कांवड यात्रा की व्यवस्थाएं चाक-चौबंद हो-सुबोध उनियाल

आगामी कांवड़ यात्रा शुरू होने से पहले ही व्यवस्थाएं चाक-चौबंद हों, ड्यूटी में लापरवाही बरतने वाले अधिकारियों के विरूद्ध कार्यवाही अमल में लाई जाएगी। मुनिकीरेती स्थित जीएमवीएन के गेस्टहाउस गंगा रिसोर्ट में आगामी कांवड़ यात्रा के मद्देनजर आयोजित बैठक में कैबिनेट मंत्री सुबोध उनियाल ने आला अधिकारियों को सख्त हिदायत दी।
कैबिनेट मंत्री सुबोध उनियाल ने कांवड़ यात्रा मार्ग पर पार्किंग, सड़कों, पेयजल, चिकित्सा एवं सफाई की व्यवस्थाओं को लेकर अधिकारियों से पूछताछ की, जिसके बाद उन्होंने शीघ्र ही इन व्यवस्थाओं को दुरस्त करने के निर्देश दिए। कैबिनेट मंत्री ने बताया कि कांवड़ यात्रा के दौरान हरिद्वार, ऋषिकेश, मुनिकीरेती, रामझूला, स्वर्गाश्रम, तपोवन, नीलकंठ आदि जगहों पर बड़ी संख्या में शिवभक्तों का सैलाब उमड़ता है। बीते दो वर्षों से कोविड-19 महामारी के कारण कांवड़ यात्रा बंद रही, इस वर्ष बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं के उमड़ने की उम्मीद की जा रही है। इसके मद्देनजर कांवड़ यात्रा शुरू होने से पूर्व अधिकारियों को तैयारियां पूर्ण करने हेतु निर्देशित किया गया है।
मौके पर जिलाधिकारी टिहरी ईवा आशीष श्रीवास्तव, जिलाधिकारी पौड़ी विजय जोगदंडे, जिलाधिकारी हरिद्वार विनय शंकर पांडे, एसएसपी टिहरी नवनीत सिंह, एसपी ग्रामीण देहरादून कमलेश उपाध्याय, एसपी हरिद्वार योगेंद्र सिंह रावत, लोक निर्माण विभाग नरेंद्रनगर के अधिशासी अभियंता मौहम्मद आरिफ खान, सीएमओ टिहरी संजय जैन, चिकित्साप्रभारी फकोट जगदीश जोशी, नगर पालिका मुनिकीरेती-ढालवाला ईओ तनवीर मारवाह आदि उपस्थित रहे।

मानसखण्ड कॉरिडोर में अवस्थापना सुविधाओं का विशेष ध्यान देने के निर्देश

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने गुरूवार को विधानसभा में मानसखण्ड कॉरिडोर के संबंध में बैठक ली। मुख्यमंत्री ने कहा कि चारधाम यात्रा के साथ ही श्रद्धालुओं और पर्यटकों को प्रदेश के अन्य धार्मिक एवं पर्यटन स्थलों में भी हर दृष्टि से भी बेहतर सुविधाएं उपलब्ध करानी होंगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तराखण्ड प्राकृतिक संपदाओं वाला राज्य है, अवस्थापना सुविधाओं के विकास पर विशेष ध्यान दिया जाए। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिये कि कुमाऊं मानसखण्ड सर्किट में जो भी मन्दिर लिये जा रहे हैं, उनको सुव्यवस्थित तरीके से बेहतर सड़क कनेक्टिविटी से जोड़ा जाय। गोल्ज्यू सर्किट को विकसित करने के लिए सुनियोजित प्लान बनाया जाए। 2025 तक उत्तराखण्ड को देश का अग्रणी राज्य बनाने के लिए प्रत्येक विभाग द्वारा क्या कार्ययोजना बनाई जा रही है, विभागों से जल्द उनकी कार्ययोजना मांगी जाय।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि राज्य का राजस्व बढ़ाने के लिए इनोवेटिव प्रयासों की जरूरत है। पर्यटन के क्षेत्र में राज्य में अनेक संभावनाएं हैं। पर्यटन स्थलों एवं धार्मिक स्थलों के लिए रोपवे, सड़क एवं अन्य अवस्थापना सुविधाओं के विकास के लिए जो स्वीकृतियां हो चुकी हैं, उन कार्यों में तेजी लाई जाए। मुख्यमंत्री ने कहा कि धार्मिक एवं आध्यात्मिक राज्य होने के साथ ही उत्तराखण्ड का नैसर्गिक सौन्दर्य भी पर्यटकों को आकर्षित करता है। राज्य में साहसिक खेलों के क्षेत्र में अनेक संभावनाएं हैं, इस दिशा में भी विशेष ध्यान दिया जाय। राज्य में उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए सरकार द्वारा हर संभव प्रयास किये जा रहे हैं। औद्योगिक क्षेत्र से जुड़े लोगों को राज्य में उद्योगों की स्थापना के लिए हर संभव सहायता देने के प्रयास किये जा रहे हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य के दूरस्थ क्षेत्रों तक सुदृढ़ नेटवर्क कनेक्टिविटी हो, इसके लिए सर्विस प्रोवाइडरों के साथ बैठक की जाय और उचित समाधान निकाला जाय।
बैठक में प्रमुख सचिव आर. के सुधांशु, विशेष प्रमुख सचिव अभिनव कुमार, सचिव दिलीप जावलकर, अपर सचिव सी. रविशंकर, प्रमुख अभियंता लोक निर्माण विभाग अयाज अहमद, लोक निर्माण विभाग एवं पर्यटन विभाग के अधिकारी उपस्थित रहे।

चारधाम आने वाले तीर्थ यात्रियों को मिलेगा बीमा कवर

बदरीनाथ, केदारनाथ, गंगोत्री और यमुनोत्री मंदिर परिसर में दुर्घटना होने पर तीर्थ यात्रियों को एक लाख रुपये का बीमा कवर मिलेगा। पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज के प्रयासों से यह संभव हो पाया है। बदरीनाथ-केदार मंदिर समिति के मीडिया प्रभारी डा हरीश गौड़ ने बताया कि आध्यात्मिक संस्था मानव उत्थान सेवा समिति की ओर से बीमा की प्रीमियम राशि युनाइटेड इंडिया इंश्योरेंस कंपनी लिमिटेड को दी गयी है। उन्होंने बताया कि मानव उत्थान सेवा समिति के संस्थापक पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज हैं। बदरीनाथ- केदारनाथ मंदिर समिति के अध्यक्ष अजेंद्र अजय ने पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज एवं मानव उत्थान सेवा समिति का आभार जताया है। उन्होंने कहा कि पहली बार चारधाम आने वाले तीर्थयात्रियों को बीमा कवर दिया जा रहा है।
मीडिया प्रभारी डॉ हरीश गौड ने बताया कि मंदिर समिति के मुख्य कार्याधिकारी बीडी सिंह ने इस संबंध में उपजिलाधिकारी जोशीमठ, उखीमठ, बड़कोट और भटवाड़ी को पत्र लिखकर सूचित किया है। उन्होंने लिखा है कि मंदिर परिसर में किसी दुर्घटना पर तीर्थ यात्रियों को यह बीमा कवर दिया जायेगा है। उन्होंने बताया कि बीमा राशि का भुगतान बदरीनाथ- केदारनाथ मंदिर समिति के माध्यम से युनाईटेड इंडिया इंश्योरेंस कंपनी लिमिटेड द्वारा दिया जाएगा।

थौलधार में नागराजा डोली यात्रा में शामिल हुए सीएम

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने आज ग्राम सभा इडियान ब्लॉक थौलधार में गंगा दशहरा के अवसर पर भगवान कांगुडा नागराजा डोली यात्रा में प्रतिभाग किया। मुख्यमंत्री ने नागराजा मंदिर कांगुडा में पूजा अर्चना कर राज्य की खुशहाली एवं समृद्धि की कामना की।
इस मौके पर मुख्यमंत्री ने राजकीय महाविद्यालय कमान्द में विज्ञान संकाय की कक्षाओं का संचालन करने, इंदिरा कटखेत मोटर मार्ग का डामरीकरण द्वितीय चरण, चापड़ा से अंधियारी तक मोटर मार्ग का निर्माण, कांगुडा पंपिंग पेयजल योजना का निर्माण,रौतू की बेली चलीधार मोटर द्वितीय चरण, देवभूमि कांगुडा को पर्यटन स्थल के रूप में विकसित करने की घोषणा की। इस अवसर पर कैन्छु गांव के हाई स्कूल टॉपर मुकुल को सम्मानित भी किया गया।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि उत्तराखंड जब अपनी रजत जयंती मना रहा होगा तब वह देश के एक आदर्श एवं श्रेष्ठ राज्य के रूप में खड़ा होगा। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री जी ने केदारनाथ में जो भविष्यवाणी की थी कि 21वीं सदी का तीसरा दशक उत्तराखंड का दशक होगा, वह आज सच साबित हो रहा है। आज चारधाम यात्रा पर रिकार्ड संख्या में श्रद्धालु पहुंच रहे हैं, व्यवस्थाओं को मध्य नजर रखते हुए रजिस्ट्रेशन की व्यवस्था की गई है। प्रधानमंत्री के 8 साल के कार्यकाल में नए-नए परिवर्तन हुए हैं, जितनी भी योजनाएं बनी है वह गरीबों को समर्पित की गई है। धारा 370 को हटाया गया, अयोध्या में मंदिर परिसर बनाया जा रहा है, केदारनाथ आपदा के बाद 400 करोड़ की लागत से पुनर्निर्माण का कार्य किये जा रहे हैं। प्रधानमंत्री के नेतृत्व में उत्तराखंड राज्य में भी प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत हर गरीब को छत मुहैया कराई जा रही है। उज्जवला योजना के तहत महिलाओं को धुआं रहित करने हेतु गैस कनेक्शन उपलब्ध कराए जा रहे हैं। इसके साथ ही किसान सम्मान निधि के अंतर्गत किसानों खातों में धनराशि उपलब्ध कराई जा रही है, अटल आयुष्मान योजना अंतर्गत 5 लाख तक की निशुल्क स्वास्थ्य सुविधा मुहैया कराई जा रही है। ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेल लाइन का कार्य चल रहा है, एम्स ऋषिकेश में हजारों लोग ओपीडी में स्वास्थ्य सुविधाओं का लाभ ले रहे हैं। उन्होंने कहा कि कोरोना काल में भी विकास के कार्य चलते रहे और प्रथम और द्वितीय डोज का शत-प्रतिशत वैक्सीनेशन का कार्य हुआ है तथा बूस्टर डोज का कार्य भी चल रहा है। देश के बाहर भी वैक्सीन भेजी गई। गरीब कल्याण योजना के तहत 80 करोड़ लोगों को राशन उपलब्ध कराया गया। आज भारत आत्मनिर्भर देश के रूप में खड़ा हो गया है। प्रधानमंत्री के नेतृत्व में उत्तराखंड राज्य में भी एक समान कानून बनाने का संकल्प लिया गया है, इसके तहत समिति कार्य कर रही है। इसके साथ ही एक साल में मुफ्त 3 गैस के सिलेंडर गरीब परिवारों को देने का निर्णय लिया गया है। भ्रष्टाचार पर नकेल कसने हेतु टोल फ्री नंबर 1064 जारी किया गया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार तीन बिंदुओं सरलीकरण, समाधान और निस्तारण के अनुसार कार्य कर रही है। उन्होंने कहा कि जिला स्तर के कार्य जिला स्तर पर ही होने चाहिए। जिलाधिकारी टिहरी गढ़वाल इवा आशीष श्रीवास्तव ने बताया कि जनता की समस्याओं और शिकायतों के निस्तारण हेतु सोमवार का दिन जनता दर्शन हेतु समर्पित किया गया है।
इस अवसर पर क्षेत्रीय विधायक प्रीतम सिंह पंवार, जिला अध्यक्ष भाजपा विनोद रतूड़ी,
ब्लाक प्रमुख थौलधार प्रभा बिष्ट, मंडल अध्यक्ष रामचंद्र खंडूड़ी, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक नवनीत सिंह भुल्लर, अपर जिलाधिकारी रामजी चरण शर्मा, एएसपी राजन सिंह, एसडीएम अपूर्वा सिंह सहित जनप्रतिनिधि जिला उपाध्यक्ष वीरेंदर राणा, वरिष्ठ भाजपा नेता राजेश नौटियाल, प्रधान पढ़ोगी विनोद प्रसाद भट्ट, प्रधान इडियान सरल देवी सहित अन्य अधिकारी, जनप्रतिनिधि एवं ग्रामीण मौजूद रहे।

यात्रा व्यवस्थाओं की निगरानी हेतु एक्सपर्ट कमेटी के गठन के निर्देश

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शनिवार को देर सांय मुख्यमंत्री आवास में चारधाम यात्रा व्यवस्थाओं की समीक्षा की। उन्होंने यात्रा के दौरान यात्रियों के स्वास्थ्य को लेकर चिन्ता व्यक्त करते हुए इस सम्बन्ध में प्रभावी व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ने इसके लिये एक्सपर्ट कमेटी गठित किये जाने के भी निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि यात्रा के दौरान हो रही मृत्यु के वास्तविक कारणों की भी सही स्थिति जनता के समक्ष रखी जाए। ताकि चार धाम यात्रा पर आने वाले श्रद्धालु आवश्यक एहतियात बरतें। उन्होंने इसके लिये बुजुर्ग एवं अस्वस्थ लोगों के स्वास्थ्य परीक्षण की कारगर व्यवस्था सुनिश्चित करने को भी कहा।
मुख्यमंत्री ने निर्देश दिए कि बुजुर्ग लोग अपना स्वास्थ्य परीक्षण के बाद ही यात्रा पर आए, इसकी व्यवस्था पर ध्यान दिया जाए। इस सम्बन्ध में चारधाम यात्रा से सम्बन्धित व्यवस्थाओं के प्रति नकारात्मक संदेश से बचाव के साथ ही यात्रा के सम्बन्ध में की गई सभी आवश्यक व्यवस्थायें सुनिश्चित करने के लिये पर्यटन, स्वास्थ्य, परिवहन एवं एस.डी. आर. एफ. के अधिकारी समन्वय से कार्य करते हुए। नियमित रूप से मीडिया को भी वस्तुस्थिति से अवगत कराये जाने की व्यवस्था सुनिश्चित कराये।
इस अवसर पर अपर मुख्य सचिव राधा रतूड़ी, सचिव राधिका झा, पुलिस महानिदेशक अशोक कुमार, महानिदेशक सूचना एवं परिवहन आयुक्त रणवीर सिंह चौहान, अपर सचिव सी. रविशंकर, महानिदेशक स्वास्थ्य के साथ ही सम्बन्धित विभागों के अधिकारी उपस्थित रहे।

बिना पंजीकरण के वापस लौटेंगे श्रद्धालु, इस लिए इस नियम का करें पालन

चार धाम यात्रा पर जाने के इच्छुक यात्रियों को यह सलाह दी जाती है कि यात्रा के दौरान किसी प्रकार की अव्यवस्था से बचने के लिए उपलब्ध स्लॉट के अनुसार पंजीकरण करवाने के उपरांत ही अपना टिकट और आवास बुक करें। अगले 7 दिनों की अवधि हेतु चारों धामों के सभी स्लॉट बुक होने के चलते यात्रा के लिए काउन्टर पर पंजीकरण उपलब्ध नहीं है। जैसे ही पंजीकरण के स्लॉट उपलब्ध होंगे, वैसे ही श्रद्धालुओं का पंजीकरण संभव हो सकेगा। साथ ही सभी फिजिकल ऑफलाइन काउंटर यथावत बने रहेंगे।
कुछ दिन पूर्व यह तथ्य संज्ञान में आया था कि कुछ लोग ऑफलाइन माध्यम से अगले महीनों के स्लॉट की बुकिंग कराकर उसी दिन तीर्थ यात्रियों को लेकर दर्शन के लिए रवाना हो रहे हैं। मार्ग में पुलिस द्वारा रजिस्ट्रेशन की जांच किए जाने पर ऐसे वाहनों को रोक दिया गया और तीर्थ यात्रियों को अनावश्यक परेशानी का सामना करना पड़ा। ऐसा होने के कारण धामों में क्षमता से अधिक भीड़ भी पहुंच रही थी। इससे बचने के लिए अगले 7 दिनों के भीतर वाहन क्षमता के अनुसार कोई रजिस्ट्रेशन स्लॉट उपलब्ध ना होने के कारण फिलहाल बुकिंग को अगले 7 दिनों तक के लिए बंद किया गया है, यद्यपि सभी स्थानों पर फिजिकल रजिस्ट्रेशन काउंटर यथावत बने रहेंगे और अगले 7 दिनों के भीतर यात्रा करने वाले श्रद्धालु वहन क्षमता के अनुरूप रजिस्ट्रेशन प्लॉट उपलब्ध होने की दशा में यहां से अपना पंजीकरण करवा सकेंगे।
सचिव पर्यटन दिलीप जावलकर ने बताया कि ऑफलाइन पंजीकरण का उद्देश्य अगले 7 दिनों की अवधि में यात्रा करने वाले श्रद्धालुओं को पंजीकरण की सुविधा उपलब्ध करवाना है, यद्यपि रजिस्ट्रेशन स्लॉट उपलब्ध ना होने की दशा में ऐसा कर पाना कदाचित संभव नहीं है क्योंकि इससे चार धाम मार्ग पर क्षमता से अधिक लोग पहुंच जाते हैं और पुलिस और प्रशासन को उन पर नियंत्रण पाना मुश्किल होता है। इसके अतिरिक्त स्वयं यात्रियों को भी आवास तथा वाहन की सुविधाएं नहीं मिल पाती है। उन्होंने कहा कि किसी भी दशा में ऑफलाइन पंजीकरण की सुविधा का दुरुपयोग नहीं होने दिया जाएगा।
ज्ञातव्य है कि वाहन क्षमता के अनुरूप चारधाम में श्रद्धालुओं की संख्या को नियंत्रित करने के लिए स्लॉट व्यवस्था लागू की गई है। उत्तराखण्ड पर्यटन विकास परिषद (यूटीडीबी) की ओर से ऑनलाइन और फिजिकल काउंटरों के माध्यम से तीर्थयात्रियों का पंजीकरण कराया जा रहा है। तीर्थयात्रियों को यूटीडीबी की आधिकारिक वेबसाइट पर ऑनलाइन पंजीकरण की सुविधा उपलब्ध कराने के साथ ऋषिकेश, हरिद्वार, उत्तराखंड की सीमा सहित यात्रा मार्ग पर कुल 18 से 20 केंद्रों में ऑफलाइन पंजीकरण किया जा रहा है।

श्री बदरीनाथ धाम के कपाट खुलने से चारधाम यात्रा ने पकड़ी रफ्तार

विश्व प्रसिद्ध बद्रीनाथ धाम के कपाट रविवार सुबह 6 बजकर 15 मिनट पर वैदिक मंत्रोच्चारण एवं विधि विधान के साथ श्रद्धालुओं के दर्शनार्थ के लिए खोल दिए गए। ग्रीष्मकाल के छह माह अब श्रद्धालु भगवान बद्रीविशाल के दर्शन व पूजा अर्चना बद्रीनाथ मंदिर में कर सकेंगे। कपाटोद्घाटन के अवसर पर मंदिर को भव्य रूप से गेंदे के फूलों से सजाया गया था। सेना के बैंड की भक्तिमय धुनों एवं जय बद्रीविशाल के जयकारों के साथ देश-विदेश से आये हजारों श्रद्धालु कपाट खुलने के साक्षी बने। श्री बद्रीनाथ मंदिर के कपाट खुलते ही चारधाम की यात्रा विधिवत शुरू हो गई है। उल्लेखनीय है कि 3 मई को श्री गंगोत्री व श्री यमुनोत्री धाम औऱ 6 मई को श्री केदारनाथ धाम के कपाट श्रद्धालुओं के दर्शनार्थ के लिए खोले गए। दो साल कोविड के कारण चारधाम यात्रा प्रभावित रही। लेकिन इस बार कपाट खुलने के दौरान से ही भारी संख्या में श्रद्धालु व भक्तगण चार धामों में पहुंचे है तथा यह सिलसिला लगातार जारी है। बद्रीनाथ धाम में कपाटोद्घाटन के अवसर पर श्रद्धालु व भक्तजन देर रात से ही भगवान बद्रीविशाल के दर्शन करने हेतु कतार पर अपनी बारी का इंतजार कर रहे थे। कपाट खुलते ही श्रद्धालुओं द्वारा बारी बारी से भगवान बद्रीविशाल के दर्शन किये।
इस अवसर पर श्री बद्रीनाथ धाम के मुख्य पुजारी रावल ईश्वर प्रसाद नंबूदरी, नायब रावल अमरनाथ नंबूदरी, धर्माधिकारी आचार्य भुवन चंद्र उनियाल, बद्री केदार मंदिर सामिति के अध्यक्ष अजेंद्र अजय, उपाध्यक्ष किशोर पंवार, विधायक बद्रीनाथ राजेन्द्र भंडारी, पूर्व विधायक महेंद्र भट्ट, डीजीपी अशोक कुमार, आशुतोष डिमरी, वीरेंद्र असवाल, हरीश सेमवाल, जिलाधिकारी हिमांशु खुराना, एसपी श्वेता चौबे, सहित हजारों की संख्या में श्रद्धालु उपस्थित रहे।

प्रातः 6 बजकर 25 मिनट पर विधि-विधान से खुले श्री केदारनाथ धाम के कपाट

श्री केदारनाथ धाम के कपाट आज बाबा केदारनाथ की जय उदघोष के साथ आज वृष लग्न में प्रातः 6 बजकर 25 मिनट पर खुल गये है। इस अवसर पर मंदिर को भब्य रूप से नौ क्विंटल फूलों से सजाया गया था। सेना की मराठा रेजीमेंट के बैंड की भक्तिमय धुनों के साथ देश-विदेश से आये 10 हजार से अधिक श्रद्धालुजन कपाट खुलने के गवाह बने। प्रदेश के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी कपाट खुलने के साक्षी बने।
आज प्रात साढ़े चार बजे से श्री बदरीनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति ने कपाटोद्घाटन की तैयारी शुरू कर दी थी। श्री केदारनाथ-केदारनाथ मंदिर समिति के अध्यक्ष अजेंद्र अजय सहित धाम के रावल भीमाशंकर लिंग, केदारनाथ धाम के पुजारी टी गंगाधर लिंग, आयुक्त गढवाल सुशील कुमार, जिलाधिकारी मयूर दीक्षित सहित मंदिर समिति मुख्य कार्याधिकारी बी.डी. सिंह, वेदपाठी आचार्यगणों ने मंदिर के पूरब द्वार से मंदिर के सभामंडप में प्रवेश किया। पांच बजे से मंदिर के गर्भगृह के द्वार का पूजन शुरू हुआ।
श्री केदारनाथ धाम के रक्षक क्षेत्रपाल श्री भकुंट भैरव के आव्हान के साथ ठीक प्रातः6 बजकर 25 मिनट पर श्री केदारनाथ धाम के मुख्य द्वार के कपाट खोल दिये गये।
कपाट खुलते ही श्री केदारनाथ भगवान के स्वयंभू शिवलिंग को समाधि रूप से जागृत किया। कुछ ही पल बाद बाबा के निर्वाण दर्शन हुए। कुछ अंतराल में बाबा का श्रृंगार दर्शन शुरू हुए तथा प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी के नाम से पहला रूद्राभिषेक किया गया।

इस अवसर पर मंदिर को विभिन्न प्रकार के फूलों से सजाया गया तथा समस्त केदारनाथ धाम में मराठा रेजीमेन्ट के बैंड की भक्तिमय धुनों से वातावरण गुंजायमान हो रहा था। दानीदाताओं ने भंडारे आयोजित किये हेली सेवा एवं पैदल मार्ग से श्रद्धालुओं का आने का सिलसिला जारी है। प्रदेश के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी सहित पर्यटन धर्मस्व संस्कति मंत्री सतपाल महाराज ने श्री केदारनाथ धाम के कपाट खुलने के अवसर पर देश-विदेश के तीर्थयात्रियों को शुभकामनाएं दी है कहा कि श्री केदारनाथ भगवान की कृपा जनमानस पर बनी रहे। प्रदेश के मुख्यमंत्री पष्कर सिंह धामी इस अवसर पर विशेष रूप से केदारनाथ धाम दर्शन को पहुंचे है।

उल्लेखनीय है कि कपाट खुलने की प्रक्रिया के अंतर्गत श्री केदारनाथ भगवान की पंचमुखी डोली 2 मई को शीतकालीन गद्दीस्थल श्री ओंकारेश्वर मंदिर उखीमठ से पैदल मार्ग से चलकर गुप्तकाशी, फाटा, गौरीकुंड होते हुए 5 मई शाम को श्री केदारनाथ धाम पहुंची थी आज 6 मई को प्रातः श्री केदारनाथ धाम के कपाट यात्राकाल ग्रीष्मकाल 6 माह के लिए खुल गये। शनिवार को भैरवनाथ जी की पूजा के पश्चात भगवान केदारनाथ जी की आरती शुरू हो जायेगी। श्री केदारनाथ धाम के कपाट खुलने के अवसर पर श्री केदारनाथ मंदिर परिसर भक्तिमय भजनों से गुंजायमान हो रहा था।
इस अवसर पर प़कज मोदी, पूर्व विधायक मनोज रावत, मंदिर समिति सदस्य क्रमश निवास पोस्ती, आशुतोष डिमरी, सज्जन जिंदल वीरेंद्र असवाल अतिरिक्त मुख्य सचिव आनंद वर्धन, सचिव धर्मस्व हरिचंद सेमवाल, केदार सभा अध्यक्ष विनोद शुक्ला, पुलिस अधीक्षक आयुष अग्रवाल, एसडीएम जितेंद्र वर्मा, कृष्णनाथ गोस्वामी सहित मंदिर समिति प्रभारी अधिकारी आर. सी. तिवारी, गिरीश देवली, आरके नौटियाल, आचार्य ओंकार शुक्ला, यदुवीर पुष्पवान, प्रदीप सेमवाल, अरविंद शुक्ला डा. हरीश गौड़, अमित शुक्ला, विपिन तिवारी राजकुमार तिवारी आदि मौजूद रहे।

गंगोत्री और यमुनोत्री के खुले कपाट, पीएम ने नाम पर हुई पहली पूजा

अक्षय तृतीया के पावन अवसर पर गंगोत्री और यमुनोत्री धाम के कपाट खोल दिये गये हैं। इसी के साथ चार धाम यात्रा प्रारंभ हो गई है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी स्वयं गंगोत्री धाम के कपाट खुलने के अवसर पर उपस्थित रहे। पहली पूजा प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नाम से की गई। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने गंगोत्री में पूजा अर्चना की और प्रदेश वासियों की खुशहाली की कामना की। मुख्यमंत्री ने कहा कि “आज से चारधाम यात्रा विधिवत रूप से शुरू हो रही है, मैं सभी श्रद्धालुओं का उत्तराखंड देवभूमि आगमन पर स्वागत करता हूं. ये यात्रा ऐतिहासिक हो, सबकी यात्रा सरल व सुगम हो, सबके मंगल की कामना करता हूँ। हमारी सरकार सुगम एवं सुरक्षित चार धाम यात्रा हेतु वचनबद्ध है।“
मुख्यमंत्री ने फोन के माध्यम से यमुनोत्री धाम के मुख्य पुजारियों एवं वहां उपस्थित समस्त श्रद्धालुजनों को अक्षय तृतीया एवं यमुनोत्री धाम के कपाट खुलने के शुभ अवसर की शुभकामनाएं प्रेषित की।

पौराणिक भगवान भरत की शहरी विकास मंत्री ने की सपरिवार परिक्रमा

अक्षय तृतीया के पावन अवसर पर काबीना मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल ने सपरिवार ऋषिकेश नारायण भगवान भरत जी के दर्शन कर परिक्रमा की।

ऋषिकेश नारायण भगवान भरत के दर्शन और परिक्रमा करने के बाद काबीना मंत्री ने कहा कि आज बहुत शुभ दिन है। आज के दिन पौराणिक भगवान भरत जी के मंदिर की 108 परिक्रमा करने से भगवान बदरीनाथ के दर्शनों का जितना पुण्य प्राप्त होता है। उन्होंने भगवान भरत से दो वर्ष बाद संचालित चारधाम यात्रा के सकुशल होने की कामना की। साथ ही देश-प्रदेश की खुशहाली, सुख, सृमद्धि की कामना की।

महंत वत्सल प्रपन्नाचार्य महाराज ने बताया कि भरत भगवान की मूर्ति भी उसी शालीग्राम पत्थर से बनी है, जिससे बद्रीनाथ भगवान की मूर्ति बनाई गई है। इसके अलावा अक्षय तृतीया के दिन ही भरत भगवान के चरणों के दर्शन करने का सौभाग्य श्रद्धालुओं को प्राप्त होता है। अक्षय तृतीया के दिन से ही चार धाम यात्रा का विधिवत शुभारंभ हो जाता है। आज के दिन ही यमुनोत्री और गंगोत्री धाम के कपाट भी खोले जाते हैं।

इस मौके पर शशिप्रभा अग्रवाल, पीयूष अग्रवाल, श्री भरत मंदिर के प्रबंधक हर्षवर्धन शर्मा, वरुण शर्मा, मेजर गोविंद सिंह रावत, पार्षद लक्ष्मी रावत, राम कृपाल गौतम, रूपेश गुप्ता, राजपाल ठाकुर सहित कई श्रद्धालु आदि मौजूद रहे।

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