राहतः इस वर्ष नही होगी कांवड़ यात्रा, कोविड-19 के तहत लिया गया निर्णय

(एनएन सर्विस)
कोविड-19 महामारी के खतरे को देखते हुए इस साल कांवड़ यात्रा का आयोजन नहीं होगा। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इस संदर्भ में हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर और उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत से चर्चा की। वीडियो कॉफ्रेंसिंग के जरिये हुई इस चर्चा में तीनों मुख्यमंत्री ने जनहित को देखते हुए इस वर्ष कांवड़ यात्रा स्थगित रखने पर सहमती जताई है। बता दें कि तीनों प्रदेशों के धर्मगुरुओं और कांवड़ संघों ने भी अपनी सरकारों को यात्रा स्थगित करने का प्रस्ताव दिया था।
आपको बता दें कि हर साल श्रावण में होने वाली कांवड़ यात्रा में लाखों शिवभक्त शामिल होते हैं। सभी हरिद्वार से जल लेकर पैदल यात्रा करते हुए अपने यहां शिव मंदिरों में जलाभिषेक करते हैं। यात्रा के दौरान बड़े पैमाने पर सरकारी अमले को कानून-व्यवस्था, यातायात व अन्य इंतजामों में लगाना पड़ता है। कांवड़ियों की सबसे ज्यादा संख्या उत्तर प्रदेश और हरियाणा से आती है। इसके चलते तीनों राज्यों ने इस बारे में चर्चा करने का फैसला किया था। बैठक के दौरान तीनों राज्यों के अधिकारियों ने कांवड़ियों की भीड़ में सोशल डिस्टेंसिंग को असंभव बताते हुए संक्रमण फैलने की आशंका जताई थी।
वहीं, मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने यात्रा में पंजाब, राजस्थान और दिल्ली से आने वाले श्रद्धालुओं के चलते वहां के मुख्यमंत्रियों से भी जल्द ही वार्ता करने का निर्णय लिया है। इन राज्यों को भी कोविड-19 के चलते यात्रा संचालन में आने वाली दिक्कतें बताई जाएंगी। साथ ही इस बार यात्रा संचालित नहीं करने की स्थितियों की जानकारी भी दी जाएगी।

सात दिवसीय अंतरराष्ट्रीय योग महोत्सव का सीएम त्रिवेन्द्र सिंह, यूपी सीएम योगी आदित्यनाथ ने किया शुभारंभ

रविवार को मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्य नाथ ने संयुक्त रूप से अंतरराष्ट्रीय योग महोत्सव का शुभारंभ किया। मुनिकीरेती स्थित गंगा रिसोर्ट में आयोजित 7 दिवसीय महोत्सव में विश्व के 11 देशो एवं देश के 09 राज्यों के योगाचार्यो, शिक्षकों एवं योग प्रेमीं प्रतिभाग कर रहे है।

मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह ने कहा कि योग को विश्वव्यापी पहचान दिलाने में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अह्म भूमिका रही है। उत्तराखण्ड को योग के हब एवं ऋषिकेश को विश्व योग के केन्द्र बिन्दु के रुप में स्थापित करने के लिए सरकार ने व्यापक स्तर पर कार्य किया है। योग को पर्यटन से जोड़ने और योग के साथ-साथ पर्यटन हब के रुप में उत्तराखण्ड को विकसित करने के लिए सरकार व्यापक स्तर पर कार्य कर रही है।

उन्होने कहा कि अध्यात्मिक योग के माध्यम से पर्यटकों को आकर्षित करने का कार्य सरकार कर रही है। योग विश्व स्वास्थ्य एवं कल्याण के लिए जरुरी है जिसकी आवश्यकता आज पूरी दुनिया को महसूस होने लगी है जिसका परिणाम है कि आज विश्व में जहां भी योग की शुरुआत हो रही है वहॉ उत्तराखण्ड के योग शिक्षकों को सर्वोच्च प्राथमिकता व सम्मानस्वरुप बुलाया जा रहा है।?

ऋषिकेश विश्व पटल पर योग का केंद्र बिंदुः योगी आदित्यनाथ
इस अवसर पर उत्तर-प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि भारत में ऋषि की परम्परा एव साधना के परिणामस्वरुप योग का उत्थान जीवों के कल्याण के लिए हुआ है। योग जैसी अध्यात्म और पवित्र विद्या को दुनिया के कोने-कोने में पंहुचाने और योग का विश्व गुरु बनने में भारत के प्रधानमंत्री का अथक प्रयास रहा है। इसके साथ ही उत्तरखण्ड का शहर ऋषिकेश विश्व पटल पर योग का केन्द्र बिन्दु के रुप में उभरा है। उन्होने प्रधानमंत्री के स्वच्छ भारत की सराहना करते हुए कहा कि यदि स्वच्छ के बाद योग को अपनाया जाय तो अनेक बीमारियों से निजात मिल सकती है। स्वच्छ काया शरीर में योग के माध्यम से शारीरिक, मानसिक मजबूती एवं प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाया जा सकता है। उन्होने कहा कि विश्व का कोई भी देश जब योग परम्परा से जुड़ता है तो वह भारत की आत्मीयता से जुड़ता है और यह बात देश को गौरवान्वित करती है।

इस अवसर पर उन्होने वर्ष 2021 में हरिद्वार में आयोजित होने वाले कुम्भ में उत्तराखण्ड सरकार को सहयोग दिये जाने की बात भी कही। वहीं पर्यटन के क्षेत्र में उत्तराखण्ड सरकार द्वारा किये जा रहे कार्यो की सराहना की। उन्होंने कहा कि गत विगत माह में उत्तराखण्ड में खूब बर्फबारी हुई जिसमें उत्तरप्रदेश सहित देश के विभिन्न राज्यों एवं विदेशी पर्यटकों का जबरदस्त आवागमन रहा।

इस अवसर पर विधानसभा अध्यक्ष प्रेमचन्द्र अग्रवाल, उच्च शिक्षा मंत्री डॉ. धन सिंह रावत, सचिव पर्यटन दिलीप जावलकर, अध्यक्ष जीएमवीएन महावीर सिंह रांगड़, महामण्डलेश्वर जूना अखाडा स्वामी अवदेश्वरानन्द महाराज, जिलाधिकारी टिहरी गढ़वाल डॉ. वी षणमुगम, एसएसपी डॉ. योगेन्द्र सिंह रावत आदि उपस्थित रहे।

उत्तराखंड स्वाभाविक रूप से आर्गेनिक राज्यः सीएम

मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, सेना प्रमुख जनरल विपिन रावत, एनटीआरओ के पूर्व प्रमुख आलोेक जोशी, कोस्ट गार्ड के पूर्व महानिदेशक राजेन्द्र जोशी, उत्तराखण्ड के कैबिनेट मंत्री सुबोध उनियाल, उच्च शिक्षा मंत्री धन सिंह रावत सहित विभिन्न हस्तियों ने उत्तराखण्ड सरकार द्वारा आयोजित ‘रैबार-2‘ कार्यक्रम में शिरकत की।

मुख्यमंत्री ने कहा कि रैबार के सफल परिणाम आए हैं। कोस्ट गार्ड का रिक्यूरिंग सेन्टर हमें मिला है। तमाम विकास की योजनाओं में हमें जो समर्थन मिला है उसमें कहीं न कहीं रैबार कार्यक्रम का भी योगदान रहा है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि जब हम कहते हैं कि शहीद राज्य आंदोलनकारियों की भावनाओं के अनुरूप उत्तराखण्ड बने तो इसका आशय प्रदेश के संतुलित विकास से होता है। हमें उन क्षेत्रों में आगे बढ़ना होगा जिसमें हमारा एकाधिकार हो सकता है। उत्तराखण्ड स्वाभाविक रूप से आर्गेनिक राज्य है। हमने पूरे प्रदेश में आर्गेनिक क्लस्टर तैयार किये है।

पिरूल को हम अभिशाप मानते हैं, वो हमारे लिए वरदान साबित होने वाला है। हम पिरूल से बिजली बनाने के लिए नीति बनाई है। पिरूल की पत्तियों से बिजली बनाने के 23 प्रोजेक्ट शीघ्र ही राज्य में शुरू होने वाले हैं, इससे कुछ ही दिनों मंे बिजली बनना आरम्भ हो जायेगा। गैस की अपेक्षा पिरूल की पत्तियों से होने वाली ऊर्जा की लागत काफी कम है, जल्द ही हम पाईन की पत्तियों से फ्यूल बनाने का पहला प्रोजेक्ट लगाने जा रहे है। चीड़ वनों में विनाश का कारण बन रहा था, पर्यावरण को नुकसान पहुंचा रहा था, वही चीड़ की पत्तियों से हमे अब ऊर्जा मिलेगी, हजारांे लोगों को रोजगार मिलेगा, यह हमारे विकास का आधार बनेगा।

मुख्यमंत्री ने कहा कि रैबार कार्यक्रम के बाद इन्वेस्टर्स समिट के समय हम 10 नई पॉलिसी लेकर आए और 05 पॉलिसी में परिवर्तन किया। परिणामस्वरूप एक वर्ष एक माह में ही प्रदेश में 17,000 करोड़ रूपए से अधिक का निवेश ऑन ग्राउण्ड हुआ है। सोलर ऊर्जा के क्षेत्र में भी हम आगे बढ़े हैं। सोलर में राज्य में 600 करोड़ रूपये का निवेश हुवा है।

उत्तराखंडवासी जहां भी गया अपना योगदान दियाः योगी
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री श्री योगी आदित्यनाथ ने रैबार-2 को अपनी भूमि से जोड़ने का एक अभिनव प्रयोग बताते हुए कहा कि उत्तराखण्ड के चारधामों के प्रति देश व दुनिया के श्रद्धालु अपनी सच्ची श्रद्धा रखते हैं। उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड का वासी जहां कहीं भी गया है वहां की समृद्धि में अपना योगदान दिया है। देश की सेना सहित अन्य क्षेत्रों में इस प्रदेश ने कई विभूतियां दी है। उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड उनकी भी जन्म भूमि है। आज उत्तराखण्ड के हर क्षेत्र में सड़क, बिजली, पानी व स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध है, फिर भी पर्वतीय क्षेत्रों में पलायन होना चिन्ता का विषय है। जरा सोचिए आज से 60-70 साल पहले तक जब यहां सड़क, बिजली, स्वास्थ्य सुविधा व पेयजल की पर्याप्त उपलब्धता नही थी बावजूद इन तमाम दुष्वारियों के हमारे पूर्वज यहां आकर बसे। वे बिना सुविधाओं के यहां बसे आज की पीढ़ी सुविधाओं के बावजूद अपने गांवो को छोड़ रही है। उन्होंने कहा कि भगवान राम ने भी कहा था कि जननी और जन्मभूमि का कोई विकल्प नहीं हो सकता है।

उत्तराखंड के सैनिकों ने हर आतंकवादी घटना का मुहतोड़ जवाब दियाः सेना प्रमुख
सेना प्रमुख जनरल विपिन रावत ने कहा कि सन् 1962 से लेकर आज तक विभिन्न युद्धों में और आतंकवादी घटनाओं को नाकाम करने में उत्तराखण्ड के सैनिकों ने जो महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है, उसे कभी भुलाया नहीं जा सकता। रैबार-2 के लिए उत्तराखण्ड के मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत का धन्यवाद देते हुए उन्होंने कहा कि यह देखकर बहुत खुशी होती है कि यह प्रदेश काफी तेज गति से विकास की ओर अग्रसर हो रहा है। पहले विनाश के रूप में पहचाने जाने वाले चीड़ की पत्तियों से अब विकास का आधार तैयार किया जा रहा है। कई प्रकार की औषधि हैं जो पहले नष्ट कर दी जाती थी, अब उपयोग में लायी जा रही हैं। पर्यटन के क्षेत्र में भी काफी कार्य किया गया है।

हाल ही मे हमने चीन के साथ लगे पहाड़ी इलाकों में अखरोट और चिंगोले की खेती में सहयोग के साथ टेलिकॉम की सुविधा, सड़क निर्माण एवं एडवांस लैंडिंग एयर फील्ड में भी पहल की है। मुझे यह भी खुशी है कि प्रदेश में जो भी कार्यक्रम होता है उसमें सदा ही भारतीय सैनिकों व माताओं को सम्मानित किया जाता है। उत्तराखण्ड, भारतीय सेना में लगातार बहादुर जवान तैनात करते आया है। उत्तराखण्ड का निवासी, नौजवान, नारियां कभी भी दुशमन व आतंकवाद का सामना करने से पीछे नही हटते, इसके लिए हमें आप सब पर गर्व है। उत्तराखण्ड ने हमारी सेना को कई वीर सपूत दिये हैं।

मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम में उपस्थित लोगों को उत्तराखण्ड के विकास में योगदान की शपथ भी दिलाई। इसके अतिरिक्त वीर नारियों को सम्मानित भी किया गया।

योगी और त्रिवेन्द्र के पैतृक गांव से लागू होगी चकबंदी

उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत के पैतृक गांव खैरासैंण और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के पैतृक गांव पंचूर में सबसे पहले चकबंदी की जाएगी। इसके लिए राजस्व विभाग ने दोनों गांवों में चकबंदी के लिए पड़ताल की प्रक्रिया पूरी कर ली है। वहीं, पौड़ी जनपद के कुछ गांवों में चकबंदी की अनुमति दी गई है।
राजस्व विभाग के अपर सचिव एसएस बल्दिया ने बताया कि चकबंदी एवं भूमि व्यवस्था अधिनियम -2018 की नियमावली में संशोधन की तैयार चल रही है। ताकि 20 किसान भी चकबंदी के लिए तैयार होते हैं तो सरकार उसे कानूनी रूप से मंजूरी देगी। दरअसल, पहाड़ों में क्लस्टर खेती के जरिये किसानों की आय बढ़ाने के लिए सरकार का चकबंदी पर फोकस है। इसकी शुरुआत खैरासैंण और पंचूर गांव से की गई है। राजस्व विभाग की टीम ने दोनों गांवों में किसानों की सहमति से चकबंदी के लिए कृषि भूमि की पड़ताल पूरी कर ली है।
वहीं, पौड़ी के तंगोली और बीरोंखाल में चकबंदी की अनुमति दे दी गई है। प्रदेश सरकार किसानों को भी चकबंदी के प्रति जागरूक करेगी। इसके लिए चकबंदी पर डॉक्यूमेंट्री तैयार कर पंचायतों को दी जाएगी।

पहाड़ों में बिना चकबंदी के संभव नहीं है दोगुनी आय
प्रदेश सरकार ने 2022 तक किसानों की दोगुनी आय करने का संकल्प लिया है, लेकिन पहाड़ों में बिखरी कृषि जोत पर किसानों की आय बढ़ाना संभव नहीं है। इसके लिए सरकार का चकबंदी पर फोकस है। जिससे किसान एक ही जगह पर क्लस्टर खेती अपनाकर फसलों की पैदावार को बढ़ा सकें। चकबंदी से किसान को कृषि कार्य पर कम मेहनत करनी पड़ेगी और फसलों की देखभाल भी अच्छी तरह से हो सकेगी।

जमरानी बांध के निर्माण को सीएम से मिले बंशीधर भगत

मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत से गुरूवार को मुख्यमंत्री आवास में विधायक बंशीधर भगत के साथ जमरानी बांध पर चर्चा हुयी। चर्चा के दौरान, मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र ने कहा कि पिछली मुलाकात के दौरान उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से भी इस विषय पर वार्ता हो चुकी है। शीघ्र ही इस बहुद्देश्यीय प्रोजेक्ट के लिये केन्द्र सरकार, उत्तराखण्ड सरकार एवं उत्तर प्रदेश सरकार की मध्य एमओयू साईन किया जाएगा एवं केन्द्र सरकार से भी शीघ्र ही मंजूरी मिल जाएगी।
विधायक बंशीधर भगत ने कहा कि इस बहुद्देश्यीय जमरानी बांध के बन जाने से भू-जल स्तर में सुधार आएगा, जिससे कुमांऊ के भाबर क्षेत्र में पानी की कमी से निजात मिल सकेगी। जमरानी बांध का फायदा प्रदेश के नैनीताल, ऊधमसिंह नगर के अलावा यूपी के बरेली जिले को बिजली-पानी की सुविधाएं मुहैया करवाने के लिए होगा। उन्होंने कहा कि पिछले 40 वर्षाें से रूके इस कार्य में मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत के नेतृत्व में बांध के कार्य में तेजी आयी है।

योगी ने गोरखपुर हादसे की जांच बैठाई, रिपोर्ट में के आधार पर कार्रवाई का दिया भरोसा

गोरखपुर हादसे पर मुख्यमंत्री सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा कि मेरी संवेदना उन परिवारों के साथ हैं जिन्होंने अपने बच्चों को खोया है। उन्होंने कहा कि इंसेफेलाइटिस से निपटना बड़ी चुनौती है। सीएम योगी ने कहा कि गोरखपुर हादसे से निपटने के लिए भारत सरकार मदद कर रही है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्री अनुप्रिया पटेल और स्वास्थ्य सचिव को गोरखपुर भेजा है। उन्होंने कहा, मैंने खुद मंत्रियों को वहां भेजा और पता करने का आदेश दिया था कि वह पता करें के बच्चों की मौत किस वजह से हुई है। उन्होंने कहा कि ऑक्सीजन से मौत एक जघन्य कृत्य है और इसमें जो भी दोषी पाया जाएगा उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। सीएम ने कहा कि ऑक्सीजन सप्लाई बाधित होने पर कंपनी की भूमिका की जांच चीफ सेक्रेटरी कर रहे हैं और वह एक हफ्ते में अपनी रिपोर्ट सौंपेंगे।

किसने कहा, 2024 में देश की बागडोर संभालेंगे योगी!

देश के सबसे बड़े राज्य उत्तर प्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ के पिता आनंद सिंह बिष्ट को उम्मीद है कि उनका बेटा देश का प्रधानमं़त्री बनेगा। उन्होंने तो योगी आदित्यनाथ के प्रधानमंत्री बनने तक की तारीख बता दी है, उनका कहना है कि 2024 में योगी भारत के प्रधानमंत्री होंगे।
यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ के पिता आनंद बिष्ट को भरोसा है कि उनका बेटा एक दिन प्रधानमंत्री बनेगा। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश को उत्तम प्रदेश बनाने के लिए योगी की जरूरत थी। जिस तरह योगी विकास के लिए तेजी से फैसले ले रहे हैं, उससे वह संतुष्ट हैं।
हेमवती नंदन बहुगुणा गढ़वाल केंद्रीय विवि मुख्यालय में गुरूवार को पत्रकारों से सवालों के जवाब में उन्होंने कहा कि यूपी और उत्तराखंड के विकास कार्यों को लेकर सरकार की कार्यप्रणाली में 9 और 10 का अंतर है। विकास की गति पर उन्होंने उत्तराखंड को नौ और यूपी को 10 अंक दिए। उन्होंने कहा उत्तराखंड में उतनी तेजी से निर्णय नहीं हो रहे। यहां की भौगोलिक परिस्थितियों के कारण ऐसा हो रहा है।
उन्होंने बताया कि योगी चुनाव के दौरान फरवरी में गांव आए थे। मौजूदा विधायक ऋतु खंडूड़ी को जीत दिलाने में योगी की बड़ी भूमिका रही। गांवों की समस्या के बारे में उन्होंने कहा कि यदि गांवों में चकबंदी हो जाय तो बेहतर रहेगा। इससे पलायन भी रूकेगा। जिन स्कूलों में छात्र संख्या कम है, उन्हें प्रदेश सरकार द्वारा बंद कर दिया जाना चाहिए। उन्होंने बताया कि महायोगी गुरूगोरखनाथ महाविद्यालय बिथयाणी के प्रबंधक होने के नाते वह कॉलेज की मान्यता संबंधी कार्य के लिए यहां आए हैं। मेरा प्रयास है कि कॉलेज में पीजी की कक्षाएं शुरू हों। इस क्षेत्र में यह अकेला महाविद्यालय है।

योगी ने कंडारी को दिया प्रभावितों की समस्याओं के निदान का आश्वासन

श्रीनगर जलविद्युत परियोजना के प्रभावितों की समस्याओं के निदान को लेकर देवप्रयाग क्षेत्र के विधायक विनोद कंडारी शनिवार को लखनऊ में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मिले। विधायक विनोद कंडारी ने योगी आदित्यनाथ को बताया कि श्रीनगर जलविद्युत परियोजना के निर्माण से कीर्तिनगर ब्लॉक क्षेत्र विशेषकर चौरास क्षेत्र के दर्जनों गांव की जनता प्रभावित हुई है। निर्माण के दौरान परियोजना की निर्माणदायी कंपनी जीवीके ने प्रभावितों के साथ उनके आर्थिक, सामाजिक पक्षों को लेकर अनुबंध किए, लेकिन उन्हें कंपनी क्रियान्वित नहीं कर रही है। जिससे प्रभावित बुरी तरह परेशान हैं। परियोजना से विद्युत उत्पादन भी हो रहा है। विधायक विनोद कंडारी ने लखनऊ से लौटने पर बताया कि इस मामले में योगी आदित्यनाथ ने पूरी मदद का आश्वासन भी दिया है। पिछले सप्ताह गढ़वाल केंद्रीय विवि के चौरास परिसर स्थित प्रेक्षागृह में प्रभावितों के साथ दिनभर पंचायत भी की थी जिसमें डीएम टिहरी के साथ ही परियोजना निर्माणदायी कंपनी के वरिष्ठ अधिकारी भी शामिल थे।

लोकसभा उप चुनाव में मायावती के लड़ने से भाजपा में बैचेनी!

राज्यसभा से इस्तीफा देने के बाद मायावती का अगला कदम क्या होगा? आखिर किस तरीके से मायावती अपने पॉलिटिकल करियर में निखार लाएंगी? मिली जानकारी के मुताबिक मायावती ने राज्यसभा से इस्तीफा गुस्से में आकर नहीं दिया है बल्कि ये इस्तीफा एक प्लानिंग के तहत हुआ है। मायावती अपनी राजनीति सेट करने के लिए फूलपुर से लोकसभा का उप-चुनाव लड़ सकती हैं और इस लड़ाई में कांग्रेस और समाजवादी पार्टी उनका साथ देंगे।
फूलपुर से यूपी में हो सकती है महागठबंधन की शुरुआत
राजनीति के गलियारों में एक सुगबुगाहट और जोर पकड़ रही है। दबी जुबान में बीएसपी के खेमे में चर्चा है कि बहन जी उत्तर प्रदेश की फूलपुर लोकसभा से उप चुनाव में खड़ी हो सकती हैं। वह भी समाजवादी पार्टी और कांग्रेस के समर्थन के साथ। यानी साल 2019 से लोकसभा चुनाव से पहले यूपी में महागठबंधन का एक प्रयोग फूलपुर लोकसभा के उप चुनाव के वक्त किया जा सकता है।
मायावती को मिल सकता है अखिलेश का साथ
यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री और समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव भी इस तरह के गठबंधन पर सकारात्मक बयान दे ही चुके हैं। वहीं मायावती ने भी पिछले दिनों भाजपा को रोकने के लिए किसी के भी साथ हाथ मिलाने का बयान दिया था। भाजपा को शिकस्त देने की तैयारी में जुटा विपक्ष इसके लिए यूपी में महागठबंधन की तैयारी में जुटा है। बिहार में राजनीतिक संकट के बीच जहां लालू यादव का विपक्ष को एकजुट करने को लेकर 27 अगस्त की रैली अभी प्रस्तावित ही है। बसपा सूत्रों की माने तो यूपी की विधानसभा चुनाव के बाद खाली हुई लोकसभा सीट में महागठबंधन मायावती को प्रत्याशी बनाने पर विचार कर रहा है।
फुलपुर में होना है उपचुनाव
दरअसल उत्तर प्रदेश की फूलपुर लोकसभा सीट से मौजूदा वक्त में भाजपा के केशव प्रसाद मौर्य सांसद हैं। यूपी विधानसभा चुनाव के बाद मौर्य, यूपी सरकार में उप मुख्यमंत्री बन चुके हैं। लिहाजा उप राष्ट्रपति चुनाव के बाद उनका और यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ का अपनी गोरखपुर लोकसभा सीट से इस्तीफा देना तय है। जिसके बाद फूलपुर और गोरखपुर में उप चुनाव होंगे।
मुश्किल में बीजेपी !
लोकसभा उपचुनाव को लेकर भाजपा की अभीतक की रणनीति के मुताबिक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी इस उपचुनाव से दूर रहेंगे। ऐसे में जाहिर है कि सीएम योगी आदित्नाथ पर ही लोकसभा की दोनों सीटें जीतने का दबाव होगा। ऐसे में माना जा रहा है कि मायावती के महागठबंधन की प्रत्याशी बनने के बाद योगी आदित्यनाथ के राजनीतिक कौशल की भी पूरी परीक्षा हो जाएगी।

गैंगरेप पीड़िता पर एसिड अटैक की घटना से योगी पहुंचे अस्पताल

लखनऊ।
रायबरेली से लखनऊ आ रही गैंगरेप पीड़िता पर ट्रेन में एसिड अटैक किया गया, जिसके बाद उसे लखनऊ के केजीएमयू अस्पताल में भर्ती कराया गया है। प्रदेश के सीएम योगी आदित्यनाथ ने शुक्रवार सुबह अस्पताल का दौरा किया और पीड़िता से मुलाकात की।
सीएम आदित्यनाथ और कैबिनेट मंत्री रीता बहुगुणा जोशी केजीएमयू के गांधी वार्ड पहुंचे। गैंगरेप पीड़िता का हाल पूछने के बाद सीएम ने एक लाख रुपये की आर्थिक मदद भी की। आदित्यनाथ ने पीड़िता का मुफ्त में इलाज कराने के साथ-साथ पूरे परिवार को सुरक्षा दिए जाने का आदेश दिया। सीएम तकरीबन दस मिनट तक गांधी वार्ड में रुके।
गैंगरेप पीडि़ता पर हुए एसिड अटैक मामले में पुलिस जांच के आदेश दे दिए गए हैं। एसएसपी लखनऊ ने जानकारी देते हुए बताया कि इस मामले में दो आरोपियों को रायबरेली के ऊंचाहार से गिरफ्तार भी किया गया है। बता दें कि मुख्यमंत्री बनने के बाद योगी आदित्यनाथ पूरे एक्शन में हैं। वे आज लखनऊ के केजीएमयू अस्पताल में सुविधाओं का जायजा लेने पहुंचे थे। वहीं, इससे पहले वे गुरुवार को हजरतगंज थाने भी गए थे।
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ 26 मार्च को गोरखपुर में योगिराज बाबा गंभीरनाथ की शताब्दी पुण्यतिथि समारोह में शामिल होने जाएंगे। यह समारोह गोरखनाथ मंदिर में सुबह 11 बजे होगा। मुख्यमंत्री लखनऊ से 25 मार्च की दोपहर में ही गोरखपुर के लिए रवाना हो जाएंगे। बता दें कि मुख्यमंत्री बनने के बाद योगी आदित्यनाथ की गोरखपुर की यह पहली यात्रा है।