खेत में पानी छोड़ने पर दबंगों ने किसान को मारी गोली, मौत

हरिद्वार के मंगलौर कोतवाली क्षेत्र में खेत में पानी छोड़ने का विवाद खूनी खेल पर उतर आया। दबंगों ने एक किसान केखेत में पानी छोड़ दिया जिससे उसकी फसल खराब हो गई। विरोध करने पर दबंगों ने पहले तो किसान से मारपीट की और बाद में गोली मारकर हत्या कर दी। पुलिस अब आरोपियों की तलाश में जुटी हुई है।

जानकारी के मुताबिक मंगलौर कोतवाली क्षेत्र के कुंआहेड़ी गांव में 35 वर्षीय भारतवीर पुत्र ब्रजवीर अपने परिवार के साथ अपने खेतों के पास ही बनाए गए घर में रहता था। खेत के बगल से नाली गुजरती है जिसके दूसरी तरफ अन्य लोगों के खेत हैं। पड़ोसी ने अपने खेतों में सिंचाई की थी, लेकिन बाद में पानी भारत के खेतों की ओर छोड़ दिया जिससे उसकी फसल को नुकसान हो गया।

बताया जा रहा है कि भारत ने पड़ोसियों के सामने इस बात का विरोध किया। लेकिन विरोध जताने पर दूसरे पक्ष के लोग भड़ गए और मारपीट पर उतर आए। बाद में उन्होंने भारत की पीठ से तमंचा सटाकर गोली चला दी जो भारत के शरीर के आरपार हो गई। गोली की आवाज सुनकर ग्रामीण घटनास्थल की तरफ दौड़े और घायल अवस्था में उपचार के लिए रुड़की के सिविल अस्पताल लाए। जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया।

पुलिस के मुताबिक आरोपियों के खेत पीड़ित के खेत के पास हैं। जहां रात में पानी छोड़ने से कटे हुए गेहूं में पानी रिस जाने के कारण दोनों पक्षों में सुबह के समय कहासुनी हो गई थी। इसके बाद फोन पर भी दोनों पक्षों में बहसबाजी हुई। शाम के समय दोनों पक्षों में झगड़ा होने पर भरतवीर की मृत्यु हो गई। पुलिस ने मौके से लाठी-डंडे और 315 बोर तमंचे का खोखा बरामद किया है। जानकारी मिलते ही एसएसपी प्रमेंद्र सिंह डोबाल और एसपी देहात एसके सिंह ने भी मौके का मुआयना किया। एसपी देहात एसके सिंह ने बताया कि मारपीट के मामले में युवक की हत्या की गई है।

प्रधानमंत्री मुद्रा लोन के नाम पर साइबर ठगी, गिरोह का सरगना गिरफ्तार

प्रधानमंत्री मुद्रा लोन के नाम पर साइबर ठगी करने वाले साइबर ठग गिरोह के सरगना को एसटीएफ की टीम ने आखिरकार वृंदावन मथुरा से गिरफ्तार कर लिया है। गिरोह के दो सदस्यों को एसटीएफ पहले ही गिरफ्तार कर चुकी है, जबकि अन्य की तलाश जारी है। आरोपित पहले देहरादून में ही सिक्योरिटी गार्ड की नौकरी करता था जोकि साइबर ठगी करने लगा।

एसटीएफ के एसएसपी आयुष अग्रवाल ने बताया कि बीते दिनों एसटीएफ ने प्रधानमंत्री मुद्रा लोन योजना के नाम पर प्रेमनगर क्षेत्र में रहकर साइबर ठगी करने वाले दो ठगों को गिरफ्तार किया था। यह गिरोह तेलंगाना, आंध्र प्रदेश और महाराष्ट्र के निवासियों के अलावा देश भर में कई लोगों के साथ लाखों रुपए की ठगी की चुका है।

एसएसपी ने बताया कि गिरोह का मुख्य सरगना दीपक राज शर्मा तब से फरार चल रहा था, उसकी तलाश में एसटीएफ जगह-जगह दबिश दे रही थी। आज एसटीएफ के उपनिरीक्षक विपिन बहुगुणा, नरोत्तम बिष्ट व हेड कांस्टेबल देवेंद्र को सूचना मिली कि दीपक राज वृंदावन मथुरा में छिपा है, जहां आज उसे गिरफ्तार किया। गिरोह के सरगना के पास से 13 मोबाइल, सात बैंक के एटीएम कार्ड, सात सिम कार्ड, आधार कार्ड और लाखों रुपए के हिसाब किताब की 10 डायरियां बरामद हुई है।

सातवी मंजिल से कूदकर यूट्यूबर गर्वित और नंदिनी की मौत

देहरादून निवासी यूट्यूबर गर्वित गैरी ने बहादुरगढ़ में लिव इन पार्टनर नंदिनी को सातवीं मंजिल पर स्थित फ्लैट की बालकनी से धक्का देने के बाद खुद भी कूदकर आत्महत्या कर ली। जिससे दोनों की मौके पर ही मौत हो गई। यूट्यूबर गर्वित के पिता सूबेदार सिंह उत्तराखंड पुलिस में एएसआइ हैं और वर्तमान में देहरादून में सीओ सिटी के चालक हैं। आज सुबह परिवार को फोन आया कि गर्वित ने नंदिनी के साथ बिल्डिंग से कूदकर आत्महत्या कर ली है।

हरियाणा के बहादुरगढ़ में आत्महत्या करने वाले देहरादून निवासी गर्वित को शुक्रवार रात फोन काल आई और वह बहादुरगढ़ के लिए निकल गया। शनिवार सुबह लगभग पांच बजे वह बहादुरगढ़ पहुंचा तो उसने फोन पर अपने पिता को पहुंचने की जानकारी भी दी। इसके कुछ समय बाद ही उसकी मौत की सूचना आ गई। इसके बाद गर्वित और नंदिनी के परिवार वाले एकसाथ बहादुरगढ़ के लिए रवाना हो गए।

बहादुरगढ़ में लिव इन पार्टनर नंदिनी को सातवीं मंजिल पर स्थित फ्लैट की बालकनी से धक्का देने के बाद खुद भी कूदकर आत्महत्या करने वाले यूट्यूबर गर्वित के पिता सूबेदार सिंह उत्तराखंड पुलिस में एएसआइ हैं और वर्तमान में देहरादून में सीओ सिटी के चालक हैं।

सूबेदार सिंह शिमला बाईपास रोड स्थित दून एन्क्लेव में रहते हैं। उनका बड़ा बेटा भी पुलिस में है और प्रयागराज (उत्तर प्रदेश) में तैनात है। गर्वित छोटा बेटा था। वह पढ़ाई पूरी करने के बाद यूट्यूबर बन गया।

काफी समय से वह तपोवन (रायपुर) क्षेत्र की रहने वाली नंदिनी के साथ देहरादून में ही लिव इन में रहता था। नंदिनी भी उसके साथ ही काम करती थी। दोनों के लिव इन में रहने की जानकारी परिवार वालों को भी थी।

पड़ोसियों ने बताया कि गर्वित तीन दिन पहले ही घर आया था। बताया जा रहा है कि शुक्रवार रात को गर्वित के मोबाइल पर फोन आया था। फोन सुनने के बाद उसने परिवार वालों से कुछ नहीं कहा और बहादुरगढ़ के लिए निकल गया। परिवार वालों ने ही उसे आइएसबीटी तक छोड़ा था।

जानकारी के अनुसार, गर्वित सुबह करीब पांच बजे बहादुरगढ़ पहुंचा और इसकी जानकारी स्वजन को दी। आज सुबह करीब आठ बजे परिवार को फोन आया कि गर्वित ने बहादुरगढ़ में नंदिनी के साथ बिल्डिंग से कूदकर आत्महत्या कर ली है।

नंदिनी वेब सीरीज व थिएटर में कर चुकी है काम
नंदिनी कश्यप का घर रायपुर रोड स्थित शांति विहार, विकास पुरम में है। उसके पिता प्रापर्टी डीलर हैं, जबकि उसकी एक छोटी बहन और एक भाई है। सूचना के बाद नंदिनी के पिता व परिवार के अन्य सदस्य भी गर्वित के घर पहुंच गए थे। दोनों परिवारों के लोग एकसाथ बहादुरगढ़ के लिए निकल गए।

बताया जा रहा है कि दोनों परिवार नंदिनी और गर्वित के रिश्ते से नाराज नहीं थे, इसके बावजूद उन्होंने आत्महत्या क्यों की, इसका कारण किसी को नहीं पता। बताया जा रहा है कि नंदिनी को फिल्म इंडस्ट्रीज का शौक था। कम उम्र में ही उसने वेबसीरीज और थिएटर में काम करना शुरू कर दिया। वेबसीरीज में काम करने मुंबई भी जा चुकी थी।

ज्वैलरी शोरूम में हुई लूट की घटना पर पुलिस के आला अधिकारियों की लगी क्लास

देहरादून में कल एक ज्वैलरी शोरूम में हुई लूट की वारदात को लेकर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने आज पुलिस महानिदेशक और एसएसपी देहरादून को तलब कर स्थिति की समीक्षा की और मामले के शीघ्र खुलासे के निर्देश दिये हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि वारदात में जिन भी लोगों का हाथ है उन्हें जल्द से जल्द पकड़ा जाए। उन्होंने कहा कि कानून व्यवस्था में किसी भी तरह की कोताही बर्दाश्त नहीं कि जाएगी। हमारा प्रदेश एक शांति प्रिय प्रदेश है और क़ानून व्यवस्था की स्थिति को यहाँ किसी भी दशा में बिगड़ने नहीं दिया जाएगा। उन्होने यह भी कहा कि इस बात की भी तह तक जाना चाहिए कि घटना कैसे घटित हुई? कहां कमी रह गई तथा इसके लिए कौन ज़िम्मेदार है? भविष्य में इस तरह की घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो यह भी सुनिश्चित किया जाये।

महिला सहित दो लोग सेक्स रैकेट के आरोप में गिरफ्तार

देहरादून में पुलिस की सख्ती के बावजूद स्पा सेंटर की आड़ में सेक्स रैकेट के धंधे फल फूल रहे हैं। राजधानी के स्पा सेंटर में छापा मारकर पुलिस ने सेक्स रैकेट चलाने के आरोप में सेंटर की महिला मैनेजर तथा एक पुरुष को गिरफ्तार किया जबकि स्पा सेंटर का मालिक फरार है। पुलिस ने तीन पीड़िताओं को रेस्क्यू किया। लड़कियों ने बताया कि पैसों का लालच देकर उन्हें देह व्यापार में धकेला गया था।

देहरादून एसएसपी को नगर क्षेत्र के कुछ स्पा सेंटरों में अनैतिक कार्य किये जाने की गोपनीय सूचना प्राप्त हुई थी, जिस पर उनके द्वारा तत्काल एंटी ह्यूमन ट्रैफेकिंग फोर्स टीम को उक्त स्थानों की आकस्मिक चेकिंग कर आवश्यक वैधानिक कार्रवाई करने निर्देश दिए गए। उक्त आदेशों के क्रम में दिनाँक बुधवार शाम ।भ्ज्न् की टीम ने चकराता रोड़ स्थित स्पा सेंटरो की आकास्मिक चेकिंग की। चेकिंग के दौरान टीम को बिंदाल क्षेत्र स्थित क्राउन टावर में डिलाइट स्पा सेंटर पर मसाज की आड़ में एक कमरे में एक महिला व एक पुरूष अनैतिक देह व्यापार में संलिप्त मिले, साथ ही तीन अन्य महिलाये भी उक्त स्पा सेंटर में मौजूद मिली, स्पा सेंटर की तलाशी में वहां से कई आपत्तिजनक चीज़े प्राप्त हुई। जिस पर पुलिस टीम द्वारा मौके से स्पा सेंटर की महिला मैनेजर तथा एक पुरुष को अनैतिक देह व्यापार अधि0 के तहत गिरफ्तार किया तथा तीन पीड़ित महिलाओ को रेस्क्यू किया गया।

पूछताछ में जानकारी सामने आई कि स्पा सेंटर का मालिक सहारनपुर निवासी मनोज कुमार महिलाओं को रुपयों का लालच देकर अपने स्पा सेंटर की आड़ में काफी समय से अनैतिक देह व्यापार का काम करा रहा है। इस काम के लिए उसके द्वारा एक महिला मैनेजर इरम को रखा गया था, जो आने वाले ग्राहकों को मसाज के साथ एक्सट्रा सर्विस के बारे में भी बताती थी तथा ग्राहकों से स्पा में रूम के 800 से 1000 रुपया लेती थे, इसके बाद ग्राहक की पसंद पर लड़की को रूम पर भेजा जाता था और ग्राहको से एक्स्ट्रा सर्विस के एवज में 2000 से 4000 रुपये तक लिए जाते थे। उक्त सारा लेन देन का काम मैनेजर इरम द्वारा देखा जाता था।

पुलिस ने आरोपियों की पहचान इरम उर्फ आंचल निवासी ग़ांधी रोड देहरादून जबकि मौहम्मद अमीर निवासी इनामुल्ला बिल्डिंग तहसील देहरादून के रूप में कराई। वहीं, मनोज कुमार निवासी सोरणा जिला सहारनपुर पुलिस की दबिश से भागने में कामयाब रहा।

चार लाख की चोरी का पुलिस ने किया खुलासा, दो आरोपी दबोचे

कोतवाली पुलिस ने ज्वेलर्स के यहां चोरी करने वाले एक महिला व एक पुरुष को गिरफ्तार किया है। सरत सिंह पवार पुत्र बलबीर सिंह पवार निवासी प्रगति पुरम लक्कड़ घाट रोड श्यामपुर ऋषिकेश ने तहरीर देकर बताया कि उनकी लक्कड़ घाट रोड स्थित ज्वेलरी की दुकान में अज्ञात व्यक्तियों द्वारा लगभग चार लाख की ज्वेलरी चोरी कर दी गई थी।
पुलिस ने मुखबिर की सूचना पर मनसा देवी फाटक के पास से एक महिला एवं एक पुरुष अभियुक्त को चोरी में प्रयुक्त कार के साथ गिरफ्तार किया है। अभियुक्तों ने पूछताछ में बताया कि हम लोग ज्वेलरी की दुकान में सामान लेने के बहाने गहने आदि चोरी करते हैं ,उनके द्वारा कुछ दिन पहले भी श्यामपुर में एक दुकान से इसी तरह ज्वेलरी चोरी की गई थी आज हम इस ज्वेलरी को लेकर कहीं बेचने की फिराक में जा रहे थे, की उन्हें पुलिस ने पकड़ लिया ।अभियुक्तगण की पहचान रोहित उर्फ नन्हे पुत्र राम सिंह निवासी आजाद नगर थाना गजरौला जिला अमरोहा उत्तर प्रदेश, सुनीता पत्नी राजकुमार निवासी अब्दुल्ला बाड़ा थाना बिलारी जिला मुरादाबाद उत्तर प्रदेश के रूप में हुई है।
पुलिस टीम में प्रभारी निरीक्षक केआर पांडेय, वरिष्ठ उप निरीक्षक दर्शन प्रसाद काला, उप निरीक्षक जगत सिंह, चौकी प्रभारी श्यामपुर हेड कांस्टेबल अमित राणा, नीरज कुमार, शीशपाल, दुष्यंत, महिला कांस्टेबल कविता व एसओजी देहात टीम में उप निरीक्षक दीपक धारीवाल, प्रभारी एसओजी देहात, कांस्टेबल नवनीत, एसओजी देहात, महिला कांस्टेबल जमुना, एसओजी देहात शामिल थे ।

महिला अधिवक्ता ने आईडीपीएल चौकी सस्पेंड करने की मांग की

महिला एडवोकेट भावना जोशी ने मीडिया के सामने नौ अगस्त की रात की आपबीती सुनाई। कहा कि एक फिल्म की शूटिंग कर रहे फिल्म निर्देशक पूरी टीम के साथ एक होटल में ठहरे हुए थे। होटल मालिक के साथ उनका विवाद हुआ। वकील होने के नाते उन्होंने उनसे संपर्क किया। उन्होंने फिल्म निर्देश को पुलिस से शिकायत करने की सलाह दी। उन्होंने ऐसा किया तो पुलिस होटल से उन्हें ही उठा ले आई और उनके साथ चौकी में दुर्व्यहार किया। इस पर देर रात वो चौकी पहुंची और पुलिस को परिचय देते हुए न्याय करने की मांग की।
उन्होंने आरोप लगाया कि रात में पुलिस कर्मी बगैर वर्दी के चौकी में थे और शराब पीए हुए थे। इन हरकतों पर सवाल उठाना पुलिस के चौकी प्रभारी और पुलिस कर्मियों को नागवार गुजरा। पुलिस ने उनके साथ दुर्व्यवहार करना शुरू कर दिया। एडवोकेट भावना जोशी ने कहा कि पुलिस की हरकतों का वीडियो बनाने पर फिल्म निर्देशक और उनके पति के साथ दो पुलिस कर्मियों ने मारपीट की और मेडिकल कराने के नाम पर एक जीप में ले गए। उन्होंने इसका विरोध किया तो उनके साथ भी हैंडलिंग की गई। उन्होंने पुलिस कर्मियों को बताया कि वो गर्भवती हैं बावजूद पुलिस का रवैया नहीं बदला। बाद में उनका भी ये कहकर मेडिकल कराया गया कि वो नशे में हैं। मेडिकल में स्पष्ट हो गया कि पुलिस झूठ बोल रही थी। कहा पुलिस को कुछ नहीं मिला तो सरकारी कार्य में बाधा डालने में चालान किया गया।
एडवोकेट भावना ने बताया उन्हें उम्मीद नहीं थी कि देवभूमि उत्तराखंड में पुलिस का ऐसा रवैया हो सकता है। उन्होंने कहा कि पुलिस प्रमुख से शिकायत के बाद चौकी प्रभारी लाइन हाजिर हुए हैं। ये कोई सजा नहीं है। उन्होंने कहा कि पूरी पुलिस चौकी को पहले सस्पेंड और जांच के बाद बर्खास्त किया जाना चाहिए। उन्होंने सवाल उठाया कि आखिर पुलिस एक महिला के साथ ऐसा दुर्व्यवहार कैसे कर सकती है। अपनी कमियों को छिपाने के लिए पुलिस इस मामले को दूसरा रंग देने का प्रयास कर रही है।
उन्होंने बेहद भावुक होकर कहा कि उन्हें कतई उम्मीद नहीं थी कि उनके राज्य की पुलिस की कार्य प्रणाली ऐसी है। इस दौरान उन्होंने पुलिस पर कई गंभीर आरोप लगाए। इस मौके पर अनिल रतूड़ी, सुशील रणाकोटी आदि मौजूद थे।

चोरी के सामान के साथ एक गिरफ्तार, एक फरार

ऋषिकेश कोतवाली क्षेत्र के अंतर्गत हार्डवेयर दुकान से रात के समय कीमती सामान चोरी करने पर पुलिस ने एक युवक को मोटरसाइकिल सहित लंढोरा हरिद्वार से गिरफ्तार किय है, जबकि एक युवक पुलिस की गिरफ्त से भागने में कामयाब रहा।

कोतवाल खुशीराम पांडेय ने बताया कि देवेंद्र बेलवाल पुत्र उमाकांत बेलवाल निवासी ग्राम खदरी ऋषिकेश ने तहरीर देकर बताया कि 4 जून 2023 की रात को उनकी श्यामपुर स्थित उमा हार्डवेयर की दुकान से एस्सेल, कजारिया, रेडवे, स्केच बाय कंपनी के टोंटी, वॉल मिक्सर, सिंगल लीवर, अन्य सामान चोरी हो गए है। पुलिस ने मामले का संज्ञान लेते हुए अज्ञात के खिलाफ चोरी की विभिन्न धाराओं में मुकदमा दर्ज किया।

कोतवाल ने बताया कि घटना स्थल तथा आसपास के सभी सीसीटीवी कैमरे खंगालने तथा मुखबिर की सूचना के आधार पर एक आरोपी को गिरफ्तार गिया गया है। उन्होनंे बताया कि आरोपी चोरी किए गए सामान को बेचने के लिए जा रहा था।

कोतवाल ने आरोपी की पहचान शेर खान पुत्र पुन्ना निवासी भुज्जाहेडी थाना पुरकाजी जिला मुजफ्फरनगर उत्तर प्रदेश के रूप में कराई है, बताया कि आरोपी से 02 वॉश बेसिन टौंटी रेडवे कंपनी, 10 एंगल कॉक रेडवे कंपनी, 12 टौंटी रेडवे कंपनी, 02 वॉश बेसिन टौंटी एस्सेल कंपनी मय पीवीसी कनेक्शन, 04 मिक्सर मय सेट एस्सेल कंपनी, 10 टौंटी छोटी बड़ी एस्सेल कंपनी, 10 एंगल बेसिन एस्सेल कंपनी, एक मोटरसाइकिल बरामद की है।
जबकि पुलिस की नजरों से भागने में वसीम पुत्र बूंदू निवासी खड़का वाला थाना पुरकाजी जिला मुजफ्फरनगर उत्तर प्रदेश कामयाब रहा।

सीएम के निर्देश पर पीड़ित परिवार को मिला अपना मनचाहा वकील, आदेश जारी

अदालत में अंकिता भंडारी हत्याकांड मामले की पैरवी के लिए सरकार ने अधिवक्ता अवनीश नेगी को सरकारी वकील नियुक्त किया है। अंकिता के पिता वीरेंद्र सिंह भंडारी की इच्छा से नए वकील की नियुक्ति की है। इस संबंध में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की संस्तुति के बाद शासन ने आदेश जारी कर दिये हैं।
सरकार ने इस मामले में सरकारी वकील (विशेष लोक अभियोजक) अंकिता के पिता की पसंद का नियुक्त किया है। पूर्व में अंकिता हत्याकांड में सरकार की ओर से जितेंद्र रावत को सरकारी वकील नियुक्त किया गया था, लेकिन अंकिता के परिजनों ने सरकारी वकील पर आरोप लगाया था कि वह अदालत में मामले की कमजोर पैरवी कर रहे हैं।
मामला संज्ञान में आने के बाद मुख्यमंत्री ने अपर निजी सचिव जगदीश चन्द कांडपाल को डीएम पौड़ी से अंकिता के परिजनों से मुलाकात कर उनकी इच्छा के अनुरुप मदद और कार्रवाई करने के निर्देश दिये गये थे। डीएम ने अंकिता के परजिनों को मुख्यमंत्री के द्वारा दिये गये निर्देश से अवगत कराया और आप्शन दिये। उनका वकील बदलने और उनके अनुसार वकील रखने। डीएम ने वकील का पूरा खर्च सरकार द्वारा वहन करने की बात भी कही।
इसके बाद 19 जुलाई 2022 को अंकिता के पिता वीरेंद्र सिंह भंडारी ने जिलाधिकारी डॉ. आशीष चौहान को पत्र लिखकर इच्छा जताई कि वह इस मामले में अवनीश नेगी पूर्व डीजीसी क्रिमिनल को विशेष लोक अभियोजन नियुक्त किया जाए। जिलाधिकारी ने इस पत्र को शासन की अनुमति के लिए भेजा था। मुख्यमंत्री की हरी झंडी के बाद शासन ने अंकिता के पिता की इच्छा के अनुसार ही अवनीश नेगी को सरकारी वकील नियुक्त किया है।
अब वे इस मामले की अदालत में पैरवी करेंगे। बता दें कि अंकिता हत्याकांड को लेकर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी शुरू से एक्शन मोड में नजर आए। पहले मामले की जानकारी मिलते ही मुख्यमंत्री धामी ने इस मुकदमे को राजस्व पुलिस से रेगुलर पुलिस को ट्रांसफर कराया। साथ ही परिजनों के साथ अभिभावक की तरह खड़े रहे और परिवार को 25 लाख की आर्थिक सहायता भी प्रदान की। सरकार की ओर से तत्काल एसआईटी गठित की गई। विपक्ष ने एसआईटी के बजाय मामले की जांच सीबीआई को सौंपने की मांग लेकर हाईकोर्ट में याचिका दायर की। जिसे हाईकोर्ट ने खारिज किया।

सवा चार लाख नगदी और ब्लैंक चेक के साथ भाजपा नेता संजय धारीवाल गिरफ्तार

पेपर लीक कांड में फरार चल रहे 50,000 के इनामी पूर्व भाजपा नेता संजय धारीवाल को आखिरकार एसआइटी ने गिरफ्तार कर ही लिया। उसके कब्जे से सवा चार लाख की नकदी और दो ब्लैंक चेक बरामद हुए हैं।

उत्तराखंड लोक सेवा आयोग की पटवारी और जेई एई भर्ती परीक्षा का पेपर लीक करने के मामले में नारसन के मोहम्मदपुर गांव का प्रधान व भाजपा का पूर्व मंगलौर मंडल अध्यक्ष संजय धारीवाल एसआइटी की पकड़ से लगातार फरार चल रहा था। उसकी गिरफ्तारी पर आइजी गढ़वाल करण सिंह नागन्याल ने 50 हजार का इनाम घोषित किया था।
वहीं एसआइटी कुर्की से पहले मुनादी की कार्रवाई अंजाम दे चुकी थी। जबकि कुर्की के लिए भी कोर्ट में प्रार्थना पत्र दिया जा चुका था। कोर्ट से हरी झंडी मिलने पर किसी भी दिन कुर्की की कार्रवाई की जानी थी। दूसरी तरफ एसआइटी की एक टीम शिद्दत से संजय धारीवाल की तलाश में जुटी थी। मुखबिर से सूचना मिलने पर एसआइटी की टीम ने नारसन क्षेत्र से संजय धारीवाल को गिरफ्तार कर लिया।

एसएसपी अजय सिंह ने इसकी जानकारी देते हुए बताया कि संजय धारीवाल की निशानदेही पर अभ्यर्थियों को नकल स्थलों तक लाने व परीक्षा केन्द्रों तक ले जाने में इस्तेमाल किए गए वाहन एचआर 75 दृ5692 को मौहम्मदपुर जट हरिद्वार स्थित घर से बरामद किया गया। जबकि संजय धारीवाल के भाई सुधीर के करनाल हरियाणा स्थित मकान से कुल 4.25 लाख व दो ब्लैक चौक बरामद किए हैं।

इस धनराशि में से एक लाख दस हजार रुपये पटवारी भर्ती और तीन लाख पन्द्रह हजार रुपये व दोनों चौक एई /जेई भर्ती से सम्बन्धित छात्रों से लिए गए थे। आरोपित के भाई सुधीर व बहन के दामाद दीपेन्द्र पंवार उर्फ सोनू निवासी मुकन्दरपुर थाना गदरपुर जिला उधमसिंह नगर (कोचिंग संचालक) को पूर्व में ही गिरफ्तार किया जा चुका है। दोनों अभियोगों पटवारी और जेई-एई में वर्तमान तिथि तक कुल 38 आरोपी गिरफ्तार किये जा चुके हैं। जांच अभी चल रही है।