पिता और पुत्र को मारपीट के मामले में कोर्ट ने सुनाई एक-एक साल की सजा

मारपीट के एक मामले में न्यायिक मजिस्ट्रेट ऋषिकेश आलोक राम त्रिपाठी की अदालत ने आरोपी पिता और पुत्र को दोषी पाते हुए एक-एक साल के सश्रम कारावास की सजा सुनाई है। साथ ही 1500-1500 रुपये का अर्थदंड भी लगाया है। अर्थदंड न देने पर दोनों को एक माह का अतिरिक्त सश्रम कारावास भुगतना होगा।

मामला 11 अगस्त 2016 का है। बताया गया कि वादी जीत बंधन फल लेने के लिए बड़ी सब्जी मंडी गए थे। यहां पर सुरेश गुप्ता से किसी बात पर कहासुनी हो गई। इसके बाद दोपहर करीब डेढ़ बजे वादी को तारामाता मंदिर मायाकुंड के समीप सुरेश गुप्ता और उसका पुत्र आशीष गुप्ता मिल गए। आरोप था कि दोनों पिता और पुत्र ने वादी के साथ जमकर मारपीट की। इस कारण वादी के मुंह पर चार टांके आए और दो दांत भी टूट गए। वादी की तहरीर के आधार पर पुलिस ने पिता-पुत्र के खिलाफ मुकदमा पंजीकृत कर जांच के बाद चार्जशीट न्यायालय न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत में दाखिल की।

इस मामले में राज्य की ओर से सहायक अभियोजन अधिकारी राकेश चंद ने मजबूत पैरवी की। इसके आधार पर न्यायाधीश आलोक राम त्रिपाठी ने आरोपी सुरेश गुप्ता पुत्र बनारसी तथा आशीष गुप्ता पुत्र सुरेश गुप्ता को दोषी पाया। उन्होंने दोषी पिता और पुत्र को एक-एक वर्ष के सश्रम कारावास की सजा सुनाई है। साथ ही 1500-1500 रुपये का अर्थदंड भी लगाया।

उधार के रूपए वापस मांगना पड़ा भारी, बंधक बनाकर पीटा हुआ दर्ज मुकदमा

थाना लक्ष्मणझूला क्षेत्रांतर्गत दिल्ली निवासी युवक को उधार दिए रुपये वापस मांगना भारी पड़ गया। युवक को न सिर्फ दूसरे पक्ष ने बंधक बनाया बल्कि मारपीट कर जान से मारने की धमकी तक दे डाली। पीड़ित ने थाने में तहरीर देकर अपनी व्यर्था सुनाई तो पुलिस ने तहरीर के आधार पर आरोपी के खिलाफ संबंधित धाराओं में मुकदमा दर्ज कर लिया है।

जानकारी के अनुसार, चन्द्र नगर, केशवपुरम नई दिल्ली निवासी राजकुमार बेनीवाल पुत्र नत्थू सिंह से शरद चंद मिश्रा नामक युवक ने पिछले वर्ष एक लाख रुपये उधार लिए थे। बार-बार बात टालने पर पीड़ित राजकुमार उसके स्वर्गाश्रम जौंक स्थित कार्यालय पहुंचा और उधार लिए एक लाख रुपये वापस मांगे।

पीड़ित का आरोप है कि शरद चंद मिश्रा ने अपने कार्यालय में उन्हें बंधक बनाया और मारपीट की। जब उन्होंने इसका विरोध किया तो जान से मारने की धमकी दी। पीड़ित राजकुमार की तहरीर पर लक्ष्मणझूला पुलिस ने आरोपी शरद चंद मिश्रा के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है। थानाध्यक्ष लक्ष्मणझूला राकेन्द्र सिंह कठैत ने बताया कि मुकदमा दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दी गई है।

मोबाइल प्रचून शॉप पर संदिग्ध परिस्थितियों में लगी आग, सामान खाक

ऋषिकेश एम्स मार्ग पर मोबाइल वैन में प्रचुन की दुकान में संदिग्ध परिस्थितयों में आग लग गई। इससे दुकान के अंदर रखा ढाई लाख रूपए का सामान जलकर खाक हो गया। पीड़ित पक्ष ने अज्ञात के खिलाफ तहरीर दी है।

जानकारी के मुताबिक, वैदिक नगर रायवाला निवासी गुड्डू गुप्ता पुत्र वेसन गुप्ता एम्स मार्ग पर पिछले तीन वर्ष से मोबाइल वैन पर कैन्फैक्शनरी की दुकान लगा रहे थे। रोज की तरह बृहस्पतिवार की रात करीब साढ़े आठ बजे गुड्डू गुप्ता अपनी दुकान बंद करके घर चले गए। शुक्रवार सुबह करीब साढ़े छह बजे पड़ोसी दुकानदार का उन्हें फोन आया। फोन पर उन्हें बताया गया कि उनकी दुकान में आग लगने से सारा सामान जलकर राख हो गया है। साथ ही दुकान का ताला भी टूटा हुआ है। सूचना पाकर गुड्डू घटनास्थल पहुंचे और मामले में आईडीपीएल पुलिस को तहरीर दी।
तहरीर में उन्होंने असामाजिक तत्वों की ओर से उनकी दुकान को आग लगाने की बात कही है। उन्होंने आरोप लगाया है कि जानबूझ कर उनकी दुकान को निशाना बनाया गया है, जबकि आसपास की किसी भी दुकान को कोई नुकसान नहीं पहुंचा है। उन्होंने तहरीर में आग लगने से करीब ढाई लाख रुपये के नुकसान की बात कही है। वहीं, पुलिस ने तहरीर के आधार पर जांच शुरू कर दी है।

वहीं,
रोडवेज बस रानीपोखरी के भोगपुर स्थित एक खाली प्लॉट पर खड़ी हुई थी। शुक्रवार सुबह करीब सात बजे रोडवेज बस में संदिग्ध परिस्थितियों में आग लग गई। मौके पर अग्निशमन कर्मचारी पहुंचे और करीब 10 मिनट की मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया। थानाध्यक्ष रानीपोखरी राकेश शाह ने बताया कि उक्त रोडवेज बस भोगपुर से देहरादून वाया थानों रूट पर चलती है। बताया कि फिलहाल आग लगने के कारणों का पता नहीं चल सका है। इसकी जांच की जा रही है। वहीं, चालक दिनेश रावत पुत्र पूरन सिंह रावत निवासी इठारना, भोगपुर ने बताया कि वह बृहस्पतिवार की रात्रि बस को खाली प्लॉट में खड़ा कर घर चला गया था।

चोरी के वाहन के साथ शातिर हिस्ट्रशीटर गिरफ्तार

रायवाला थानाध्यक्ष हेमंत खंडूरी ने बताया कि बीती छह जनवरी को सत्यपाल सिंह पुत्र दिगंबर सिंह निवासी छिद्दरवाला ने थाना आकर वाहन चोरी के संबंध में तहरीर दी थी। इस पर पुलिस ने अज्ञात के खिलाफ चोरी का मुकदमा दर्ज किया था।

थानाध्यक्ष ने बताया कि पुलिस टीम ने घटनास्थल के आसपास के सीसीटीवी फुटेज खंगाले। इसके आधार पर उक्त वाहन रुड़की होता हुआ छुटमलपुर की ओर जाता दिखाई दिया। पुलिस टीम सहारनपुर पहुंची और छुटमलपुर से चोरी हुआ वाहन और अवैध असलाह के साथ एक युवक को गिरफ्तार किया है।

आरोपी की पहचान रहीश पुत्र असदम कुरैशी निवासी ग्राम गन्देवड़ा थाना फतेहपुर जिला सहारनपुर यूपी के रूप में हुई है। आरोपी ने पूछताछ में पुुलिस को बताया कि वह अपने पिता के साथ देहरादून में कारगी चौक के पास प्याज की पौध बेचता था। दोस्तों के कहने पर उसने छिद्दरवाला गांव से वाहन चोरी किया था।

ऋषिकेश के गुमानीवाला में चल रहा था सैक्स रैकेट, छह गिरफ्तार

कोतवाली क्षेत्रांतर्गत ऋषिकेश में एण्टीह्यूमन ट्रैफिकिंग सैल देहरादून और कोतवाली ऋषिकेश ने संयुक्त रूप से मुखबिर की सूचना पर तीन महिला सहित छह लोगों को गिरफ्तार किया है। एण्टीह्यूमन ट्रैफिकिंग सैल देहरादून के प्रभारी ऐश्वर्य पाल ने बताया कि गुमानीवाला गली नंबर छह चीनी गोदाम रोड में देह व्यापार की सूचना मुखबिर से प्राप्त हुई थी। इसी क्रम में कोतवाली पुलिस के साथ गुमानीवाला में अभियान चलाया गया। इस दौरान एक कार आती दिखाई दी। कार को रोकने का प्रयास किया मगर कार चालक ने कार दौड़ा दी। इसके बाद टीम ने कार के आगे अपना वाहन लगाकर उसे रोक लिया और कार सवार गिरोह के सरगना का गिरफ्तार कर लिया। सरगना से स्वीकार किया कि वह सैक्स रैकेट चलाता है।

एण्टीह्यूमन ट्रैफिकिंग सैल के प्रभारी ने आरोपियों की पहचान तीन महिलाओं सहित 27 वर्षीय नारायण पाल पुत्र कलम सिंह निवासी हटनाली बनगांव तहसील चिन्यालीसौड़ उत्तरकाशी हाल किरायेदार लक्ष्य पुत्र मनीष निवासी गली नं0 06 चीनी गोदाम रोड़ गुमानीवाला ऋषिकेश, 26 वर्षीय गोविन्द पुत्र मंजीत निवासी गली नं0 19, चन्द्रभागा चन्द्रेश्वरनगर ऋषिकेश और 32 वर्षीय धर्मपाल पुत्र सोहन सिंह निवासी पोखरी भगवानपुर पोस्ट धारकोट देहरादून के रूप में कराई। उन्होंने बताया कि आरोपियों के कब्जे से 78 हजार रूपए नगद, छह मोबाइल फोन और यौन वर्धक सामग्री बरामद हुई है।

बर्खास्त सिपाही करवाता था वाहन की चोरी, पुलिस की दबिश में हुआ खुलासा

एएसपी राजीव मोहन, सीओ सिटी विजय थापा ने पत्रकारों को बताया कि तीन दिसंबर को मुक्तेश्वर के आर्चेड रिसॉर्ट व हाल तल्लीताल निवासी विक्रम बिष्ट की तल्लीताल क्षेत्र में पार्क स्कार्पियो यूके-04 वी, 1177 चोरी हो गई थी। यह वाहन बरामद नहीं हुआ था कि 17 दिसंबर को पूर्व पुलिस अधीक्षक आरएस नयाल निवासी सिपाहीधारा की यूके-04 एए, 4256 आई-20 कार चोरी हो गई। चोरी के इन मामलों के खुलासे के लिए एसएसपी के निर्देश पर एएसपी राजीव मोहन द्वारा सीओ के नेतृत्व में एसओजी का गठन किया। एसओजी की टीमों को वाहनों की सुरागकशी के लिए उत्तर प्रदेश के बरेली, शाहजहांपुर, कानपुर, झांसी रवाना किया गया।
एसओजी प्रभारी अबुल कलाम, एसआइ दिलीप कुमार की टीम ने परवेज अहमद (45) पुत्र सलीम अहमद निवासी शिया मस्जिद के पास नई बस्ती, कोतवाली झांसी तथा रियासत अली पुत्र आले मोहम्मद निवासी 101 सूर्यनगर, एचएमटी जीटर ट्रैकर कंपनी के पीछे पोस्ट उरई थाना कोतवाली जिला जालौन उत्तर प्रदेश को शनिवार को बरेली से गिरफ्तार किया है। इनके पास से नैनीताल निवासी पूर्व पुलिस अधीक्षक आरएस नयाल की यूके-04 एए, 4256 आई-20 कार बरामद हुई है। पकड़े गए गिरोह की निशानदेही पर ही नैनीताल, झांसी तथा कानपुर से चोरी कई स्कार्पियो भी बरामद की गई हैं। यह स्कार्पियो किसकी हैं, नंबरों के आधार पर उनका पता लगाया जा रहा है। पकड़े गए आरोपितों में कुछ और लोग भी शामिल हैं, पुलिस इनसे पूछताछ कर उनकी तलाश कर रही है। कार चोर गिरोह का मास्टर माइंड परवेज है। इसने पुलिस को पूछताछ में बताया कि विभिन्न राज्यों से वाहन चोरी कर नेपाल में बेचते थे। अभियुक्त परवेज उत्तर प्रदेश पुलिस का बर्खास्त सिपाही है। नैनीताल से चोरी दोनों वाहनों को फर्जी नंबर प्लेट लगाकर उपयोग में लाया जा रहा था।
अपराध के दलदल में फंस चुके उत्तर प्रदेश पुलिस का बर्खास्त सिपाही वाहन चोर गिरोह का मास्टर माइंड बन गया। बर्खास्त सिपाही पर हत्या के दो, हत्या के प्रयास के चार मुकदमे दर्ज हैं। चोर गिरोह घटना को अंजाम देने से पहले वाहन का बोनट खोलते थे, उसके बाद स्टेङ्क्षरग का लॉक तोड़ते थे। यहीं नहीं गाड़ी के बैक लाइट तोड़कर पूरी गाड़ी की लाइटिंग सिस्टम को ध्वस्त कर अपना सॉफ्टवेयर स्टॉल कर देते थे। फिर फर्जी नंबर प्लेट लगाकर बेरोकटोक ले जाते थे। दरअसल गिरोह का सरगना परवेज निवासी नई बस्ती, कोतवाली झांसी 1995 बैच का सिपाही था। राज्य बनने के बाद 2000 से 2009 तक नैनीताल पुलिस लाइन में टेलीफोन ड्यूटी पर तैनात रहा, फिर उत्तर प्रदेश के लिए रिलीव हो गया। आपराधिक घटनाओं में शामिल होने की वजह से परवेज को उप्र में नौकरी से बर्खास्त कर दिया। परवेज पर झांसी कोतवाली में हत्या के दो व हत्या के प्रयास के चार मुकदमे दर्ज हैं। हाल ही में उसने वाहनों को उड़ाने का गिरोह बना लिया। सूत्रों के अनुसार नैनीताल में सेवारत रहने के दौरान उसे शहर का पूरा अनुभव था। पहले उसने तल्लीताल क्षेत्र से स्कार्पियो उड़ाई, फिर सिपाहीधारा में अक्सर पार्क रहने वाली आइ-20 उसके निशाने पर थी। उसे भी उड़ा लिया। आरोपित परवेज ने पूछताछ में बताया कि गाड़ी का सिस्टम 15 मिनट में बदल देते थे। नेपाल में गाड़ी को 80-85 हजार में बेच देते थे। पुलिस गिरफ्त में आया परवेज नैनीताल में पुलिस ड्यूटी के दौरान खुद के कारनामे भी गिनाता रहा।

मानव बम से मिली दुर्गा मंदिर को उड़ाने की धमकी, डीआईजी ने कहा जो भी होगा कार्रवाई होगी

ऋषिकेश कोतवाली क्षेत्रांतर्गत श्री दुर्गा मंदिर को मानव बम से उड़ा देने की धमकी मिली है। इस मामले में पर्वतीय सांस्कृतिक एवं जन कल्याण समिति के नेतृत्व में मंदिर के पुजारी और श्रद्धालुओं ने एसडीएम से मिलने के बाद अज्ञात के खिलाफ तहरीर दी है।

इस पर डीआईजी अरुण मोहन जोशी ने शरारत करने वाले लोगों को चिह्नित कर कार्रवाई के निर्देश दिए हैं। जानकारी के अनुसार, बृहस्पतिवार की सुबह श्री दुर्गा मंदिर के पुजारी भूपेंद्र बडोनी रोजाना की तरह मंदिर के कपाट खोलने पहुंचे।

कपाट खोलकर देखा तो वहां एक पत्र पड़ा हुआ मिला। पुजारी ने पत्र उठाकर देखा तो उसमें दुर्गा मंदिर को मानव बम से उड़ाने की धमकी दी गई थी। तीन लाइन के पत्र के बीच आईएसआईएस लिखा हुआ है।

पुजारी ने तत्काल सूचना मंदिर समिति के अन्य पदाधिकारियों और पार्षद विपिन पंत को दी। सूचना पाकर सभी मंदिर पहुंचे और पत्र पढ़ा। इसके बाद सभी उप जिलाधिकारी कार्यालय पहुंचे और एसडीएम प्रेमलाल को मामले में संज्ञान लेकर कानूनी कार्रवाई करने की मांग की।

पार्षद विपिन पंत ने कहा कि इस तरह से धमकी देने का मामला पूर्व में कभी नहीं हुआ है। डीआईजी अरूण मोहन जोशी ने कहा कि पत्र डालने के पीछे किसकी शरारत है। पुलिस को ऐसे तत्वों के खिलाफ कठोर कार्रवाई करने को कहा गया है। इस घटना में जो भी संदिग्ध व्यक्ति मिलेंगे, उनका हस्तलेख मिलान किया जायेगा।

ऋषिकेश में पुलिस गश्त की खुली पोल, चोरों ने एक ही रात में तीन घर खंगाले

ऋषिकेश में एक ही रात में एक के बाद एक कर तीन घरों में चोरों में घुसपैठ कर न सिर्फ घर खंगाल डाला, बल्कि दो घरों से करीब साढ़े सात लाख रूपए की ज्वैलरी तथा डेढ़ लाख रूपए की नगदी उड़ा ले गए, जबकि तीसरे घर में कुछ न मिलने पर बैरंग लौट गए। घटना के वक्त तीनों घर पर परिवार का कोई भी सदस्य मौजूद नहीं था। इस तरह एक ही रात में तीन जगह चोरी होने पर लोगों में दहशत का माहौल बना हुआ हैं।

घटना 28 दिसंबर शनिवार की रात की है। गुमानीवाला की गली नंबर 10 में रहने वाले दिल्ली परिवहन निगम में महाप्रबंधक नेतराम गौतम परिवार सहित शहर से बाहर गए हुए थे। रविवार सुबह करीब नौ बजे बड़ी मंडी के समीप रहने वाले उनके बड़े भाई रमेश चंद वहां पहुंचे तो देखा घर का ताला टूटा हुआ था। अंदर जाकर देखा तो तमाम सामान बिखरा हुआ था। उन्होंने तुरंत नेतराम को फोन पर सूचना दी। दोपहर में नेतराम घर पहुंचे। नेतराम के अनुसार चोर घर में रखे छह लाख की कीमत के जेवर और 1.40 लाख की नगदी ले गए हैं। उन्होंने श्यामपुर चौकी में तहरीर दी है।
दूसरी घटना नेतराम के घर के ठीक सामने सेना से रिटायर्ड राजेश खंडूरी पुत्र स्व. ज्योति प्रसाद के यहां अंजाम दी। शनिवार को राजेश परिवार के साथ हरिद्वार गए हुए थे। घर बंद था। रविवार को पड़ोस के लोगों ने सूचना दी तो वह यहां पहुंचे। अंदर सारा समान बिखरा हुआ था। राजेश ने बताया कि चोर करीब डेढ़ लाख रुपये के जेवर और 20 हजार की नगदी ले गए हैं। राजेश ने भी श्यामपुर चौकी में तहरीर दी है।

तीसरी घटना भी गुमानीवाला की गली नंबर 10 में ही बुटिक संचालिका किराए पर रहने वाली कविता नेगी के घर में हुई। शनिवार को मायका नजदीक होने के कारण कविता माता-पिता के यहां गई हुई थी। उनकी मकान मालिक ने सुबह उन्हें फोन पर कमरे का ताला टूटा होने की सूचना दी। कविता अपने कमरे में पहुंचीं तो अंदर सारा सामान बिखरा हुआ था। हालांकि कविता का कहना है कि उनके घर से कोई सामान नहीं गया है, लेकिन कमरे में ताले तोड़कर चोर घुसने से अब बहुत डर लग रहा है।

वहीं, सूचना पाकर श्यामपुर पुलिस मौके पर पहुंची और घटनास्थल का निरीक्षण किया। पुलिस क्षेत्राधिकारी वीरेन्द्र सिंह रावत ने कहा कि मामला संज्ञान में है। तहरीर के आधार पर अज्ञात के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया जाएगा। साथ ही जांच कर दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा।
– वीरेंद्र सिंह रावत, सीओ, ऋषिकेश

उत्तराखंड विश्वकर्मा शिल्पकार मंच की संस्थापक पर सीएए के समर्थन में जुलूस निकालने पर मुकदमा

दून पुलिस ने बिना अनुमति लिए नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के समर्थन में रैली निकालने पर उत्तराखंड विश्वकर्मा शिल्पकार मंच की संस्थापक रीना गोयल समेत 120 लोगों के खिलाफ मुकदमा पंजीकृत किया है। गोयल के अलावा 13 अन्य लोग नामजद हैं। इंस्पेक्टर की तरफ से कोतवाली में एफआईआर दर्ज की गई है।

वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अरुण मोहन जोशी ने कई दिन पहले कानून व्यवस्था के मद्देनजर बिना अनुमति के जुलूस और प्रदर्शन न करने का अनुरोध किया था। उनका कहना था कि अनुमति के लिए कम से कम एक सप्ताह पहले आवेदन होना चाहिए, ताकि पुलिस समुचित व्यवस्था कर सके।

इसके विपरीत उत्तराखंड विश्वकर्मा शिल्पकार मंच की संस्थापक रीना गोयल के नेतृत्व में पुरुषों और महिलाओं ने सीएए के समर्थन में नगर निगम से लेकर जिलाधिकारी कार्यालय तक जुलूस निकाला। आयोजक पुलिस के मांगने पर किसी तरह की अनुमति नहीं दिखा सके।
शहर कोतवाली निरीक्षक शिशुपाल नेगी ने बिना अनुमति के जुलूस निकालने और यातायात बाधित करने के आरोप में रीना गोयल समेत 120 लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज करा दिया है।

रीना गोयल के अलावा मुकदमे में अमन सिंह चौहान निवासी ओल्ड कनॉट पैलेस, पूनम वर्मा निवासी नहरवाली गली मोती बाजार, गौर सिंह नेगी, दीवान सिंह बिष्ट, कृष्णा दास, विक्रम सिंह बिष्ट, अमन चौहान वकील, आदित्य वर्मा, संजय, विरेन्द्र, मनीषा स्वामी, सुमन और फूल कुमार को आरोपी बनाया गया है।

जेल में सजा काट रहे कैदी ने की आत्महत्या की कोशिश, बंदीरक्षकों ने बचाया

हरिद्वार की जिला जेल में बंद आजीवन कारावास की सजा काट रहे एक कैदी ने दूसरे कैदियों के उत्पीड़न से परेशान होकर आत्महत्या करने की कोशिश की। मगर, यह कोशिश नाकाम रही। बंदीरक्षकों ने समय रहते उसे देख लिया और बचाने में कामयाब रहे। कैदी को जिला अस्पताल में भर्ती किया गया है।

बृहस्पतिवार को हत्या के आरोप में आजीवन कारावास की सजा काट रहे कैदी सुशील गुर्जर (50) पुत्र महेंद्र निवासी हरिद्वार ने जेल परिसर में पेड़ पर रस्सी के फंदे के सहारे लटककर आत्महत्या करनी चाही, लेकिन एक कैदी की उस पर निगाह पड़ गई।

कैदी ने तुरंत बंदीरक्षकों को इस बारे में जानकारी दी। आनन फानन में बंदीरक्षकों ने कैदी को उतारा और जिला अस्पताल में भर्ती कराया। कैदी ने अस्पताल में मीडिया कर्मियों को बताया कि उसको जेल में बंद कैदी परेशान करते हैं, जिसके चलते वह आत्महत्या करना चाह रहा था।

जिला अस्पताल में भर्ती कैदी की हालत खतरे से बाहर बताई जा रही है। जेल अधीक्षक अशोक कुमार से जब इस बाबत पूछा गया तो उनका कहना था कि कैदी अक्सर इस तरह के काम करता रहता है।