। तीन साल की खुद की बेटी के साथ दुष्कर्म करने वाले को सबक सिखाने के लिए उसने अपने दो साथियों की मदद से आरोपित की नाबालिग बहन का अपहरण कर सामूहिक दुष्कर्म की घिनौनी घटना को अंजाम दे डाला। पुलिस मुख्घ्य आरोपी को हिरासत में लेकर उसके साथियों की तलाश में ताबड़तोड़ छापे मार रही है।
सलेमपुर कोतवाली क्षेत्र के एक गांव में छह महीने पहले एक युवक ने तीन साल की बच्ची के साथ रेप कर दिया था। तब पुलिस ने पिता की तहरीर पर केस दर्ज कर आरोपित युवक को जेल भेज दिया था। लेकिन तीन साल की बेटी के साथ दुष्कर्म के बाद से उसका पिता प्रतिशोध की आग में जल रहा था। उसने दुष्कर्म को अंजाम देने वाले युवक को सबक सिखाने के नाम पर खुद एक और कुकर्म की साजिश रच डाली।
वह रेप के आरोपित युवक की नाबालिग बहन पर नजर रखने लगा। 28 अगस्त की शाम शौच के लिए खेत की ओर गई किशोरी को नशीला पदार्थ सुंघा कर बेहोश कर दिया। इसके बाद दो अन्य लोगों की मदद से वह उसे लेकर गोरखपुर चला गया। गोरखपुर में उन तीनों ने मिलकर किशोरी के साथ सामूहिक दुष्कर्म किया। दरिंदो ने 29 अगस्त की भोर में अर्द्धबेहोशी की हालत में किशोरी को गोरखपुर रेलवे स्टेशन पर छोड़ दिया। वहां जीआरपी ने किशोरी को उठाया। पूछताछ में किशोरी से उसके गांव का पता चलने पर जीआरपी ने उसे सलेमपुर भिजवा दिया। घर पहुंची किशोरी ने अपने परिवार के सदस्यों को रो-रोकर अपने साथ हुई दरिंदगी की पूरी कहानी बता दी। इसके बाद किशोरी की मां ने थाने पर तहरीर दी और पुलिस ने मुख्घ्य आरोपी को हिरासत में ले लिया। कोतवाल विजय सिंह गौर ने दावा किया कि अन्य आरोपियों को भी जल्द ही पकड़ लिया जायेगा।

डंपर से टकराई कैफियत एक्सप्रेस, पांच दिन में यूपी की दूसरी घटना

यूपी में पांच दिन पूर्व हुए रेल हादसे को अभी हफ्ता भर नहीं हुआ था कि एक और रेल हादसा होने की खबर आई है। यह हादसा कानपुर और इटावा के बीच औरैया जिले में हुआ। आजमगढ़ से दिल्ली आ रही 12225 (अप) कैफियत एक्सप्रेस औरैया के पास दुर्घटनाग्रस्त हो गई। फाटक पर देर रात ट्रेन एक डंपर से टकरा गई। उत्तरी-मध्य रेलवे के प्रवक्ता के मुताबिक दुर्घटना की वजह से ट्रेन के इंजन सहित 10 डिब्बे पटरी से उतर गए। घटना में 21 लोगों के घायल होने की खबर है। जिनमें से दो यात्री बुरी तरह से घायल हुए हैं। राहत और बचाव कार्य पूरा हो चुका है। इससे पूर्व शनिवार को मुजफ्फरनगर के खतौली में रेल हादसा हुआ था जिसमें 23 लोगों की मौत हो गई थी. दुर्घटना में घायल 14 लोगों को औरैया सिविल अस्पताल में भर्ती कराया है। सूचना मिलते ही दिल्ली से मेडिकल रिलीफ ट्रेन भी मौके के लिए रवाना कर दी गई थी। घटना की सूचना मिलते ही रेलवे के बड़े अधिकारी घटना स्थल पर पहुंच गए थे।
घायलों की मदद के लिए औरैया, इटावा और कन्नौज से एंबुलेंस और पुलिस बल मंगा लिए गए हैं। राहत कार्य के लिए लखनऊ से एनडीआरएफ की एक टीम भी रवाना हो चुकी है। उधर आजमगढ़ में रेल दुर्घटना की सूचना मिलते ही हड़कंप मच गया। ट्रेन में सफर कर रहे यात्रियों के परिजन अपनों की सलामती की खबर पता करने स्टेशन पहुंचने लगे हैं।
जानकारी के मुताबिक यह ट्रेन हादसा रात करीब 2 बजकर 40 मिनट पर हुआ। बताया जा रहा है कि ट्रेन एक डंपर से टकरा गई। अछल्दा और पाता रेलवे स्टेशन के बीच रेलवे क्रॉसिंग पर रेल फाटक पार कर रहे एक डंपर से ट्रेन का इंजन टकरा गया। टक्कर इतनी जबरदस्त थी कि ट्रेन के कई डिब्बे पटरी से उतर गए। बताया जा रहा है कि डंपर चला रहे ड्राइवर को नींद आ जाने के चलते यह भीषण दुर्घटना घटी। दुर्घटना के वक्त डंपर में रेत भरी हुई थी।

पोर्न मूवी में अपनी वीडियों देखकर क्यों सहम जाता था 15साल का लड़का

देश में ताजनगरी के नाम से महशूर आगरा के थाना छत्ता की की महिला ट्यूटर ने अपनी बहन और भाई के साथ मिलकर थाना हरीपर्वत क्षेत्र के रहने वाले 10वीं के छात्र का नौ महीने तक यौन शोषण किया। उसे कोल्ड ड्रिंक में मिलाकर नशे की गोलियां दी जाती थीं। ब्लू फिल्म दिखाई जातीं फिर उससे संबंध बनाए जाते। मोबाइल के कैमरे में कैद कर लिया जाता था। इतना ही नहीं फिर उसेे सोशल मीडिया में शेयर करने की धमकी देकर ब्लैकमेल किया जाता था। उससे उसके ही घर में चोरी कराई गई। नौ महीने में लगभग आठ लाख कैश और 25 लाख के जेवरात उससे मंगवाए गए लेकिन 18 अगस्त को उसकी चोरी कैमरे में कैद होने से उसके परिवार को पता लग गया।
उस लड़के का कसूर बस इतना था कि उसका पिता एक बड़े सराफा कारोबारी हैं। पता लगने पर उन्होंने ट्यूटर, उसकी बहन और भाई के खिलाफ यौन शोषण की धारा और पॉक्सो एक्ट में हरीपर्वत थाने में नामजद केस दर्ज कराया है। उन्होंने बताया कि घर से लगातार हो रही चोरी से वह परेशान थे। तभी बेटा 64000 रुपये चोरी करते कैमरे में कैद हो गया। वह बेहद तनाव में था। डिप्रेशन में आ चुका था। गुमसुम रहता था। उसे विश्वास में लेकर पूछताछ की, तो उसने ट्यूटर की शर्मनाक करतूत बयां की।
छात्र ने बताया कि वह जिस ट्यूटर के पास पढ़ने जाता है, उसकी बहनें भी ट्यूशन पढ़ाती हैं। जब से उन्हें पता चला कि वह अमीर परिवार से ताल्लुक रखता है, तभी से उनके दिमाग में पैसा ऐंठने की साजिश आ गई। उसे ट्यूटर की बड़ी बहन ही ट्यूशन पढ़ाने लगी। बाद में दूसरी बहन भी आ गई।
दोनों ने एक दिन उसे कोल्ड ड्रिंक पीने के लिए दी। इसमें नशे की गोलियां डाल दीं। इसके बाद उसे पोर्न मूवी दिखाई। छात्र ने बताया, इसके बाद क्या हुआ, वह बहुत गंदी बात है, उसे बताने में भी शर्म आती है। वह रोने लगा लेकिन तभी उन दोनों बहनों के भाई ने मोबाइल में उसे एक वीडियो क्लिप दिखाई।
इसमें खुद को उसकी बहनों के साथ देखकर वह डर गया। उसे धमकी दी गई कि अगर उसने उनका कहा नहीं माना, तो यह क्लिप व्हाट्स ऐप और फेसबुक पर डाल दी जाएगी। इसके बाद उसके साथ कई बार वही घटनाक्रम दोहराया गया, कोल्ड ड्रिंक में नशा… पोर्न मूवी… और…।
वे तीनों उससे पैसा लाने के लिए कहते रहे। वह कभी कैश लाता तो कभी जेवरात। लगभग आठ लाख कैश और 25 लाख के जेवरात लाकर दिए। इस पैसे से वह ऐश करते रहे। थाना प्रभारी निरीक्षक का कहना है कि जांच शुरू की जा चुकी है। जल्द ही कार्रवाई की जाएगी।