कंस्ट्रक्शन साइट में कल हुई थी मौत, अब रिपोर्ट आई पाॅजीटिव

(एनएन सर्विस)
एम्स ऋषिकेश में देर शाम 2 और लोगों की रिपोर्ट कोविड पॉजिटिव मिली है। इनमें पहला मामला रेलवे रोड ऋषिकेश पर गुरुद्वारे के नजदीक स्थित एक निर्माणाधीन होटल में कार्य कर रहे 44 वर्षीय व्यक्ति का है। जो कि बीते बुधवार को कंस्ट्रक्शन साइट पर गिर गया था, जिसे एम्स के चिकित्सकों ने मृत घोषित कर दिया था। सेंट्रल दिल्ली निवासी इस व्यक्ति का पोस्टमार्टम से पूर्व लिया गया कोविड सेंपल आ शाम पॉजिटिव आया है। बताया गया कि यह व्यक्ति 22 जून को दिल्ली से ऋषिकेश आया था। वहीं, दूसरा मामला एम्स की कोविड लैब में कार्यरत 28 वर्षीया लैब टेक्निशियन पिछले दो दिन से शरीर में दर्द की शिकायत के साथ बुधवार को एम्स की ओपीडी में आई थी। जिसका कोविड सेंपल लिया गया था। जो कि आज पॉजिटिव पाया गया है। एम्स के जनसंपर्क अधिकारी हरीश मोहन थपलियाल ने बताया कि इस बाबत सूचना स्टेट सर्विलांस को दे दी गई है।

रोडवेज बसों का संचालन कल से, सोशल डिस्टेसिंग का करना होगा पालन

प्रदेशभर में रोडवेज बसों का संचालन 25 जून से किया जा रहा है। परिवहन निगम की बोर्ड बैठक में यह फैसला लिया गया। देहरादून मंडल के 37, नैनीताल मंडल के 36 और टनकपुर मंडल के 10 मार्गों पर बसों का संचालन किया जाएगा। अभी दूसरे राज्यों के लिए बसें संचालित नही की जायेंगी।
अपर मुख्य सचिव ओमप्रकाश की अध्यक्षता में परिवहन निगम की बोर्ड बैठक हुई। जिसमें बसों के संचालन को मंजूरी दी गई। बोर्ड बैठक में लिए गए निर्णय के अनुसार, पहले चरण में राज्य के अंदर ही चुनिंदा 83 मार्गों पर ही बसों का संचालन किया जाएगा। यात्रियों की संख्या बढ़ने के साथ ही गाड़ियों की संख्या में बढ़ोत्तरी की जायेगी। वहीं, कल से शुरू होने जा रही रोडवेज बसों के लिए परिवहन निगम ने एडवाइजरी जारी कर दी है। इसके तहत तीन यात्रियों वाली सीट पर दो और दो यात्री वाली सीट पर एक मुसाफिर ही सफर कर सकेगा। एडवाइजरी में यात्रियों के लिए मास्क की अनिवार्यता के साथ ही सैनिटाइजेशन आदि की जिम्मेदारी परिचालकों को सौंपी गई है।
एडवाइजरी के अनुसार सभी बसों में ड्राइवर-कंडक्टर के लिए अलग से केबिन बनाना होगा। बसों में कोरोना संक्रमण के जागरुकता से जुड़े स्टीकर भी लगाने होंगे। बसों के रवाना होने से पहले ड्यूटी पर तैनात अधिकारियों को सैनिटाइजेशन का प्रमाणपत्र देना होगा। बसों के साथ पूरे स्टेशन परिसर को प्रतिदिन सैनिटाइजेशन कराना होगा। 
सोशल डिस्टेंसिंग पर रहेगी कड़ी नजर
किसी भी डिपो के अंदर दाखिल होने वाले सभी यात्रियों की थर्मल स्क्रीनिंग की जाएगी। इसके लिए कर्मचारियों की अलग से ड्यूटी लगाई जाएगी। शाम सात बजे के बाद कोई भी बस रवाना नहीं होगी। सहायक महाप्रबंधक यात्रा मार्गों पर निरीक्षक की ड्यूटी होगी जो बसों में सोशल डिस्टेंसिंग का पालन सुनिश्चित कराएंगे। सोशल डिस्टेंसिंग का पालन नहीं करने पर संबंधित चालक-परिचालक के खिलाफ कार्रवाई का भी प्रावधान रखा गया है।
इन मार्गों पर होगा संचालन
पहले चरण में देहरादून से मसूरी, बड़कोट, पुरोला, टिहरी, उत्तरकाशी, जोशीमठ, बीरोंखाल, श्रीनगर, हरिद्वार, कालसी, विकासनगर, ऋषिकेश, रुड़की के लिए बसों का संचालन किया जाएगा। हरिद्वार डिपो की जेएनएनयूआरएम की बसों को हरिद्वार से लक्सर, ऋषिकेश एम्स रुड़की, देहरादून, लक्सर से देहरादून, नारसन के लिए बसों का संचालन किया जाएगा। रुड़की डिपो की ओर से देहरादून और हरिद्वार, ऋषिकेश के लिए बसें संचालित की जाएंगी।
नैनीताल मंडल में रानीखेत से हल्द्वानी, अल्मोड़ा, बागेश्वर, टनकपुर, भवाली से नैनीताल रामनगर, नैनीताल, हल्द्वानी, नौकुचियाताल, घोड़ाखाल के लिए बसों का संचालन होगा। इसके अलावा रामनगर से टनकपुर, हल्द्वानी, नैनीताल, काशीपुर, जसपुर, काशीपुर से टनकपुर, हल्द्वानी, रुद्रपुर से हल्द्वानी, टनकपुर, खटीमा, काशीपुर के लिए गाड़ियों का संचालन होगा। वही हल्द्वानी डिपो से नैनीताल, जंगलिया गांव, पिथौरागढ़, टनकपुर, चोरगलिया टनकपुर के लिए गाड़ियों का संचालन होगा। काठगोदाम डिपो से टनकपुर, नैनीताल, जसपुर के लिए गाड़ियां संचालित की जाएंगी।
वाल्वो व एसी बसें नहीं होंगी संचालित
वाल्वो के साथ ही वातानुकूलित बसों के संचालन पर रोक रहेगी। साथ ही परिवहन निगम की नियमित बसों के अलावा अनुबंधित बसों का भी संचालन नहीं किया जाएगा। महाप्रबंधक दीपक जैन ने बताया कि दूसरे राज्यों में बसों का संचालन शुरू होने के बाद ही वातानुकूलित वॉल्वो और अनुबंधित बसों का संचालन किया जाएगा।
यात्री मिलने के बाद अतिरिक्त बसों का होगा संचालन
25 जून से चलने वाली रोडवेज बसों का संचालन यात्रियों की संख्या पर निर्भर होगा। अगर पर्याप्त संख्या में यात्री होंगे, तभी बस संचालित की जाएगी। यात्री कम होनी की स्थिति में ड्यूटी पर तैनात स्टेशन प्रभारी को बसों को रोकने का अधिकार होगा।

मुख्यमंत्री ने योगाभ्यास कर दिया स्वस्थ रहने का संदेश

(एनएन सर्विस)
मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के अवसर पर सीएम आवास में योगाभ्यास किया। मुख्यमंत्री ने आयुष विभाग के योगाभ्यास प्रोटोकोल के अनुसार योगासन किए। इस वर्ष कोविड-19 की परिस्थितियों को देखते हुए योग का सार्वजनिक कार्यक्रम का आयोजन नहीं किया गया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा अपने-अपने घरों में रहकर ही योग करने का आह्वान किया गया। इसी क्रम में मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने भी अपने आवास में योगाभ्यास किया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री जी के सफल प्रयासों से सारा विश्व 21 जून को योग दिवस के रूप में मना रहा। इस बार के योग दिवस का आयोजन विशेष परिस्थिति में हम लोग कर रहे हैं। कोविड-19 महामारी से बचने के लिए हमारी इम्यूनिटी मजबूत होना बहुत जरूरी है और योग के द्वारा हम अपनी इम्यूनिटी यानी रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ा सकते हैं। मुख्यमंत्री ने नियमित योगाभ्यास को अपनी दैनिक जीवनचर्या में लाने का आह्वान करते हुए कहा कि हम सभी रोजाना एक घंटा अवश्य योगाभ्यास करें। स्वयं भी निरोग रहे, स्वयं की प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाए और औरों को भी इसके लिए प्रोत्साहित करें।

बुजुर्ग, छोटे बच्चों और गर्भवती महिलाओं का डेटा तैयार करने के निर्देश

(एनएन सर्विस)
मुख्य सचिव उत्पल कुमार सिंह ने शनिवार को सचिवालय में कोविड-19 के दृष्टिगत सभी जिलाधिकारियों से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से समीक्षा की। उन्होंने कहा कि प्रत्येक प्रवासी की ट्रैवल्स हिस्ट्री की जानकारी प्राप्त करते हुए उनका कॉन्टैक्ट ट्रेसिंग अनिवार्य रूप से किया जाए। उन्होंने कम टेस्टिंग रेसियो वाले जनपदों को टेस्टिंग रेशियो बढ़ाने के निर्देश दिए। उन्होंने कोरोना संक्रमण को रोकने एवं इसके नियंत्रण में लगे अधिकारियों-कर्मचारियों को खुद की भी सुरक्षा का ध्यान रखते हुए इस संक्रमण को आपसी समन्वय के साथ कार्य करने के निर्देश दिए। उन्होंने जिलाधिकारियों को इस कार्य में लगे सभी अधिकारी एवं कर्मचारियों को आवश्यक प्रशिक्षण उपलब्ध कराते हुए, उन्हें सुरक्षा किट उपलब्ध कराए जाने के निर्देश भी दिए।
मुख्य सचिव ने कहा कि प्रवासियों का बेहतर ढंग से डाटा तैयार किया जाए ताकि पॉजीटिव पाए जाने पर उसकी टै्रवल हिस्ट्री की जानकारी तत्काल उपलब्ध हो सके और संक्रमण को फैलने से रोका जा सके। उन्होंने पोर्टल पर लगातार डाटा अपलोड करने के भी निर्देश दिए। उन्होंने जिलाधिकारियों को निर्देश दिए कि कोरोना संक्रमण के प्रभाव को कम करने के लिए अपने-अपने जनपदों में छोटे बच्चों, गर्भवती महिलाओं, बुजुर्ग व गंभीर रोग से ग्रसित व्यक्तियों का डाटा तैयार करते हुए उन्हें सार्वजनिक स्थानों पर घूमने-फिरने को पूर्णतः प्रतिबंधित किया जाए। उन्होंने कहा कि कोविड-19 संक्रमण को रोकने के लिए व्यापक प्रचार-प्रसार के साथ ही सरकार द्वारा जारी गाइडलाइन का अनुपालन सुनिश्चित करवाया जाए।
मुख्य सचिव ने कहा कि क्वारंटीन सेंटरों हेतु बनाए गए प्रभारी अधिकारियों के पास अनिवार्य रूप से सुरक्षा किट की उपलब्धता के साथ ही उन्हें निर्धारित प्रोटोकॉल की पूर्ण जानकारी दी जाए। क्वारंटीन सेंटरों में रह रहे प्रवासियों की टै्रवल हिस्ट्री आदि की जानकारी का रजिस्टर भी मेन्टेन किया जाए। उन्होंने निर्देश दिए कि क्वारंटीन सेंटरों में काउन्सलरों के माध्यम से प्रवासियों की निरन्तर काउंसिलिंग की जाए। उन्होंने सभी जिलाधिकारियों को क्वारंटीन सेंटरों की व्यवस्थाओं का लगातार निरीक्षण करने के निर्देश दिए। उन्होने सभी जिलाधिकारियों को सोशल डिस्टेसिंग का कड़ाई से अनुपालन सुनिश्चित कराए जाने तथा सभी व्यक्तियों द्वारा सार्वजनिक स्थलों पर मास्क का उपयोग अनिवार्य रूप से करवाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि नियमों का पालन नहीं करने वालों के विरूद्ध आवश्यक कार्रवाई सुनिश्चित की जाए। मुख्य सचिव ने सभी अधिकारियों को कोरोना संक्रमण के नियंत्रण एवं रोकथाम के लिए गंभीरता एवं उत्साह के साथ बेहतर ढंग से कार्य किये जाने पर बधाई देते हुए आगे भी इसी उत्साह के साथ कार्य करने की बात कही।
सचिव स्वास्थ अमित नेगी ने सभी जिलाधिकारियों से कहा कि जनपद में आने वाले प्रवासियों को बेहतर ढंग से डाटा तैयार हो तथा उनकी निगरानी के लिए एक्टिव सर्विलांस को और अधिक बढ़ाया जाए। उन्होंने आशा एवं आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों के माध्यम से होम एवं संस्थागत क्वारंटीन सेंटरों में रह रहे प्रवासियों का सर्विलांस कराते हुए कोविड केयर सेंटरों में सभी आवश्यक व्यवस्थायें सुनिश्चित कराए जाने के निर्देश दिए।

मुख्यमंत्री ने हाईटेक मशीन खरीदने के लिए जारी की धनराशि, टेस्टिंग में मिलेगी बढ़ी मदद

(एनएन सर्विस)
मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने कोविड-19 के दृष्टिगत प्रदेश में कोविड टेस्टिंग बढ़ाने के लिये दून, हल्द्वानी व श्रीनगर मेडिकल कालेज के लिये 3 हाईटेक टेस्टिंग मशीन क्रय करने के लिये 11.25 करोड़ की धनराशि स्वीकृत की है। यह धनराशि राज्य आपदा मोचन निधि से स्वीकृत की गई है। क्रय की जाने वाली इन हाईटेक मशीनों की टेस्टिंग क्षमता 800 प्रति दिन है। इस प्रकार इससे 2400 टेस्टिंग प्रतिदिन हो सकेगी। अभी तक इन मेडिकल कालेजों में स्थापित मशीनों की टेस्टिंग क्षमता कम थी।
इसके अतिरिक्त प्रदेश से 50 से 100 सेम्पल जांच के लिए चण्डीगढ़ की इम्पेक्ट लेब में भेजे जा रहे हैं। जबकि नई दिल्ली स्थित एनसीडीसी लेब में हरिद्वार से 300, उधमसिंह नगर से 300 तथा नैनीताल से 100 सेम्पल जांच के लिए भेजे जा रहे हैं। जबकि लगभग 50 टेस्ट आई.आई.पी की टेस्टिंग लेब में किये जा रहे हैं।
जनपद स्तर पर भी जांच की सुविधा उपलब्ध कराने के लिए 7 स्थानों पर टू नाट मशीन स्थापित की गई है। इनमें से चार ने कार्य आरम्भ कर दिया है जबकि 11 मशीनों की और व्यवस्था की जा रही है।
प्रभारी सचिव स्वास्थ्य डॉ. पंकज कुमार पाण्डेय ने बताया कि राज्य के इन तीन मेडिकल कालेजों में हाइटेक मशीनों की स्थापना एवं टू नाट मशीनों की जनपद स्तर पर स्थापना से राज्य में कोरोना की जांच में तेजी आयेगी।

17 चिकित्सक और मिले…
सचिव स्वास्थ्य अमित नेगी ने जानकारी देते हुए बताया कि राजकीय संयुक्त चिकित्सालय रामनगर एवं सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र भिकियासैंण का कार्य पीपीपी मोड पर संचालित होने से इन चिकित्सालयों में कार्यरत 17 चिकित्सक राज्य को मिल गये हैं। इसमें 7 विशेषज्ञ चिकित्सक भी शामिल है। इन चिकित्सकों की तैनाती उन अस्पतालों में की जायेगी जहां चिकित्सकों की कमी है। ये दोनों चिकित्सालय विश्व बैंक परियोजना के तहत पीपीपी मोड पर संचालित हो रहे हैं।

पाॅजीटिव पाये गये स्वास्थ्यकर्मियों की रिपोर्ट पर संदेह, दोबारा होगी जांच

(एनएन सर्विस)
राज्य में प्रतिदिन कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या बढ़ती जा रही है। शुक्रवार को 28 स्वास्थ्यकर्मियों समेत 104 लोगों में कोरोना संक्रमण की पुष्टि हुई है। अब प्रदेश में संक्रमित मरीजों की संख्या 2206 पहुंच गई है। संक्रमित स्वास्थ्यकर्मियों में 17 देहरादून और 11 टिहरी के बताए जा रहे हैं। जबकि 1433 मरीज ठीक होकर घर जा चुके हैं। प्रदेश में अब 663 एक्टिव केस हैं।
स्वास्थ्य विभाग के हेल्थ बुलेटिन के अनुसार शुक्रवार को अल्मोड़ा में 14, बागेश्वर में सात, देहरादून में चार (17 स्वास्थ्यकर्मी भी, जिन्हें रिपोर्ट में जोड़ा नहीं गया), हरिद्वार में आठ, नैनीताल में आठ, पौड़ी में दो, पिथौरागढ़ में चार, ऊधमसिंह नगर में 12 और टिहरी में तीन कोरोना संक्रमित मिले हैं।
टिहरी जिले में 28 संक्रमित मरीज मिले हैं। इनमें सीएचसी हिंडोलाखाल में 11 स्वास्थ्यकर्मियों में कोरोना की पुष्टि हुई है, जबकि छह महाराष्ट्र व मुंबई, एक राजस्थान, दो नासिक से लौटे हैं और आठ मरीज संपर्क में आए हुए हैं। अल्मोड़ा जिले में 14 मरीजों में 12 की ट्रेवल हिस्ट्री दिल्ली की है। हरिद्वार और नैनीताल जिले में आठ-आठ, बागेश्वर जिले में सात, पिथौरागढ़ जिले में चार और पौड़ी जिले में एक ही परिवार के 2 लोग संक्रमित मिले हैं। वहीं, देर रात ऊधमसिंह नगर जिले में भी 12 लोगों में संक्रमण की पुष्टि हुई है।
वहीं देहरादून जिले में शुक्रवार को चार डॉक्टरों और 13 स्वास्थ्य कर्मियों समेत 21 लोगों में कोरोना की पुष्टि हुई है। डॉक्टरों में एक वीवीआईपी के वरिष्ठ फिजीशियन भी शामिल हैं। मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ.बीसी रमोला ने 17 स्वास्थ्यकर्मियों की रिपोर्ट पॉजिटिव आने की पुष्टी की है। लेकिन संदेह जताते हुए सभी के सैंपल दोबारा जांच के लिए भेजने की बात भी कही है।

कोटद्वार के दो मार्केट 20 जून तक बंद
कोटद्वार में मालिनी मार्केट और जिला परिषद मार्केट अब शनिवार 20 जून तक बंद रहेंगे। व्यापारी के परिवार के पांच लोगों में कोरोना संक्रमण की पुष्टि होने के बाद बाजार बंद रहने की अवधि बढ़ाई गई है। यहां व्यापारी परिवार की तीन दुकानें हैं। इससे पूर्व गुरुवार की सुबह व्यापारी तीन दिन से बंद दुकानें खोलने के लिए पहुंचे। लेकिन पुलिस ने प्रशासन के आदेश बताते हुए उन्हें इसकी इजाजत नहीं दी। लिहाजा, चैथे दिन भी मालिनी और जिला परिषद बाजार में सन्नाटा पसरा रहा। एसडीएम योगेश मेहरा ने बताया कि पुलिस की रिपोर्ट के आधार पर संक्रमण को फैलने से बचाने के लिए एहतियात के तौर पर 20 जून तक मालिनी मार्केट और जिला परिषद मार्केट को बंद करने का निर्णय लिया गया है। इसके बाद आगे फैसला लिया जाएगा।

महापौर की सक्रियता से नगर निगम ऋषिकेश बना सर्वश्रेष्ठ कोरोना वारियर

(एनएन सर्विस)
नगर निगम ऋषिकेश महापौर अनीता ममंगाई के नेतृत्व में लगातार कोरोना संक्रमण के काल में उत्कृष्ट कार्य किया जा रहा है। इसी के मद्देनजर उत्तराखंड शासन ने विभागीय रूप से नगर निगम ऋषिकेश को सर्वश्रेष्ठ कोरोना वारियर के रूप में चयनित किया है। जिलाधिकारी देहरादून की ओर से जानकारी देते हुए बताया गया कि कोरोना संक्रमण के बीच ऋषिकेश महापौर के निर्देशन में ऋषिकेश में सेनेटाइजेशन, साफ-सफाई और भोजन वितरण कार्य बेहतर ढंग से किया गया है। लगातार नगर निगम ऋषिकेश जिस तत्परता के साथ त्वरित कार्यवाही करते हुए व्यवस्थाएं संभाल रहा है वह प्रशंसनीय है।
नगर निगम ऋषिकेश को यह सफलता महापौर ममंगाई के नेतृत्व में मिली है। गौरतलब है कि महापौर लगातार सक्रिय रुप से फील्ड में उतरकर स्वयं मोर्चा संभाले हुए है। शासन ने इस बात का स्वयं संज्ञान भी लिया है। वहीं, महापौर ने यह सफलता नगर निगम के अधिकारियों और समस्त कर्मचारियों को समर्पित की है। उन्होंने बताया कि जिलाधिकारी ने इसकी सूचना स्वयं उन्हें देर रात फोन पर दी। उन्होंने उनके नेतृत्व में किये जा रहे कार्यों की प्रशंसा करते हुए आगे भी इसकी तरह के कार्यों को करते हुए जनसेवक के सच्चे कार्यों को समर्पित रहने के लिए हौसला अफजाई भी की।
इस पर महापौर ने एक वीडियों संदेश जारी करते हुए सभी को धन्यवाद देते हुए कहा कि यह सफलता आप सभी के सामूहिक प्रयास और कार्यों का नतीजा है। आप सभी हमारे सर्वश्रेष्ठ कोरोना वारियर हैं यह सम्मान में आप सभी को समर्पित करती हूं। उन्होंने उम्मीद जताई कि आगे भी इससे अच्छा और उत्कृष्ट कार्य निरंतर किया जाएगा जिसमें सभी का सहयोग प्राप्त होगा।
इसके अलावा जिलाधिकारी देहरादून ने सिविल सोसायटी से कन्फेड्रशन ऑफ आल इंडिया ट्रेडर्स, उत्तराखण्ड के प्रदेश अध्यक्ष सुभाष कोहली को भी कोरोना वॉरियर घोषित किया गया।

स्वास्थ्य कर्मियों का मनोबल बढ़ाने राज्यपाल पहुंची दून अस्पताल

(एनएन सर्विस)
राज्यपाल बेबी रानी मौर्य गुरुवार को कोविड-19 के उपचार से सम्बंधित व्यवस्थाओं का जायजा लेने दून अस्पताल पहुँची। उन्होंने वहाँ उपस्थित वरिष्ठ चिकित्सकों और स्टाफ से बातचीत की। राज्यपाल ने ऐसे मरीजों की व्यवस्थाओं एवं ओपीडी के बारे में भी पूछा जो कोविड संक्रमण से प्रभावित नहीं हुए हैं। राज्यपाल ने कहा कि वर्तमान में कोविड मरीजों के लिए सबसे कारगर दवा सोशल वैक्सीन है अर्थात प्रेम और सहानुभूति से उनका इलाज किया जाय। राज्यपाल ने आईसीयू में भर्ती कोविड मरीजों से वीडियो काॅल पर बात की। उन्होंने मरीजों का मनोबल बढ़ाया। राज्यपाल ने अस्पताल की नर्सों का उत्साह बढ़ाते हुए उनसे उनकी समस्याओं के बारे में पूछा। उन्होंने अस्पताल प्रबंधन को निर्देश दिए कि नर्सों के हितों और उनकी सुविधाओं का विशेष ध्यान रखा जाय। राज्यपाल ने कोविड वार्ड से निकलने वाले बाॅयो मेडिकल कूड़े के निस्तारण की जानकारी माँगी। अस्पताल प्रबंधन द्वारा बताया गया कि कूड़ा बहुत सावधानी के साथ एकत्र कर रूडकी के कूड़ा दहन संयंत्र में जलाने के लिए भेजा जाता है। राज्यपाल ने कूड़ा निस्तारण की सख्त मॉनिटरिंग के निर्देश देते हुए कहा कि इसमें कोई भी लापरवाही नहीं होनी चाहिए। राज्यपाल ने दून मेडिकल काॅलेज के प्रधानाचार्य से अस्पताल की मौजूदा सुविधाओं और व्यवस्थाओं पर विस्तृत जानकारी प्राप्त की। राज्यपाल ने ग्राफिक एरा स्थित क्वारंटीन सेंटर का भी स्थलीय निरीक्षण किया। उन्होंने क्वारंटीन केन्द्र में तैनात स्टाॅफ से बात की।

दून मेडिकल काॅलेज के डाॅ आशुतोष सयाना ने बताया कि राजकीय दून मेडिकल काॅलेज में अभी तक कुल 391 कोरोना पाॅजिटिव मरीज भर्ती हुए हैं। कुल 73 मरीज आईसीयू में भर्ती हुए हैं जिनमें 27 कोरोना पाॅजिटिव तथा 46 मरीज संभावित श्रेणी में पाये गये हैं। उन्होंने बताया कि कैन्सर मरीजों की कीमोथैरपी कोरोनेशन अस्पताल में की जा रही है। 6,874 मरीजों की कोविड लैब में कोराना टेस्ट की जांच की गयी। 115 मरीज डायलिसिस के लिए भर्ती हुए हैं जिनमें कोविड संभावित 6 मरीज हैं। उन्होंने जानकारी दी कि आज अस्पताल में कुल 78 मरीज भर्ती हैं जिनमें से 64 मरीज कोरोन पाॅजिटिव हैं तथा 14 मरीज संभावित हैं। उन्होंने बताया कि वर्तमान में अस्तपाल में 17,178 फेस मास्क, 6,420 हैण्ड सेनिटाइजर, 5,253 एन95 मास्क, 3,628 पी.पी.ई किट तथा 13,956 हाईड्रोक्सी क्लोरो क्वीन टैबलेट उपलब्ध हैं। वर्तमान में अस्तपाल में मरीजों हेतु 263 बैड उपलब्ध हैं जिनमें कोविड पाॅजिटीव मरीजों हेतु 168 बैड, सस्पेक्टेड केस हेतु 60 बैड एवं 35 आई.सी.यू बैड उपलब्ध हैं। उन्होंने बताया कि महिला अस्पताल में कुल 84 डिलिवरी की गई जिनमें से 06 कोरोना पाजिटिव हैं एवं 78 संभावित हैं। इसके अतिरिक्त उन्होंने जानकारी दी कि अस्तपाल में बेसिक लाॅईफ सपोर्ट प्रशिक्षण भी दिया जा रहा है। हेल्पलाइन काॅल के माध्यम से लगभग 15000 लोगों को कोरोना से संबंधित जानकारी दी गई एवं प्रत्येक दिन ई-संजीवनी ओपीडी के माध्यम से लोगों को जागरूक किया जा रहा है।
इस अवसर पर सीएमओ डाॅ0 बी.सी.रमोला, सी.एम.एस डाॅ0 के.के.टम्टा, डाॅ0 एन.एस.खत्री, राजभवन के वरिष्ठ फिजिशियन डाॅ0 महावीर सिंह आदि उपस्थित थे।

मरीजों में संक्रमण की दर बढ़ी लेकिन ठीक होने की दर में भी बड़ा सुधार

(एनएन सर्विस)
राज्य में बुधवार को कोरोना के 81 नए मरीज मिले। अब कुल मरीजों की संख्या 2023 हो गई है। वहीं 38 मरीजों को अस्पतालों से छुट्टी भी मिल गई है। कोरोना वायरस को हराकर ठीक होने वाले मरीजों की संख्या 1254 पहुंच गई है। जबकि 717 मरीजों का राज्य के विभिन्न अस्पतालों में इलाज चल रहा है।
अपर सचिव स्वास्थ्य युगल किशोर पंत ने बताया कि बुधवार को अल्मोड़ा में 14, देहरादून में 35, नैनीताल में आठ, पौड़ी में एक, टिहरी में नौ, रुद्रप्रयाग में दो और उत्तरकाशी, हरिद्वार में 3, बागेश्वर 5, यू एस नगर 3 मरीज में कोरोना वायरस की पुष्टि हुई है। बुधवार को कुल 656 सैंपल की रिपोर्ट आई जिसमें से 81 पॉजिटिव जबकि 613 की रिपोर्ट नेगेटिव आई है। अपर सचिव ने बताया कि विभिन्न जिलों के 1254 मरीज ठीक होकर अस्पतालों से घर चले गए हैं। जबकि 717 का इलाज अभी चल रहा है। राज्य में कोरोना मरीजो के दोगुना होने की दर 26 दिन के करीब पहुंच गई है। जबकि रिकवरी रेट भी तकरीबन 62 प्रतिशत हो गया है।
लेकिन देखा जा रहा है कि मरीजों में संक्रमण की दर भी लगातार बढ़ रही है। राज्य में कोरोना के मामले बढ़ने के साथ ही कंटेनमेंट जोन भी बढ़ रहे हैं और अब इनकी संख्या 86 हो गई है। अकेले हरिद्वार जिले में सर्वाधिक 51 कंटेनमेंट जोन बनाए गए हैं। जबकि देहरादून में 21 कंटेनमेंट जोन बनाए गए हैं।

ऋषिकेश मंडी 24 जून तक के लिए सील

(एनएन सर्विस)
ऋषिकेश क्षेत्र में अब कृषि उत्पादन मंडी समिति परिसर में कोरोना वायरस ने पैर पसार लिए हैं। यहां मंडी समिति अध्यक्ष विनोद कुकरेती सहित छह अन्य लोगों की कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। प्रशासन इन सभी के प्रथम और द्वितीय संपर्क में आने वाले लोगों की खोजबीन कर रहा है।
देहरादून निरंजनपुर स्थित कृषि उत्पादन मंडी समिति में कोरोना वायरस संक्रमण के बढ़ रहे मामलों को देखते हुए कृषि उत्पादन मंडी समिति ऋषिकेश में रैंडम सैंपलिंग ली गई थी। 13 जून को स्वास्थ्य विभाग की टीम ने ऋषिकेश कृषि मंडी समिति में 97 लोगों के सैंपल लिए थे। जिनमें मंडी समिति अध्यक्ष, कर्मचारी, व्यापारी, ट्रांसपोर्टर और पल्लेदार शामिल थे। इन सभी के सैंपल को जांच के लिए चंडीगढ़ लैब भेजा गया था। वहां से जांच रिपोर्ट बुधवार रात 9 बजे पहंुची है। इस रिपोर्ट में मंडी समिति परिसर में सात लोगों में कोरोना संक्रमण की पुष्टि हुई है। यह सभी लोग एसिम्टोमेटिक यानी बिना कोरोना लक्षण वाले पाए गए हैं। इन सात लोगों में मंडी समिति अध्यक्ष विनोद कुकरेती सहित छह अन्य व्यापारी शामिल है। मंडी समिति अध्यक्ष ने फोन पर इस बात की पुष्टि की है।

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