वात्सल्य योजना के 6286 लाभार्थियों के खाते में मुख्यमंत्री ने किया डिजिटल हस्तान्तरण

राज्य में मुख्यमंत्री एकल महिला स्वरोजगार योजना शुरू की जायेगी। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अन्तरराष्ट्रीय महिला दिवस के तहत आयोजित महिला सशक्तिकरण एवं सुरक्षा सप्ताह के समापन अवसर पर मुख्यमंत्री आवास स्थित मुख्य सेवक सदन में ‘एकल महिला संघर्ष से सशक्तिकरण की ओर’ विषय पर आयोजित कार्यक्रम में यह घोषणा की। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने एकल महिलाओं को सम्मानित भी किया। वात्सल्य योजना के 6286 लाभार्थियों को माह फरवरी के 01 करोड़ 89 लाख रूपये का डिजिटल हस्तान्तरण मुख्यमंत्री द्वारा किया गया।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मातृशक्ति को नमन करते हुए कहा कि हमारी भारतीय सनातन संस्कृति में नारी को देवी का दर्जा प्राप्त है। आज महिलाएं किसी भी क्षेत्र में पुरुषों से कम नहीं है,वे हर जगह पुरुषों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़ी है। हर क्षेत्र में महिलाओं ने अपने आपको साबित किया है। आज प्रदेश के दुर्गम गांवों में महिलाएं सेल्फ हेल्प ग्रुप के जरिए ग्रामीण अर्थव्यवस्था को गति प्रदान कर रही हैं। अपनी कौशल क्षमता के माध्यम से महिलाएं अपने परिवारों की आर्थिकी को शक्ति प्रदान कर रही हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री के नेतृत्व में मातृशक्ति को सशक्त बनाने में अनेक प्रयास हुए हैं। आज देशभर में करीब 23 करोड़ महिलाओं को जन धन खातों के जरिए बैंकों से जोड़ा जा चुका है। आज वित्तीय समावेश से लेकर सामाजिक सुरक्षा, गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवा से लेकर आवास, शिक्षा से लेकर उद्यमिता तक, हमारी नारी शक्ति को भारत की विकास यात्रा में सबसे आगे रखने के लिए कई प्रयास किए गए हैं। ये प्रयास आने वाले समय में और भी अधिक उत्साह के साथ जारी रहेंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने सरकारी नौकरियों में राज्य की महिलाओं को 30 प्रतिशत आरक्षण का संपूर्ण लाभ देने के लिए तेजी से कार्य किया है। आज प्रदेश की समस्त माताओं और बहनों ने अपने अथक परिश्रम से जहां एक ओर आर्थिक रूप से अपने आपको आत्मनिर्भर बनाने का कार्य किया है, वहीं देवभूमि की सभ्यता और संस्कृति को भी जीवंत रखा है। उन्होंने कहा कि हमारा लक्ष्य 2025 तक उत्तराखण्ड को देश का अग्रणी राज्य बनाने का है। इस लक्ष्य की प्राप्ति के लिए सरकार को मातृशक्ति का आशीर्वाद एवं समर्थन चाहिए। उन्होंने आशा व्यक्त की कि यह महिला सुरक्षा सप्ताह कार्यक्रम सरकार के सशक्त मातृशक्ति, सशक्त राज्य के संकल्प को पूर्ण करने में सहायक सिद्ध होगा।
महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास मंत्री रेखा आर्या ने कहा कि केन्द्र में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी एवं राज्य में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के नेतृत्व में महिला सशक्तिकरण की दिशा में अनेक कार्य किये जा रहे हैं। महिलाओं को आर्थिक एवं सामाजिक रूप से मजबूती प्रदान करने के लिए विभिन्न विभागों के माध्यम से अनेक योजनाएं चलाई जा रही है। राज्य में विधवा पेंशन में बढ़ोत्तरी की गई है। एकल महिलाएं जिस मजबूती के साथ अपने परिवार का पालन-पोषण कर रही हैं, इसके लिए वे सराहना के पात्र हैं। आज महिलाएं किसी भी क्षेत्र में पुरूषों से कम नहीं हैं।
इस अवसर पर विधायक दलीप सिंह रावत, अपर मुख्य सचिव राधा रतूड़ी, सचिव एच. सी. सेमवाल, अपर सचिव निवेदिता कुकरेती एवं मातृशक्ति मौजूद रही।

सीएम ने किया अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर आयोजित कार्यक्रम में प्रतिभाग

हम उस संस्कृति के साधक हैं जहां पुरुष की परिकल्पना नारी के बिना अधूरी मानी जाती है। हमारे यहां जहां एक ओर अर्धनारीश्वर की पूजा की जाती है वहीं दूसरी ओर मां जगदम्बा को इस श्रृष्टि का मूल माना जाता है, यह बात मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने मुख्यमंत्री आवास स्थित मुख्य सेवक सदन में अन्तरराष्ट्रीय महिला दिवस के अन्तर्गत महिला सशक्तिकरण एवं सुरक्षा सप्ताह के शुभारंभ एवं ‘महिला भागीदारी को प्रोत्साहन’ में प्रतिभाग करते हुए कही।

मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर घोषणा की कि महिलाओं और बच्चों के विरूद्ध होने वाली मानसिक और शारीरिक हिंसा की घटनाओं को सक्षम स्तर पर सूचित करते हुए रोकने का प्रयास करने वाले व्यक्ति को महिला सुरक्षा प्रहरी के रूप में जाना जाएगा तथा मुख्यमंत्री द्वारा ऐसे व्यक्ति या समूह को विशेष अवसरों पर सम्मानित भी किया जाएगा। उन्होंने दूसरी घोषणा की कि समाज की कुरीति बाल विवाह की पूर्व सूचना पुलिस को देने वाले या रोकने का प्रयास करने वाले व्यक्ति या संस्था को दस हजार रूपये की राशि से पुरस्कृत किया जाएगा तथा इन कार्यों में विशेष योगदान देने वाले कर्मचारियों व अधिकारियों को भी प्रशस्ति पत्र प्रदान किया जाएगा। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास के ई-पेपर ‘अपनी वाणी’ का शुभारंभ किया एवं महिलाओं की आत्मरक्षा पर बनी लघु फिल्म का लोकार्पण भी किया। मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम के दौरान बाल विवाह को रोकने एवं सामाजिक सरोकारों के लिए उत्कृष्ट कार्य करने वालों को प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित भी किया।

मुख्यमंत्री ने देवभूमि उत्तराखण्ड की समस्त नारीशक्ति को नमन करते हुए महिला सुरक्षा सप्ताह कार्यक्रम की शुभकामनाएं दीं। उन्होंने कहा कि किसी समाज या राज्य की रीढ़, उसकी सशक्त महिलाएं ही हैं। यदि किसी राज्य की नारी शक्ति प्रगति कर रही है तो उस राज्य का विकास सुनिश्चित है, उसे कोई रोक नहीं सकता। उत्तराखण्ड के निर्माण में महिलाओं ने अपना विशेष योगदान दिया है। एक ओर जहां प्रदेश की मातृशक्ति ने पूरे समाज को विपरीत परिस्थितियों में जीना सिखाया, जूझना सिखाया, वहीं दूसरी ओर हर परिस्थिति में जीतना भी सिखाया है। राष्ट्र-निर्माण में महिलाएं, पुरुषों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही हैं। उन्होंने कहा कि हमारी सनातन संस्कृति में कहा गया है जहां नारियों की पूजा होती है, वहां देवता निवास करते हैं। परंतु कालांतर में आक्रांताओं के प्रभाव के कारण समाज का महिलाओं के प्रति दृष्टिकोण बदल गया,इसका परिणाम महिलाओं के साथ किए जाने वाले अपराधों के रूप में सामने आया। परंतु अब समय आ गया है कि महिलाओं के खिलाफ अपराध करने वालों के मन में भय पैदा किया जाय। ऐसे लोगों को ऐसा दंड मिले कि ऐसा घृणित अपराध करने से पहले इसके परिणाम के बारे में सोचकर उनकी रूह कांप जाए।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में केंद्र तथा राज्य सरकार महिला सशक्तिकरण के लिए मिलकर सभी प्रकार के प्रयत्न कर रही हैं। महिलाओं को होम-मेकर के साथ – साथ नेशन-मेकर के रूप में आगे बढ़ना होगा, तभी सही अर्थों में राष्ट्र का विकास संभव हो पायेगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में हमारा निरंतर प्रयास है कि महिलाओं के जीवन स्तर को जितना अधिक हो सके उतना ऊपर उठाया जा सके। इसी प्रक्रिया के अंतर्गत राज्य सरकार ने सरकारी नौकरियों में महिलाओं को 30 प्रतिशत आरक्षण देने के साथ ही ‘मुख्यमंत्री नारी सशक्तिकरण योजना‘, मुख्यमंत्री महालक्ष्मी योजना, मुख्यमंत्री वात्सल्य योजना, मुख्यमंत्री आंचल अमृत योजना, लखपति दीदी योजना, महिला स्वयं सहायता समूहों को मजबूती प्रदान करने और पोषण अभियान जैसी योजनाएं प्रारंभ की हैं। शिक्षा का क्षेत्र हो, खेल का क्षेत्र हो या फिर सामाजिक न्याय की बात हो, हर क्षेत्र में महिलाओं को शक्ति संपन्न बनाने के लिए निरंतर प्रयास किये जा रहे हैं।

मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी डबल इंजन की सरकार द्वारा बनाई जाने वाली नीतियों में महिलाएं हमेशा प्राथमिकता पर रही हैं। प्रधानमंत्री द्वारा उज्ज्वला योजना चलाई जा रही है, इसी कड़ी में राज्य सरकार द्वारा प्रदेश के 01 लाख 76 हजार अंत्योदय कार्डधारकों को साल में तीन गैस सिलिण्डर मुफ्त दिये जा रहे हैं। राज्य सरकार प्रधानमंत्री जी द्वारा दिए गए मंत्र ‘बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ‘ को लेकर समाज में सकारात्मक परिवर्तन लाने का प्रयास कर रही है। हमारी बेटियां हर क्षेत्र में आगे बढ़ें, देश का नाम रोशन करें, यह हम सबका दायित्व है। पर्वतीय क्षेत्रों में महिलाओं की राह को आसान करने के लिए सरकार ‘जल जीवन मिशन‘ योजना पर तेजी से काम कर रही है। हमारा लक्ष्य 2025 तक उत्तराखण्ड को देश के अग्रणी राज्यों की श्रेणी में शामिल करना है। इस लक्ष्य की प्राप्ति के लिए राज्य सरकार को मातृ शक्ति का आशीर्वाद एवं समर्थन चाहिए।

महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास मंत्री रेखा आर्या ने कहा कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के नेतृत्व में राज्य में महिलाओं को आर्थिक, सामाजिक एवं राजनीतिक रूप से सशक्त बनाने के लिए लगातार प्रयास किये जा रहे हैं। बेटी के पैदा होने पर महालक्ष्मी किट दी जा रही है। 12वीं पास करने पर नंदा-गौरा योजना के तहत बेटियों को 51 हजार रूपये की धनराशि दी जा रही है। विभाग द्वारा अनेक योजनाओं के माध्यम से महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में कार्य किये जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि महिला सशक्तिकरण एवं सुरक्षा सप्ताह के तहत विभाग द्वारा पूरे सप्ताह कार्यक्रमों का आयोजन किया जा रहा है। इसके तहत आज महिला सुरक्षा एवं भागीदारी प्रोत्साहन जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किया जा रहा है। द्वितीय दिवस में महिलाओं एवं बालिकाओं, विशेषकर अकुशल श्रमिक महिलाओं की स्वास्थ्य सुरक्षा हेतु स्वास्थ्य विभाग, जिला प्रशासन एवं श्रम विभाग के साथ समन्वयन कर निःशुल्क स्वास्थ्य शिविरों का आयोजन किया जायेगा। तृतीय दिवस मानव तस्करी एवं बाल विवाह निषेध सम्बंधित महत्वपूर्ण विषयों पर गृह विभाग के साथ समन्वयन कर जागरूकता अभियान चलाया जायेगा । चतुर्थ दिवस राज्य में संचालित सरकारी / निजी संस्थानों, प्रतिष्ठानों, उद्यमों, कार्यालयों, विश्वविद्यालयों एवं विद्यालयों में कार्यरत महिलाओं की सुरक्षा के संबंध में गृह विभाग द्वारा “गौरा शक्ति एप“ एवं “कार्यस्थल पर यौन उत्पीड़न“ के कानूनी प्रावधानों से सम्बंधित जन-जागरूकता अभियान कार्यक्रम किया जायेगा। पंचम दिवस में परिवहन विभाग द्वारा सार्वजनिक यातायात के साधनों, यथा-बसों, ऑटो, टैक्सियों पर आपातकालीन नम्बर-112, महिला हैल्पलाईन नम्बर-1090, के साथ-साथ “मैं महिला सुरक्षा के लिए प्रतिबद्ध हूँ“ टैग लाईन का अंकन किया जायेगा। षष्ठम दिवस में महिला सशक्तिकरण हेतु अन्तर्विभागीय योजनाओं की जानकारी प्रदान कर राज्य स्तरीय कार्यक्रम में निराश्रित/एकल महिलाओं के उत्थान कार्यक्रम आयोजित किये जायेंगे।

इस अवसर पर विधायक दुर्गेश्वर लाल, अपर मुख्य सचिव राधा रतूड़ी, सचिव एच.सी. सेमवाल, विशेष सचिव रिद्धिम अग्रवाल, संबंधित विभागीय अधिकारी एवं मातृशक्ति मौजूद थे।

महिला दिवस पर महिला मोर्चा भाजपा ने किया कार्यक्रम आयोजित

महिला मोर्चा भाजपा की ओर से अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर विशाल कार्यक्रम आयोजित किया गया। सूबे के विधायक व कृषि मंत्री सुबोध उनियाल ने कार्यक्रम का शुभारंभ किया। उन्होंने कहा कि महिलाएं देश के सभी पदों पर आसीन होकर उत्कृष्ट प्रदर्शन कर रही है। महिला शक्ति के बिना संसार की कल्पना नहीं की जा सकती है।

कार्यक्रम में विभिन्न क्षेत्रों में उत्कृष्ट कार्य करने वाली महिलाओं व छात्राओं को सम्मानित किया गया। पालिकाध्यक्ष रोशन रतूड़ी, मंडी समिति अध्यक्ष विनोद कुकरेती, मनीष डिमरी, बीना जोशी, पुष्पा ध्यानी, शशि कंडारी, राजकुमारी जखमोला, कमलेश थलवाल, सरोज कुकरेती, रोशनी राणा, सोनू भट्ट, बीना बिष्ट, शैला खंडूरी, दीपा भट्ट, कोमल जोशी, सुनीता खंडूरी, बीना जोाशी, सभासद बिन्नू चैहान, सुंदरी बिजल्वाण, निर्मला पयाल, दर्शनी भंडारी, सभासद मीनू गोदियाल आदि उपस्थित थे।

महिला दिवस पर हुआ चिंतन, लिंगानुपात में हो रही कमी पर सुधार को लेकर हुई चर्चा

अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर को पीसीपीएनडीटी प्रकोष्ठ, मुख्य चिकित्सा अधिकारी देहरादून द्वारा ऋषिकेश में एक दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया गया।

कार्यशाला का शुभारंभ तहसीलदार रेखा आर्य ने किया। उन्होंने सभी आशा कार्यकत्रियों से अपील करते हुए कहा कि लिंगानुपात में हो रही कमी में सुधार लाने के लिए कार्य करना होगा। उन्होंने कोरोना संक्रमण रोकथाम अभियान में आशाओं द्वारा किए गए कार्य की सराहना की।

जनपद के ऋषिकेश तथा डोईवाला क्षेत्र में लिंगानुपात में कमी को देखते हुए कार्यशाला में इस क्षेत्र की आशा कार्यकत्रियों द्वारा प्रतिभाग किया गया। कार्यशाला में जिला कार्यक्रम अधिकारी डॉ वंदना सेमवाल द्वारा पीसीपीएनडीटी पर प्रेजेंटेशन दिया गया। साथ ही सभी प्रतिभागियों को भ्रूण हत्या रोकने की शपथ दिलवाई।

जिला कोऑर्डिनेटर ममता बहुगुणा द्वारा विस्सलब्लोअर योजना का विवरण दिया। जिसके तहत लिंग जांच करवाने वाले अल्ट्रासाउंड केंद्रों की सूचना देने पर 50 हजार रुपये का इनाम दिया जाएगा। साथ ही क्षेत्र में ऐसे अल्ट्रासाउंड केंद्रों की जानकारी उपलब्ध कराने हेतु आग्रह किया गया। जो केंद्र बिना पंजीकरण के संचालित किए जा रहे हैं।

गयनोकोलॉजिस्ट डॉ प्रियंका अग्रवाल द्वारा स्तन कैंसर एवं सर्वाइकल कैंसर की जानकारी दी गयी। इस अवसर पर क्षेत्र की आशा कार्यककत्रियों को एनएचएम की ओर से स्मार्ट फोन प्रदान किये गए।

इस अवसर पर डॉ उत्तम सिंह खरोला, डॉ निधि, डॉ ओम कुमारी, दीपा गुलाटी, दिनेश पांडेय, पंचम बिष्ट, अभिषेक त्रिपाठी आदि उपस्थित रहे। कार्यक्रम का संचालन राकेश बिष्ट ने किया।

श्री भरत में में हुआ मातृशक्ति का सम्मान

श्री भरत मंदिर इंटर कॉलेज के तत्वावधान में अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर मातृशक्तियों का सम्मान समारोह आयोजित हुआ। समाज सेवी पुष्पा ध्यानी संयोजक भाषा मंच एवं सरोजिनी भट्ट सेवानिवृत शिक्षिका श्री भरत मंदिर इंटर कॉलेज को सम्मानित किया गया।

समाज सेविका पुष्पा ध्यानी ने महिलाओं के अधिकारों पर प्रकाश डालते हुए कहा कि जो महिलाएं अपने कर्तव्य का सही रूप से पालन करते हैं उनके अधिकार सदैव सुरक्षित रहते हैं कोई भी व्यक्ति यदि अपने कर्तव्य का निर्वहन सही रूप से करता है। तो निश्चित रूप से वह समाज में सदैव पूजनीय होता है इस अवसर पर सरोजिनी भट्ट और निकिता नौटियाल ने अपने उद्बोधन में कहा कि बालिकाएं समंदर की गहराई से आसमान की बुलंदियों को छू रही है कोई भी क्षेत्र ऐसा नहीं है जहां पर महिलाओं ने अपना स्थान ना बनाया हो वह पुरुषों के समान ही समाज में कार्य कर रही है।

इसके लिए महिलाओं को अपने आचरण की पवित्रता चरित्र की महानता को सदैव बनाना होगा। तभी इस मुकाम को पा सकते हैं। विद्यालय के प्रधानाचार्य गोविंद सिंह रावत ने सभी उपस्थिति का सम्मान स्वागत करते हुए कहा कि आज का दिन मातृशक्ति के अभिनंदन बंधन का दिन है जो समाज को नई दिशा देने के लिए सदैव प्रेरित करती हैं। इस अवसर पर विद्यालय के वरिष्ठ प्रवक्ता यमुना प्रसाद त्रिपाठी, शिवप्रसाद बहुगुणा, सुनील दत्त थपलियाल, विकास नेगी, नवीन मेंदोला, अजय कुमार, सुनीता, शकुंतला आर्य आदि उपस्थित थे।

नारी शक्ति समस्या नहीं समाधानः स्वामी चिदानन्द सरस्वती महाराज


अन्तर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर परमार्थ निकेतन की ओर से महिला सशक्तिकरण हेतु विभिन्न गतिविधियों का आयोजित हुआ। ऋषिकेश के खारास्रोत और चन्द्रेश्वर नगर की महिलाओं और बालिकाओं के साथ ’’शिक्षा, स्वास्थ्य, गरिमा, सुरक्षा और सशक्तिकरण’’ विषयों पर विशेष चर्चा और जिज्ञासा समाधान सत्र का आयोजन किया।

डिवाइन शक्ति फाउंडेशन की अध्यक्ष साध्वी भगवती सरस्वती को ग्राफिक एरा हिल यूनिवर्सिटी देहरादून में ’’मोटिवेशनल स्पीकर विशेष अतिथि’’ के रूप में आमंत्रित कर साध्वी जी को सम्मानित किया। तत्पश्चात मर्चेंट्स चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री, कोलकत्ता की अध्यक्ष स्निग्धा शाह ने बहुत ही सौहार्दपूर्वक डा साध्वी भगवती सरस्वती को ’’समकालीन दुनिया में आध्यात्मिकता के महत्व’’ विषय पर उद्बोधन देने हेतु आमंत्रित किया। साध्वी जी ने आनॅलाइन प्लेटफार्म के माध्यम से सभी को अन्तर्राष्ट्रीय महिला दिवस की शुभकामनायें देते हुये सम्बोधित किया। ’

स्वामी चिदानन्द सरस्वती महाराज ने आनॅलाइन प्लेटफार्म के माध्यम से अन्तर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर भारत की मातृशक्तियों को शुभकामनायें दीं। ’’मातृशक्ति के बिना संसार की कल्पना नहीं की जा सकती। ‘‘मातृशक्ति के बिना तो संसार ही नहीं है। आप है तो संसार हैय बेटियाँ हैं तो सृष्टी है बाकी सब बाद में है। अपनी शक्ति का मातृशक्ति को अनुभव करना है और शक्ति को अपने भीतर जगाना है।

साध्वी भगवती सरस्वती ने कहा कि महिलाओं और लड़कियों के खिलाफ हो रहे सभी प्रकार के भेदभावों को हर जगह से समाप्त करना ही सही मायने में महिला सशक्तिकरण है। हम सभी को यह विचार करना जरूरी है कि जो नारी प्रति दिन अपने घरों, समुदायों और दुनिया में व्यापक स्तर पर प्रेम, सद्भाव, स्वास्थ्य और सुरक्षा लाने के लिए लगन से काम करती हैं उन सभी माताओं, बहनों, मित्रों शिक्षकों, कार्यकर्ताओं, स्वयंसेवकों, लेखकों आदि अनेक क्षेत्रों में कार्यरत सभी नारी शक्तियों की सेवा को नमन जो अपने से अधिक देखभाल दूसरों की करती है। आज का दिन उन सभी के प्रति कृतज्ञता व्यक्त करने का दिन है। साध्वी जी ने नारियों को संदेश देते हुये कहा कि आप स्वयं से प्रेम करें और फिर प्रेममय समाज की नींव रखें।

32 वाँ अन्तर्राष्ट्रीय योग महोत्वस के दूसरे दिन की शुरूआत आनॅलाइन प्लेटफार्म के माध्यम से आध्यात्मिक व्याख्यान श्रृंखला में लॉस एंजिल्स में अगापे इंटरनेशनल स्पिरिचुअल सेंटर के संस्थापक डॉ माइकल बेकविथ ने ’जीवन का उद्देश्य, चेतना और आध्यात्मिक विकास’ विषय पर उद्बोधन दिया। तत्पश्चात योग और संगीत की कक्षाओं की शुरूआत हुई।

एम्स में आयोजित स्त्री वरदान कार्यक्रम में पहुंची राज्यपाल, पहल की सराहना की

अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के उपलक्ष्य में अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान एम्स ऋषिकेश के रिकंस्ट्रक्टिव एवं कॉस्मेटिक गायनेकोलॉजी विभाग के तत्वावधान में स्त्री वरदान कार्यक्रम आयोजित हुआ। राज्यपाल बेबी रानी मौर्य ने एम्स ऋषिकेश की इस पहल की सराहना की। उन्होंने कहा कि अपने निजी स्वास्थ्य के प्रति गांव देहात की महिलाएं अभी भी जागरुक नहीं हैं। लिहाजा ऐसी महिलाओं को स्वस्थ समाज की परिकल्पना को साकार करने के लिए अपने निजी स्वास्थ्य के प्रति चुप्पी तोड़कर जागरुक होना होगा। इस दौरान एम्स ऋषिकेश की पहल पर आयोजित स्त्री वरदान चुप्पी तोड़ो, स्त्रीत्व से नाता जोड़ो अभियान में सहभागिता के लिए उपस्थित जनसमुदाय ने इस मुहिम को आगे बढ़ाने का सामुहिक संकल्प लिया।

राज्यपाल ने कहा कि महिलाओं के स्वस्थ होने से ही स्वस्थ समाज की परिकल्पना को साकार किया जा सकता है, लिहाजा अब समय आ गया है कि महिलाओं को अपने निजी स्वास्थ्य के प्रति चुप्पी तोड़ने के लिए आगे आना होगा। राज्यपाल ने एम्स की ओर से स्त्रियों के स्वास्थ्य को लेकर शुरू किए गए स्त्री वरदान चुप्पी तोड़ो स्त्रीत्व से नाता जोड़ो अभियान को राज्य व देश की महिलाओं के स्वास्थ्य की दृष्टि से नई पहल बताई और एम्स की इस पहल की सराहना की।

निदेशक प्रोफेसर रवि कांत ने बताया कि महिलाओं में होने वाली बीमारियां 15 फीसदी समस्याएं पुरुष जनित हैं। बताया कि महिलाओं की निजी स्वास्थ्य से जुड़ी बीमारियों को लेकर एम्स में रिकंस्ट्रेक्टिव एवं कॉस्मेटिक गाइनेकोलॉजी विभाग की स्थापना की गई है। जहां महिलाओं की निजी समस्याओं का विश्वस्तरीय उपचार सुलभ कराया गया है। जो कि भारत ही नहीं बल्कि विश्व में अपनी तरह का ऐसा पहला विभाग है। जूना अखाड़े के आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी अवधेशानंद गिरी महाराज ने देश में कुपोषण की वजह से महिलाओं के स्वास्थ्य पर चिंता जताई। ऐसी स्थिति में उन्होंने महिलाओं के स्वास्थ्य को लेकर की गई इस पहल की सराहना की और उम्मीद जताई कि एम्स ऋषिकेश की यह शुरुआत महिलाओं के लिए कल्याणकारी सिद्ध होगी।

यमकेश्वर विधायक ऋतु खंडूड़ी ने कहा कि महिलाओं को निजी समस्याओं से निजात पाने के लिए संकोच मिटाकर आगे आना होगा, तभी महिलाएं स्वस्थ रह सकती हैं। हंस फाउंडेशन की प्रमुख माता मंगला ने एम्स ऋषिकेश की इस पहल को काविलेगौर बताया, कहा कि घर की नारी के स्वस्थ रहने पर ही परिवार स्वस्थ रह सकता है। लिहाजा महिलाओं को एम्स की इस शुरुआत व शुरू की गई मुहिम से जुड़ना होगा। आई.बी.सी.सी. की प्रमुख वरिष्ठ शल्य चिकित्सक सीनियर प्रोफेसर बीना रवि ने कहा कि शिक्षित महिलाओं व युवतियों को ब्रेस्ट कैंसर तथा अन्य तरह की निजी स्वास्थ्य संबंधी बीमारियों को लेकर खुलकर चर्चा करनी चाहिए और अन्य महिलाओं को भी जागरुक करना चाहिए। उन्होंने कहा कि आम महिलाएं एम्स द्वारा शुरू किए गए इस अभियान से जुड़कर संपूर्ण समाज का भला कर सकती हैं।

संस्थान के रिकंस्ट्रेक्टिव एवं कॉस्मेटिक्स गाइनोकोलाजी विभाग के अध्यक्ष एवं स्त्री वरदान कार्यक्रम के निदेशक डा. नवनीत मग्गो ने एम्स के इस अभियान की विस्तृत जानकारी दी। डा. विनोद व डा. मानवी के संयुक्त संचालन में आयोजित कार्यक्रम को जूना अखाड़े के महासचिव स्वामी देवानंद सरस्वती महाराज, मानस कथावक्ता स्वामी विजय कौशल महाराज, दिव्य प्रेम सेवा मिशन के संस्थापक आशीष गौतम ने भी संबोधित किया। इस अवसर पर उपस्थित जनसमुदाय ने स्त्री वरदान कार्यक्रम को हर घर की महिला तक पहुंचाने का डॉक्टर नवनीत मग्गो के आवाहन में सामुहिक संकल्प लिया गया। समारोह में प्रो. रवि कांत ने महामहिम राज्यपाल बेबी रानी मौर्य सहित सभी अतिथियों को संस्थान की ओर से स्मृति चिह्न व अंगवस्त्र भेंटकर सम्मानित किया। जबकि एम्स की इस विश्वव्यापी पहल के लिए राज्यपाल बेबीरानी मौर्य व जूना अखाड़े के आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी अवधेशानंद गिरी महाराज की ओर से निदेशक एम्स प्रो. रवि कांत व स्त्री वरदान कार्यक्रम के संयोजक डा. नवनीत मग्गो को स्मृति चिह्न व अंगवस्त्र भेंटकर सम्मानित किया गया।

राज्यपाल ने, जूनापीठाधीश्वर आचार्य महामंडलेश्वर पूज्यपाद अवधेशानंद गिरी महाराज ने, हंस फाउंडेशन की मंगला माता ने, विजय कौशल महाराज ने, स्वामी देवानंद सरस्वती महाराज ने, रितु खंडूरी और आशीष गैतम ने स्त्री वरदान कार्यक्रम के संस्थापक डॉक्टर नवनीत मग्गो की इस सोच की बहुत सराहना की।

स्वामी अवधेशानंद गिरी महाराज ने कहा कि आज वह दिन आ गया है जब डॉक्टर नवनीत मग्गो द्वारा देखा गया यह स्वप्न सच होने जा रहा है और मंच पर उपस्थित लोगो को और खचाखच भरे स्त्री वरदान कार्यकर्ताओं के विशाल जनसमुदाओ को देखकर ऐसा लगता है कि हर कोई इससे जुड़ना चाहता है।

कार्यक्रम में समाजसेवी प्रदीप मौर्य, डीन एकेडमिक प्रोफेसर मनोज गुप्ता, स्त्री रोग विभागाध्यक्ष डा. जया चतुर्वेदी, प्रो. शालिनी राव, प्रो. प्रशांत पाटिल, प्रो. वीके बस्तिया, प्रो. सत्यावती राना, डा. गौरव चिकारा, डा. पूर्वी कुलश्रेष्ठा, जनसंपर्क अधिकारी हरीश मोहन थपलियाल आदि मौजूद थे।

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