पकौड़ा पॉलिटिक्स का शोर देश में अभी थमा भी नहीं था कि अब उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू का नया बयान देश में नई बहस छेड़ सकता है
रोजगार के मामले पर उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने कहा, हर किसी को रोजगार नहीं दिया जा सकता। कोई भी सरकार यह नहीं कह सकती कि वो सभी को रोजगार देने में सक्षम है।
उन्होंने आगे कहा कि हमें यह समझने की जरुरत है कि शिक्षा का मतलब रोजगार देना नहीं होता, लेकिन इससे खुद में सुधार दिखता है। पकौड़े पर जारी विवाद पर उन्होंने कहा कि यह हर किसी के काम करने के तरीके पर निर्भर करता है, पकौड़ा बेचना भी एक काम है।
उपराष्ट्रपति ने कहा, इलेक्ट्रीशियन, टेलर और सेनेटरी जैसे हर क्षेत्र में लोगों की भारी कमी है। प्लंबर से लेकर फॉल सीलिंग तक हर क्षेत्र में कुशल मजदूरों की कमी है। अगर हम ग्रामीण क्षेत्रों में सुविधाएं मुहैया कराएं तो लोग बाहर नहीं जाएंगे। आपको इसके लिए ग्रामीण क्षेत्रों में मूलभूत चीजों में सुधार लाना होगा।
रोजगार और पकौड़ा पॉलिटिक्स पर अपनी राय देने के बाद अपने संबोधन के दौरान उन्होंने एयरहोस्टेस को नया नाम भी दिया। उन्होंने एयरहोस्टेस को गगनसखी कहा। उन्होंने बताया कि इस शब्द के अनुवाद के लिए उन्हें कोई शब्द नहीं मिला।
उपराष्ट्रपति ने कहा कि पैसा बॉथरुम और बेडरुम हर जगह पड़े हुए हैं। अगर ये पैसे बैंक में आ जाएं तो इंटरेस्ट रेट में कमी आएगी। जन धन योजना का महत्व 8 दिसंबर, 2016 के बाद समझ में आया जब लोगों ने बताया कि उनके नौकर और ड्राइवर के पास भी बैंक खाता है। कुछ लोगों ने सुबह इसकी जमकर आलोचना की लेकिन शाम को वो इसी के साथ काम करते नजर आए।