त्रिवेंद्र रावत के नेतृत्व में भाजपा ने उत्तराखंड से किया वादा निभायाः बंशीधर भगत

भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत ने कांग्रेस पार्टी के नेताओं की आलोचना की है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस हर समय राजनीति करती है। अच्छे निर्णयों को लेकर जहां कांग्रेस को सरकार की पीठ थपथपानी चाहिए। कांग्रेस वहां भी लोगों को गुमराह करने का कार्य कर रही है। उन्होंने कहा कि गैरसैंण सवा करोड़ उत्तराखण्डियों की भावनाओं में है। प्रदेश के सभी लोग चाहते हैं कि गैरसैंण को लेकर जो सपना हमारे राज्य आंदोलनकारियों ने देखा था, वो आज पूरा हो रहा है। भारतीय जनता पार्टी गैरसैंण को लेकर सदैव सकारात्मक रही है, यही वजह है कि हमारे घोषणापत्र में गैरसैंण प्रमुखता से था। मुझे खुशी है कि त्रिवेंद्र रावत के नेतृत्व में भाजपा की सरकार ने उत्तराखण्ड के लोगों से किया वादा निभाया है। मैं प्रदेश सरकार, राज्य के समस्त जनता और आंदोलनकारियों को बहुत बहुत बधाई देता हूँ।
बंशीधर भगत ने कहा कि गैरसैंण को प्रदेश की ग्रीष्म राजधानी ऐसे समय बनाया गया है, जब न तो चुनाव हैं, न किसी तरह की मजबूरी है। हमारी पार्टी के प्रयास होता है कि जनभावनाओं को सर्वोपरि रखा जाय, उसी दिशा में ये कदम बढ़ाया गया है।
उत्तराखण्ड के सृजन से लेकर अब तक भाजपा की सरकारों ने इस पर्वतीय प्रदेश के लिए दिल खोलकर, बिना नफा नुकसान की परवाह किये काम किया है। याद कीजिये उत्तराखण्ड का सृजन स्व. अटल जी ने ही किया था। यही नहीं प्रदेश में आज जो औद्योगिक ढांचा है उसके लिए अटल जी की सरकार ने ही विशेष पैकेज दिया था, हालांकि बदकिस्मती से कांग्रेस की सरकार ने इस विशेष पैकेज को खत्म कर दिया था। आज के दौर में भी मोदी जी का उत्तराखण्ड के प्रति लगाव किसी से छिपा नहीं है। ऑल वेदर रोड, पहाड़ पर रेल लाइन, केदारपुरी का कायाकल्प, ये सारे काम भाजपा की सरकारों द्वारा ही संभव थे। गैरसैंण को ग्रीष्म राजधानी घोषित करना भी इसी विकास यात्रा का एक महत्वपूर्ण पड़ाव है। 
मगर ये बहुत बड़ा दुर्भाग्य है कि कांग्रेस अब इस मुद्दे पर राजनीति कर रही है। कांग्रेस की सरकारों ने 10 साल राज किया लेकिन गैरसैंण पर कोई ठोस फैसला नहीं ले पाए, और जब भाजपा की सरकार ने ये ऐतिहासिक कदम उठाया तो कांग्रेस जनता को गुमराह करने लगी है। उन्होंने कहा कि मैं कांग्रेस नेतृत्व से पूछता हूँ, आखिर जब सरकार में थे तब क्यों सोए रहे? तब आपने जनभावना का अपमान क्यों किया? सच तो ये है कि कांग्रेस चाहती है नहीं है कि गैरसैंण की तरफ कदम आगे बढ़ाए जायँ, हां इनके नेता ढोंग करने, धरना देने जरूर वहां पहुंच जाते हैं। और जब जनभावनाओं के सम्मान की बात आती है तो ये पीछे हट जाते हैं।

रामगंगा पर बनने वाले बांध का डिजाइन को लेकर सीएम ने दिए अधिकारियों को निर्देश

मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने शुक्रवार को गैरसैंण में बनने वाली चौरड़ा झील का स्थलीय निरीक्षण किया। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए कि गैरसैंण में पेयजल की व्यवस्थाओं के लिए सुनियोजित प्लानिंग की जाए। ग्रीष्मकालीन राजधानी बनने के बाद गैरसैंण एवं उसके आस-पास के क्षेत्रों में सम्भावित आबादी वृद्धि के अनुरूप पेयजल की व्यवस्था की जानी है। रामगंगा पर जो चौरड़ा झील बनायी जा रही है, इस झील से 2070 तक अर्थात अगले 50 साल तक 31 हजार की आबादी को पेयजल आपूर्ति होगी। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिये कि रामगंगा पर बनने वाले बांध का डिजायन इस तरह तैयार किया जाये कि भविष्य में इससे पेयजल की क्षमता में और वृद्धि हो सके।

मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र ने कहा कि इस झील का निर्माण पूर्ण होने से गैरसैंण, भराड़ीसैंण एवं उनके आस-पास के क्षेत्रों में पूर्ण ग्रेविटी का जल उपलब्ध होगा। गैरसैंण में पेयजल की पर्याप्त व्यवस्था हो इसके लिए उन्होंने अधिकारियों को अन्य विकल्प भी तलाशने के निर्देश दिये। मुख्यमंत्री ने कहा कि इस बांध की टेंडर प्रक्रिया अप्रेल 2020 में की जायेगी। उसके बाद जल्द कार्य भी शुरू कर दिया जायेगा।